Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार

Balbharti Maharashtra State Board Class 10 Hindi Solutions Hindi Lokvani Chapter 2 कलाकार Notes, Textbook Exercise Important Questions and Answers.

Maharashtra State Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार

Hindi Lokvani 10th Std Digest Chapter 2 कलाकार Textbook Questions and Answers

स्वाध्याय :

सूचना के अनुसार कृतियाँ कीजिए :

1. संजाल पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार 1
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार 2

2. परिणाम लिखिए :

प्रश्न 1.
बीमार सेठानी पर धूनी की चुटकी भर राख का…..
उत्तर:
सकारात्मक प्रभाव पड़ा और धीरे-धीरे उसकी तबीयत सुधरने लगी।

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प्रश्न 2.
बहुरूपिये की वास्तविकता जानने के उपरांत सेठ जी की स्थिति –
उत्तरः
वह आश्चर्य के मारे आसमान से गिरा।

3. निम्नलिखित विधान सही करके लिखिए।

प्रश्न 1.
बहुरूपिये हू-ब-हू उसी तरह का व्यवहार करके प्राय: लोगों को भ्रम में नहीं डालते थे।
उत्तर:
बहुरूपिये हू-ब-हू उसी तरह का व्यवहार करके प्रायः लोगों को भ्रम में डालते थे।

प्रश्न 2.
एक बार सेठ जी बीमार हो गए।
उत्तर:
एक बार सेठानी बीमार हो गई।

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प्रश्न 3.
सेठानी कभी-कभी आने लगी।
उत्तर:
सेठ रोज आने लगा।

प्रश्न 4.
साधु ने झगड़ा करके सेठ को लौटा दिया।
उत्तरः
साधु ने समझा-बुझाकर सेठ को लौटा दिया।

प्रवाह तालिका पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
प्रवाह तालिका पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार 3
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार 4

5. निम्नलिखित वाक्यों को घटनाक्रम के अनुसार लिखिए।

प्रश्न 1.
निम्नलिखित वाक्यों को घटनाक्रम के अनुसार लिखिए।

  1. सेठजी द्वारा सेठानी को साधु के पास ले जाना।
  2. बहुरूपिये का साधु का रूप लेना।
  3. सेठानी का बीमार होना।
  4. धीरे-धीरे सेठानी की तबीयत सुधरना।

उत्तर:

  1. बहुरूपिये का साधु का रूप लेना।
  2. सेठानी का बीमार होना
  3. सेठजी द्वारा सेठानी को साधु के पास ले जाना।
  4. धीरे-धीरे सेठानी की तबीयत सुधरना।

6. इन कृदंत शब्दों की मूल क्रियाएँ लिखिए।

प्रश्न 1.
इन कृदंत शब्दों की मूल क्रियाएँ लिखिए।

  1. झुकाव = [ ]
  2. सोच = [ ]
  3. बनावट = [ ]
  4. लगाव = [ ]

उत्तर:

  1. झुकाव = [झुकाना या झुकना]
  2. सोच = [सोचना]
  3. बनावट = [बनवाना]
  4. लगाव = [लगना]

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7. ‘कला के प्रति ईमानदारी ही सच्चे कलाकार की पहचान है।’ विषय पर अपने विचार लिखिए। 

प्रश्न 1.
‘कला के प्रति ईमानदारी ही सच्चे कलाकार की पहचान है।’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
कलाकार उसे कहते हैं जो कला का ज्ञाता हो, जिसे अपनी कला के सिवा अन्य कुछ नहीं भाता हो। अपनी कला का बेहतर प्रदर्शन करके लोगों का मनोरंजन करना ही उसका मुख्य उद्देश्य होता है। फिर वह कलाकार, अभिनेता हो या फिर कोई बहुरूपिया। उसकी कला ही उसकी पहचान होती है। इसलिए उसे अपनी पहचान एवं अस्तित्व को कभी नहीं खोना चाहिए। चरित्र निर्माण एवं संस्कार करने में कलाकार की भूमिका अनन्यसाधारण होती

है। इसलिए वह अपनी कला के माध्यम से लोगों पर अपनी अमिट छाप छोड़ता है। यदि वह अपनी कला के प्रति ईमानदार नहीं होता अथवा उसका सहारा लेकर गलत कार्य करता है, तो इससे उसकी कला का अपमान होता है। अत: वह हमेशा अपना व्यक्तिगत स्वार्थ त्यागकर, अपने पेशे के प्रति ईमानदारी पर अधिक बल देता है। इसी कारण समाज में उसकी प्रतिष्ठा बढ़ती है और सभी उसका और उसकी कला का सम्मान करते हैं।

अभिव्यक्ति :

प्रश्न 1.
‘सहयोग से कठिन कार्य की पूर्ति होती है।’ विषय पर अपने विचार शब्दांकित कीजिए।
उत्तर:
मनुष्य एक सामाजिक प्राणी है जिसकी उन्नति सहयोग की बुनियाद पर निर्भर है। सहयोग भावना मानवता का प्रतीक है। किसी भी व्यक्ति को सहयोग करना एवं उसे सहायता पहुँचाना सबसे बड़ा धर्म होता है। हमें सबकी समान भाव से मदद करनी चाहिए। सहयोग से बहुत बड़े-बड़े कार्य पूर्ण होते हैं। सहयोग से पुल का निर्माण होता है, बड़ी-बड़ी इमारतें सहयोग के बल पर ही बनती हैं।

सहयोग से व्यक्ति, समाज व राष्ट्र की उन्नति होती है। सहयोग के बल पर ही आधुनिक भारत का नवनिर्माण संभव है। गाँधी जी ने सभी भारतीयों का सहयोग पाकर ही इस देश को अंग्रेजों के शासन से मुक्त कराया तथा हमें आजादी दिला पाने में सफल रहे। सहयोग असंभव को संभव कर देता है। अत: सभी को इसका पालन करना चाहिए।

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भाषाबिंदु :

प्रश्न 1.
पाठ में प्रयुक्त तीन-तीन क्रियाविशेषण अव्यय व संबंधसूचक अव्यय बकर उनका स्वतंत्र वाक्य में प्रयोग कीजिए।
उत्तर:
1. क्रियाविशेषण अव्यय :

  • धीरे-धीरे : गाड़ी धीरे-धीरे जा रही थी।
  • एक बार : एक बार मैं बहुत बीमार हो गया था।
  • अब : अब मैं जा रहा हूँ।

2. संबंधसूचक अव्यय :

  • के लिए : मैंने उसके लिए खिलौने लाए।
  • की तरफ : मैंने तुरंत उसकी तरफ देखा।
  • के नीचे : पेड़ के नीचे एक लड़का बैठा था।

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उपयोजित लेखन :

प्रश्न 1.
आपके विद्यालय की सैर का वर्णन करने वाला पत्र अपनी सहेली या अपने मित्र को लिखिए। (पत्र निम्न प्रारूप में हों।)
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उत्तर:

10 जुलाई, 2018
प्रिय मित्र राहुल,
सप्रेम नमस्ते।
तुम कैसे हो? बहुत दिन हो गए लेकिन तुम्हारा पत्र नहीं मिला। आशा करता हूँ कि तुम ठीक होगे। मैं भी कुशल हूँ। मेरी चिंता मत करना राहुल, हमारे विद्यालय ने महाबलेश्वर की सैर आयोजित की थी। सैर तीन दिन की थी। दिनांक 25 जून को हम सुबह 7 बजे महाबलेश्वर की ओर निकले। करीबन शाम के 4 बजे तक हम महाबलेश्वर पहुंच गए थे। महाबलेश्वर के बारे में तुम्हें क्या बताऊँ? बहुत ही रम्य प्राकृतिक स्थल है महाबलेश्वर । वहाँ की वादियाँ एवं घाटियाँ देखकर मेरा मनमयूर नाचने लगा था।

सघन वृक्ष देखने लायक थे। चारों ओर का वातावरण बड़ा ही शांत और खुशनुमा था। हवा में ठंडक व ताज़गी थी। पेड़ों पर उछल-कूद करने वाले बंदरों की सेना देखकर मैं आनंदविभोर हो गया। वहाँ का रम्य वातावरण एवं मित्रों के साथ घूमते-घूमते तीन दिन कैसे बीत गए, इस बात का मुझे पता ही नहीं चला।

जैसे ही छुट्टियाँ शुरू हो जाएगी; वैसे ही तुम मेरे घर पर आना। फिर हम मिलकर खूब खेलेंगे। तुम्हारे माता जी एवं पिता जी को मेरा सादर प्रणाम।
तुम्हारा प्रिय मित्र,
विजय मेहता
पता : 201, गीता महल,
कृष्ण नगर,
मुंबई : 400 012
vijay-44@gmail.com

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Hindi Lokvani 10th Std Textbook Solutions Chapter 2 कलाकार Additional Important Questions and Answers

(अ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति अ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
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प्रश्न 2.
निम्नलिखित विधान सही करके लिखिए।

i. बहुरूपियों के बारे में सभी नहीं जानते हैं।
उत्तर:
बहुरूपियों के बारे में हम सब जानते हैं।

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प्रश्न 3.
समझकर लिखिए।
i. गद्यांश में इस प्रांत की लोक कथाओं का जिक्र हुआ है।
उत्तर:
राजस्थान

कृति अ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के अर्थ गद्यांश में से ढूँढ़कर लिखिए।

  1. पेशा
  2. नगर
  3. इनाम
  4. धोखा

उत्तर:

  1. व्यवसाय
  2. शहर
  3. उपहार
  4. विश्वासघात

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प्रश्न 2.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. कपड़े धोने का पेशा करनेवाली एक जाति –
ii. अनेक प्रकार के रूप धारण करने वाला –
उत्तर:
i. धोबी
ii. बहुरूपिया

प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्दों के विलोम शब्द लिखिए।

  1. सफलता × ……….
  2. व्यवहार × ……….
  3. भीतर × ……….

उत्तर:

  1. असफलता
  2. अव्यवहार
  3. बाहर

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प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्द से उपसर्ग व प्रत्यययुक्त शब्द बनाइए।
i. व्यवहार
ii. रूप
उत्तर:
i. उपसर्गयुक्त शब्द : अव्यवहार, प्रत्यययुक्त शब्द : व्यावहारिक
ii. उपसर्गयुक्त शब्द : कुरूप, प्रत्यययुक्त शब्द : रूपवान

कृति अ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘बहुरूपियों का पेशा अब समाप्त होता जा रहा है।’ अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
पुराने जमाने में मनोरंजन के साधन सीमित होते थे। सिनेमा हॉल, दूरदर्शन, संगणक या मोबाइल जैसे अत्याधुनिक एवं मन बहलाने वाले साधन कम थे। वास्तव में मनोरंजन की दुनिया बहुत छोटी थी। पहले पुराने संस्कार एवं विधियों का अनुकरण किया जाता था। लोक कथाओं एवं लोक कलाओं का अनुकरण करने में सभी को आनंद मिलता था। लेकिन अब जमाना बदल गया है। लोगों की मनोरंजन को लेकर मानसिकता बदल गई है।

विज्ञान व तकनीकी ने मानव सभ्यता में परिवर्तन ला दिया है। इस कारण पहले जिस प्रकार बहुरूपिया द्वार-द्वार पर जाकर अपनी कलाबाजी एवं हुनर को प्रदर्शित करता था, उस प्रकार अब द्वार पर बुहरूपिया नहीं आता है। उसकी कलाबाजी एवं हुनर को देखने के लिए लोगों के पास पर्याप्त समय भी नहीं है। आपाधापी के इस युग में जहाँ अपनों के लिए वक्त नहीं है, वहाँ बहुरूपिए के करतब देखने के लिए किसी के पास समय नहीं है। इसलिए बहुरूपियों का पेशा अब समाप्त होता जा रहा है।

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(आ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति आ (1): आकलंन कृति

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार 7

प्रश्न 2.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार 8

कृति आ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।

  1. भस्म
  2. साधु
  3. उपदेश
  4. समाचार

उत्तर:

  1. राख
  2. सज्जन
  3. सलाह
  4. खबर

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प्रश्न 2.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।

  1. तीन आड़ी रेखाओं का तिलक .
  2. कमर में बाँधने का एक प्रकार का वस्त्र –
  3. जिसने संसार को त्यागा है –

उत्तर:

  1. त्रिपुंड
  2. लँगोटी
  3. संसारत्यागी

प्रश्न 3.
विलोम शब्द लिखिए।

  1. कीर्ति × ……….
  2. आशीर्वाद × ………….
  3. साधु × …………..
  4. नगर × ………….

उत्तर:

  1. अपकीर्ति
  2. शाप
  3. गाँव

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प्रश्न 4.
गद्यांश में प्रयुक्त पर्यायवाची शब्द को ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तर:
i. सिर, माथा

प्रश्न 5.
वचन बदलिए।

  1. डेरा
  2. झोपड़ी
  3. बगीचा
  4. सफलता

उत्तर:

  1. डेरे
  2. झोपड़ियाँ
  3. बगीचे
  4. सफलताएँ

प्रश्न 6.
निम्नलिखित शब्दों में से उपसर्ग छाँटकर लिखिए।
i. महात्मा
ii. उपदेश
उत्तर:
i. महा
ii. उप

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प्रश्न 7.
गद्यांश से प्रयुक्त शब्द-युग्म +डकर लिखिए।
उत्तरः
i. कभी-कभी
ii. धीरे-धीरे

प्रश्न 8.
निम्नलिखित शब्द के लिए अनेकार्थी शब्द लिखिए। –
i. रूप
उत्तरः
सूरत, प्रकृति, खूबसूरत, समान।।

प्रश्न 9.
गद्यांश में से तत्सम शब्द ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तरः
संसार, कीर्ति, साधु

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कृति आ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘साधु माला, जटा, त्रिपुंड, कमंडल, तिलक, भस्म क्यों धारण करते हैं? अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
भारत में हिंदू साधुओं का एक विशेष पहनावा होता है। भारतीय संस्कृति की परंपरा के अनुसार ये माला, जटा, त्रिपुंड, कमंडल, तिलक, भस्म आदि का प्रयोग करके स्वयं को संसारत्यागी

कहलवाते हैं। हिंदू समाज में तुलसी की माला का विशेष महत्व होता है। अतः साधुओं के हाथ व गले में माला होती है। जटा, भस्म व कमंडल का सीधा संबंध भगवान शिव से होता है। भगवान शिव अपने शरीर पर भस्म लगाते थे। हिंदू संप्रदाय में तिलक का भी अपना विशेष महत्त्व होता है। धार्मिक कार्य एवं ईश्वर की उपासना करने के पश्चात माथे पर तिलक लगाया जाता है। माला, जटा, त्रिपुंड, कमंडल, तिलक, भस्म आदि का आध्यात्मिक महत्त्व भी है। इनके प्रयोग से व्यक्ति शुद्ध आचरण करने लगता है। अत: साधु उपर्युक्त साधनों को धारण करते हैं।

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(इ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति इ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
गद्यांश पड़कर ऐसे प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्नलिखित शब्द हों –
i. सेठ
ii. सेठानी
उत्तर:
i. अविश्वास से कौन हँस पड़ा?
ii. कौन बीमार हो गई?

प्रश्न 2.
सही विकल्प चुनकर वाक्य पूर्ण कीजिए।
i. सेठ साधु को मिलने के लिए तैयार हो गया क्योंकि…..
(अ) दुनियाभर के इलाज कराने के बाद भी उसकी माँ ठीक नहीं हुई।
(आ) दुनियाभर के इलाज कराने के बाद भी उसकी बेटी ठीक नहीं हुई।
(इ) दुनियाभर के इलाज कराने के बाद भी उसकी पत्नी ठीक नहीं हुई।
उत्तर:
सेठ साधु को मिलने के लिए तैयार हो गया क्योंकि दुनियाभर के इलाज कराने के बाद भी उसकी पत्नी ठीक नहीं हुई।

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प्रश्न 3.
निम्नलिखित विधान सही करके लिखिए।

i. बड़ी प्रसन्नता से सेठ साधु को मिलने गया।
उत्तर:
हारकर सेठ साधु से मिलने गया।

प्रश्न 4.
किसने, किससे कहा?
i. “सेठानी को जीवनदान दीजिए।”
उत्तर:
सेठ ने साधु से कहा।

ii. “ऐसे ढोंगी जाने यहाँ कितने आते रहते हैं।”
उत्तर:
सेठ ने व्यक्ति से कहा।

कृति इ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तर:
i. कभी-कभी
ii. वैद्य-डॉक्टर

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प्रश्न 2.
वचन बदलिए।
i. सेठानी
ii. पेशा
उत्तर:
i. सेठानियाँ
i. पेशे

प्रश्न 3.
गद्यांश में से प्रत्यययुक्त शब्द ढूँढकर लिखिए।
उत्तर:

  1. जीवनदान : प्रत्यय : दान
  2. करोड़पति : प्रत्यय : पति
  3. बेईमानी : प्रत्यय : ई

प्रश्न 4.
‘अविश्वास’ इस शब्द में निहित उपसर्ग प्रत्यय को पहचानकर संबंधित उपसर्ग लगाकर अन्य दो शब्द तैयार कीजिए।
उत्तरः
अविश्वास : प्रत्यय : अ, नए शब्द : अकारण, अप्रसन्न

प्रश्न 5.
निम्नलिखित गद्यांश में प्रयुक्त लिंग शब्द की जोड़ी ढूँढकर लिखिए।
उत्तरः
सेठ-सेठानी

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प्रश्न 6.
निम्नलिखित गद्यांश में प्रयुक्त पर्यायवाची शब्दों की जोड़ी ढूँढकर लिखिए।
उत्तर:
i. वैद्य-डॉक्टर
ii. चरण-पाँव

प्रश्न 7.
नीचे दिए शब्द के लिए श्रुतिसम भिन्नार्थक शब्द लिखिए।
i. संपत्ति
ii. अब
उत्तर:
i. संप्रति
ii. आब

प्रश्न 8.
निम्नलिखित शब्दों के अनेकार्थी शब्द लिखिए।
i. डोली
ii. जीवन
उत्तर:
i. एक क्रिया जो ‘डोलना’ से संबंधित है, पालकी
ii. पानी, जिंदगी

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कृति इ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘क्या कोई साधु बीमार व्यक्ति को स्वस्थ करने की शक्ति रखता है।’ विधान को वर्तमान समय के संदर्भ में अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
आज का युग विज्ञान एवं तकनीकी का युग है। आज हमारे समाज में साधु और तांत्रिक के वेश में कुछ ढोंगी भी देखने को मिलते हैं। वे दूसरे की अज्ञानता और सीधेपन का लाभ उठाकर पैसा कमाते हैं। ऐसे में यदि घर का कोई व्यक्ति बीमार हो जाए, तो उसे साधु या तांत्रिक के पास ले जाना उचित नहीं है। फिर भी लोग अंधविश्वास के कारण बीमार व्यक्ति को साधु महाराज के पास लेकर जाते हैं। साधु के पास कोई भी ऐसी अद्भुत शक्ति नहीं होती है। वह तो सिर्फ उसके पास आने वाले व्यक्ति

को आशीर्वाद दे सकता है और ईश्वर से उनके कष्ट हरने की प्रार्थना कर सकता है। इससे ज्यादा उसके हाथ में कुछ नहीं होता है। फिर भी लोग उस पर विश्वास रखते हैं। हमें समाज में चारों ओर फैले कुछ ढोंगी साधुओं से बचना चाहिए और बीमार व्यक्ति को डॉक्टर के पास लेकर जाना चाहिए तथा डॉक्टर से उसका इलाज करवाना चाहिए।

(ई) गद्यांश को पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति ई (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
परिणाम लिखिए।

i. सेठानी की तबीयत ठीक हो जाने पर …..
उत्तरः
सेठ का साधु पर गहरा विश्वास हो गया और वह रोज साधु के पास आने लगा।

प्रश्न 2.
गद्यांश पढ़कर ऐसे प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्न शब्द हों –
i. सात-आठ
ii. धन
उत्तर:
i. सेठानी की तबीयत कितने दिनों में ठीक हो गई?
ii. क्या बढ़ने से लोभ भी उतना ही बढ़ता है?

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प्रश्न 3.
संजाल पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
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कृति ई (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित वाक्य में विराम चिह्नों का उचित प्रयोग कीजिए।
i. साधु ने सेठ से कहा सच्चा सुख धन का त्याग करने में है अपना ध्यान भगवान के चरणों में लगा दो
उत्तरः
साधु ने सेठ से कहा, “सच्चा सुख धन का त्याग करने में है; अपना ध्यान भगवान के चरणों में लगा दो।”

प्रश्न 2.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।

  1. भगवान
  2. विश्वास
  3. संसार
  4. लोभ

उत्तर:

  1. ईश्वर
  2. भरोसा
  3. जग
  4. लालच

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प्रश्न 3.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तर:
i. सात-आठ
ii. धीरे-धीरे

प्रश्न 4.
नीचे दिए शब्द के लिए श्रुतिसम भिन्नार्थक शब्द लिखिए।
i. सात
ii. समाधी
उत्तर:
i. साथ
ii. समधी

प्रश्न 5.
‘बीमारी’ इस शब्द में से प्रत्यय अलग कीजिए और संबंधित प्रत्यय लगाकर अन्य दो शब्द बनाइए।
उत्तरः
बीमारी : शब्द : बीमार प्रत्यय : ई अन्य शब्द : लोभी, संबंधी

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प्रश्न 6.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. योगसाधना द्वारा अंतर्ध्यान लगाकर बैठना –
उत्तरः
समाधी

कृति ई (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘जीवन का सच्चा सुख धन का त्याग करने में है।’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
उपर्युक्त बिल्कुल शतप्रतिशत: सही है। जीवन का सच्चा सुख धन का त्याग करने में ही है। जिस व्यक्ति को धन का लोभ नहीं होता है; वह धन का कभी भी संचय नहीं करता है। जैसे-जैसे उसके पास धन आ जाता है; वैसे-वैसे वह धन दीन-दुखियों में बाँट देता है। दीन-दुखियों के चेहरे पर संतोष देखकर उसे अथाह खुशी मिलती है। ऐसा व्यक्ति सच्चे सुख का अनुभव करता है। जीवन में जो भी महान पुरुष हुए हैं, उन्होंने कभी भी धन का संचय नहीं किया था। आजीवन उन्होंने मानवता की भलाई हेतु ही कार्य किया। आखिर यह संसार एक माया है। धन का लोभ आदमी को आदमी नहीं रहने देता। जो व्यक्ति जितना धन का संचय करता है; उतना ही उसका लोभ बढ़ता जाता है।

(उ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति उ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
कारण लिखिए।
i. सेठ का संसार से मन फिर गया।
उत्तर:
क्योंकि साधु महाराज के उपदेश का उस पर सकारात्मक असर पड़ा।

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प्रश्न 3.
उचित जोड़ियाँ लगाइए।

‘अ’ ‘ब’
1. बैलगाड़ियों (क) कपट
2. सच्चा (ख) झुंड
3. साधु (ग) ज्ञान
4. झूठ (घ) उपदेश

उत्तरः

‘अ’ ‘ब’
1. बैलगाड़ियों (ख) झुंड
2. सच्चा (ग) ज्ञान
3. साधु (घ) उपदेश
4. झूठ (क) कपट

कृति उ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।

  1. प्रणाम
  2. कुटी
  3. असलियत
  4. मंदिर

उत्तर:

  1. नमस्कार
  2. झोपड़ी
  3. सच्चाई
  4. देवालय

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प्रश्न 2.
नीचे दिए हुए शब्द के विलोम शब्द लिखिए।
i. शिष्य × ……….
ii. सच्चा × ……….
उत्तर:
i. गुरु
ii. झूठा

प्रश्न 4.
‘असलियत’ शब्द में प्रत्यय अलग कीजिए और संबंधित प्रत्यय लगाकर अन्य दो शब्द तैयार कीजिए।
उत्तर:
असलियत : प्रत्यय : इयत, अन्य शब्द: इनसानियत, हैवानियत

प्रश्न 5.
नीचे दिए गए तत्सम शब्दों के तद्भव रूप लिखिए।
i. सुवर्ण
ii. उष्ट्र
उत्तर:
i. सोना
ii. ऊँट

प्रश्न 6.
नीचे दिए गए शब्द का श्रुतिसम भिन्नार्थक शब्द लिखिए।
i. चरण
उत्तर:
चारण

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कृति उ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘हृदय परिवर्तन व्यक्ति को सत्मार्ग की ओर अग्रसित करता है।’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
हृदय परिवर्तन एक ऐसी प्रक्रिया है, जिससे व्यक्ति का स्वभाव, उसकी बुराइयाँ आदि सब कुछ अच्छाई में परिवर्तित हो जाती हैं। हृदय परिवर्तन व्यक्ति के व्यक्तित्व को संपूर्णत: नया आयाम देता है। भगवान बौद्ध के उपदेश का अंगुलिमाल के हृदय पर सकारात्मक प्रभाव पड़ा और उसका हृदय परिवर्तन हो गया। मोहनदास गांधी का भी हृदय परिवर्तन हुआ और वे महात्मा गांधी बने। दीन-दुखियों का दुख देखकर मदर टेरेसा का भी हदय परिवर्तन हुआ था।

जिस व्यक्ति का हृदय परिवर्तन हो जाता है वह व्यक्ति सत्मार्ग की ओर अग्रसित हो जाता है और फिर वह अपने जीवन में कभी भी बुराइयों को अपनाता नहीं। वह अपने जीवन में सत्संग कर दूसरों के जीवन में खुशहाली निर्माण करता है। जिसका हृदय परिवर्तन हो जाता है वह दूसरों की सेवा निःस्वार्थ भाव से करता है। हृदय परिवर्तन व्यक्ति के जीवन का सबसे बड़ा परिवर्तन होता है।

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(ऊ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति ऊ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
गद्यांश पढ़कर ऐसे प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्नलिखित शब्द हों –
i. धन
ii. सेठ जी
उत्तर:
i. साधु के अनुसार मिट्टी क्या है?
ii. बहुरूपिये के अनुसार चतुर आदमी कौन है?

प्रश्न 2.
परिणाम लिखिए।
i. बहुरूपिये ने सेठ जी से धन नहीं लिया –
उत्तर:
सेठ की आँखों में आँसू आ गए।

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प्रश्न 3.
निम्नलिखित विधान सही करके लिखिए।

ii. प्रसन्न भाव से बहुरूपिया सिर ऊँचा करके खड़ा था।
उत्तर:
अपराधी भाव से बहुरूपिया सिर झुकाए खड़ा था।

प्रश्न 4.
कारण लिखिए।
i. बहुरूपिये ने सेठ से अपना इनाम माँगा।
उत्तर:
क्योंकि उसने सेठ जैसे चतुर आदमी को धोखा दे दिया था और अपनी कला का सम्मान चाहता था।

कृति ऊ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढकर लिखिए।
उत्तर:
i. समझा-बुझाकर
ii. इधर-उधर

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प्रश्न 2.
विलोम शब्द लिखिए।

  1. बड़ा × ………….
  2. स्वीकार × ……….
  3. इनाम × …………..
  4. चतुर × ……………

उत्तर:

  1. छोटा
  2. अस्वीकार
  3. हर्जाना
  4. मूर्ख

प्रश्न 3.
पर्यायवाची शब्द लिखिए।
i. कसूर
ii. इनाम
उत्तर :
i. गलती
ii. उपहार

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार

प्रश्न 4.
गोश में से ऐसे दो शब्द ढूँढकर लिखिए जिनके वचन परिवर्तित नहीं होते।
उत्तर:
सिर, इनाम

प्रश्न 5.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. वस्तु पर से अपना स्वत्व हटा लेना –
उत्तर:
त्याग

प्रश्न 6.
निम्नलिखित शब्द के अनेकार्थी शब्द लिखिए।
i. माया
उत्तर:
माया, धन, देवी, लक्ष्मी

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार

(ए) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति ए (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
गद्यांश के आधार पर वाक्य पूर्ण कीजिए।
i. अगर बहुरूपिया सेठ जी की संपत्ति लेकर भाग जाता …..
उत्तर:
अगर बहुरूपिया सेठ जी की संपत्ति लेकर भाग जाता तो उसके रूप में खोट आ सकती थी।

ii. बहुरूपिए ने रूप को सच्चा रखने के लिए
उत्तर:
बहुरूपिए ने रूप को सच्चा रखने के लिए संपत्ति का त्याग कर दिया था।

प्रश्न 2.
कारण लिखिए।
i. बहुरूपिया अब खुशी से इनाम ले सकता है।
उत्तर:
क्योंकि उसने अपने बहुरूपिये का काम पूरा कर लिया था।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार

प्रश्न 3.
निम्नलिखित गलत विधान सही करके लिखिए।
i. सेठानी बहुरूपिये के आशीर्वाद से ठीक हो गई थी।
उत्तर:
सेठानी और सेठ का विश्वास और संयोग इनके मिलन से सेठानी ठीक हो गई थी।

ii. दुर्जन व्यक्ति की तरह बहुरूपिये ने साधु का रूप त्याग दिया था।
उत्तर:
सच्चे महत्मा की तरह बहुरूपिये ने साधु का रूप त्याग दिया था।

कृति ए (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित वाक्य में विराम चिह्नों का उचित प्रयोग कीजिए।
i. बहुरूपिये ने सेठ से कहा अब आप जो इनाम मुझे देंगे खुशी से ले लूँगा
उत्तर:
बहुरूपिये ने सेठ से कहा, “अब आप जो इनाम मुझे देंगे, खुशी से ले लूंगा।”

प्रश्न 2.
दिए गए गद्यांश में से विदेशी शब्द ढूँढकर लिखिए।
उत्तर:
अशर्फी

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार

प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्द में उचित उपसर्ग व प्रत्यय लगाकर नए शब्द तैयार कीजिए।
i. नम
ii. संतुष्ट
उत्तर:
i. उपसर्गयुक्त शब्द: विनम्र, प्रत्यययुक्त शब्द: नम्रता
ii. उपसर्गयुक्त शब्द: असंतुष्ट, प्रत्यययुक्त शब्दः संतुष्टि

प्रश्न 4.
विलोम शब्द लिखिए।
i. विश्वास ×
ii. नम्रता ×
उत्तर:
i. अविश्वास
ii. अशिष्टता

प्रश्न 5.
निम्नलिखित अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. सोने का सिक्का –
उत्तर:
अशर्फी

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कृति ए (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘हमें अपने व्यवसाय के प्रति ईमानदार होना चाहिए।’ अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
‘व्यवसाय’ का अर्थ है काम-धंधा एवं पेशा। व्यवसाय से व्यक्ति को रोजगार प्राप्त होता है। व्यवसाय एक नैतिक उत्तरदायित्व होता है। लाभ कमाने के ध्येय से व्यवसाय किया जाता है। व्यवसाय के कई प्रकार हैं। जैसे कि अध्यापन, डॉक्टरी, चित्रकारी आदि तरह-तरह के व्यवसाय हैं। व्यक्ति किसी भी व्यवसाय का चयन करें, पर उसे अपने व्यवसाय के प्रति ईमानदार होना चाहिए। उसे अपना काम निष्ठा एवं विश्वास से करना चाहिए। उसके मन में अपने व्यवसाय के प्रति अपनत्व की भावना होनी चाहिए तथा प्रतिकूल परिस्थिति में भी वह अपने व्यवसाय की नैतिकता में सतर्क रहे। जो व्यक्ति अपने व्यवसाय के प्रति ईमानदार होता है; वह राष्ट्रीय विकास हेतु अपना योगदान देने में सक्षम होता है। व्यवसाय के प्रति ईमानदार रहने से व्यक्ति का व्यवसाय समाज में प्रतिष्ठित स्थान प्राप्त कर लेता है। अत: हमें व्यवसाय के प्रति ईमानदार होना चाहिए।

कलाकार Summary in Hindi

लेखक – परिचय :

जीवन-परिचय : राजेंद्र यादव जी का जन्म सन 1929 में उत्तर प्रदेश के आगरा शहर में हुआ। आप साठोत्तरी पीढ़ी के जाने-माने उपन्यासकार एवं साहित्यकार हैं। राजेंद्रजी हिंदी के सर्वाधिक लोकप्रिय संपादक भी थे। इन्होंने ‘नई कहानी’ के नाम से हिंदी साहित्य में एक नई विधा का सूत्रपात भी किया था। इन्होंने ‘हम’ पत्रिका का पुनः प्रकाशन किया और यह कार्य अपने जीवन के अंतिम समय तक यानी पूरे 27 वर्ष तक जारी रखा। हिंदी अकादमी दिल्ली द्वारा आपको समग्र लेखन के लिए ‘सर्वोच्च शलाका सम्मान’ प्रदान किया गया।
प्रमुख कृतियाँ : ‘जहाँ लक्ष्मी कैद है. ‘छोटे-छोटे ताजमहल’, ‘किनारे से किनारे तक (कहानी संग्रह), ‘सारा आकाश’, ‘शह और मात’। तथा ‘उखड़े हुए लोग’ (उपन्यास) आदि।

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गद्य-परिचय :

कहानी : कहानी साहित्य की एक महत्वपूर्ण विधा है। जीवन की किसी एक घटना के रोचक वर्णन को ‘कहानी’ कहते हैं। कहानी का उद्देश्य उपदेश देना और मनोरंजन करना माना जाता है। कहानी का लक्ष्य मानव जीवन की विभिन्न समस्याओं और ! संवेदनाओं को व्यक्त करना होता है।
प्रस्तावना : ‘कलाकार’ इस कहानी में लेखक राजेंद्र यादव जी ने बहुरूपिए के माध्यम से बताया है कि श्रेष्ठ कलाकार को अपनी कला के प्रति ईमानदार रहना चाहिए अर्थात व्यक्ति का कोई भी पेशा या व्यवसाय हो; उसे उसके प्रति ईमानदार होना चाहिए।

सारांश :

‘कलाकार’ एक कहानी है। यह कहानी हमें अपनी कला और व्यवसाय के प्रति ईमानदार रहने की प्रेरणा देती है। इस कहानी का नायक एक बहुरूपिया है। तरह-तरह के रूप धारण कर लोगों का मनोरंजन करना उसका पेशा है। वह अपनी कला में माहिर है। एक बार वह साधु के जैसा हू-ब-रूप धारण करके नगर के बाहर डेरा लगाकर बैठ जाता है। धीरे-धीरे लोग उसके बारे में जानने लगते हैं और उससे मिलने आने लगते हैं। चारों तरफ उसका नाम फैल जाता है। नगर में रहने वाले एक सेठ की पत्नी बीमार पड़ जाती है।

डॉक्टर एवं वैद्यों द्वारा इलाज करने पर भी वह ठीक नहीं होती है। आखिर सेठ अपनी पत्नी को लेकर साधु महाराज के पास आते हैं। संयोग वश सेठानी की तबीयत सुधरने लगता हा सात-आठ दिना म उसका तबीयत ठीक हो जाती है। अब सेठ पूरी निष्ठा से साधु महाराज का भक्त बन जाता है। साधु महाराज उसे मोह-माया को त्यागने के लिए कहते हैं। साधु के उपदेश का सेठ पर गहरा असर होता है और वह एक दिन अपनी सारी संपत्ति लेकर साधु के पास आता है। वह अपनी संपत्ति साध महाराज को दान करना चाहता है। लेकिन साधु उसे विनम्रता से ठुकरा देता है।

अब साधु को लगता है कि उसने अपनी कला का बेहतर प्रदर्शन करके सेठ जैसे चतुर आदमी को धोखा दे दिया है। अत: वह साधु का वेश त्यागकर सेठ के पास अपना इनाम माँगता है और सेठ को सब कुछ सच बता देता है। उसकी बातों को सुनकर सेठ आश्चर्यचकित हो जाते हैं। वे बहुरूपिए से कहते है कि अगर वह चाहता; तो उनका सारा धन लेकर भाग सकता था। तब बहुरूपिया कहता है कि यदि वह ऐसा करता, तो उसके रूप में खोट आ सकती थी। रूप को सच्चा रखने के लिए उसने धन का त्याग कर दिया था। फिर भी सेठ जी की समझ में कुछ नहीं आ रहा था कि यह कैसा बहुरूपिया है। जो करोड़ों की संपत्ति छोड़कर अशर्फियों के इनाम के लिए इतना प्रसन्न और संतुष्ट है।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 2 कलाकार

शब्दार्थ :

  1. बहुरूपिया – तरह-तरह के रूप धारण करने वाला
  2. जिक्र – चर्चा
  3. पेशा – व्यवसाय, उद्यम
  4. नगर – शहर
  5. इनाम – उपहार
  6. धोखा – फरेब
  7. भस्म – राख
  8. साधु – सज्जन
  9. उपदेश – सलाह
  10. समाचार – खबर
  11. अशर्फी – मूल्यवान धातु के सिक्के
  12. प्रणाम – नमस्कार
  13. कुटी – झोपड़ी
  14. असलियत – सच्चाई
  15. मंदिर – देवालय
  16. कमाल – सर्वोत्तम
  17. इनाम – उपहार
  18. धिक्कारना – झिड़कना
  19. शुभचिंतक – किसी कार्य/व्यक्ति के बारे में अच्छा सोचने वाला
  20. धूनी – साधुओं द्वारा बनाया गया अग्निकुंड

मुहावरे :

  1. डेरा लगाना – निवास के लिए जम जाना।
  2. आसमान से गिरना – आश्चर्यचकित होना।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना

Balbharti Maharashtra State Board Class 10 Hindi Solutions Hindi Lokvani Chapter 5 चार हाथ चाँदना Notes, Textbook Exercise Important Questions and Answers.

Maharashtra State Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना (पठनार्थ)

Hindi Lokvani 10th Std Digest Chapter 5 चार हाथ चाँदना Textbook Questions and Answers

स्वाध्याय :

सूचना के अनुसार कृतियाँ कीजिए :

1. विधानों के सामने सही अथवा गलत लिखिए :

प्रश्न 1.
विधानों के सामने सही अथवा गलत लिखिए :

  1. शोभा सिंह ने ‘सत्यम्, शिवम्, सुंदरम्’ का क्रम बदला है। [ ]
  2. प्रश्नकर्ता के अनुसार हमारी धरती का यथार्थ बहुत भयानक नहीं है। [ ]
  3. कलाकार की शक्ति उसके चिंतन में है। [ ]
  4. शोभा सिंह कलाकार का कर्म एक छोटी-सी जलती हुई मोमबत्ती नहीं समझते । [ ]

उत्तर:

  1. सत्य
  2. असत्य
  3. सत्य
  4. असत्य

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना

2. कृति पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना 1
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना 2

3. उचित जोड़ियाँ मिलाइए।

प्रश्न 1.
उचित जोड़ियाँ मिलाइए।

‘अ’ ‘ब’
1. चित्रकार (क) अमृता प्रीतम
2. लेखिका (ख) शोभा सिंह
3. जीनियस (ग) कलाकार
4. ईश्वर (घ) माँ

उत्तर:

‘अ’ ‘ब’
1. चित्रकार (ख) शोभा सिंह
2. लेखिका (क) अमृता प्रीतम
3. जीनियस (घ) माँ
4. ईश्वर (ग) कलाकार

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना

4. उचित विकल्प चुनकर रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए।

प्रश्न 1.
उचित विकल्प चुनकर रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए।

  1. सुंदरता के लिए ………………….. सबसे पहली अवस्था है। (नजर, दृष्टि, नजरिया)
  2. हमारी धरती का ……………… बहुत भयानक है। (सत्य, यथार्थ, वास्तव)
  3. कलाकार की शक्ति उसके …………….. में है। (चिंतन, मनन, साधना)
  4. मैं रचनात्मक ……………. के संबंध में कह रहा हूँ। (युक्ति, कृति, शक्ति)

उत्तर:

  1. नजरिया
  2. यथार्थ
  3. चिंतन
  4. शक्ति

5. पाठ में प्रयुक्त ऐसे शब्द ढूँढकर लिखिए जिनका वचन परिवर्तन नहीं होता।
जैसे : वृक्ष – वक्ष

प्रश्न 1.
पाठ में प्रयुक्त ऐसे शब्द ढूँढकर लिखिए जिनका वचन परिवर्तन नहीं होता।
जैसे : वृक्ष – वक्ष
उत्तर:

कलाकार रंग चित्रकार घर
दीमक गुलाब फूल दर्शक

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अभिव्यक्ति :

प्रश्न 1.
‘कला जीवन को आनंदित करने का साधन है।’ विषय पर अपना मत स्पष्ट कीजिए।
उत्तरः
कला के माध्यम से मनुष्य अपने भावों की अभिव्यक्ति करता है। कला जीवन की अनुकृति है। कला जीवन को आनंदित करने का साधन है। कला में ऐसी शक्ति होती है जो कलाकार को संकीर्ण सीमाओं से उठाकर सफलता की मंजिल पर बिठा देता है। कला के कारण मानव मन में संवेदनाएँ एवं अभिरूचि निर्माण होती है। कला जीवन को सत्यम्, शिवम् और सुंदरम् से समन्वित करती है। कला उस क्षितिज की भाँति है जिसका कोई छोर नहीं है।

रसात्मकता कला का प्राण होता है। व्यक्ति को जो कला अच्छी लगती है, उसमें वह मग्न हो जाता है। अपनी मनपसंद कला के साथ एकाकार होने से उसका मन हर्ष से भर जाता है। मनपसंद कला उसके जीवन को प्रभावित करती है और उसे आनंद की अनुभूति दिलाती है। जो व्यक्ति अपने जीवन से निराश एवं उदास हो जाता है, वह यदि कला के सान्निध्य चला जाए तो उसके मन से उदासी की भावना सदा के लिए खत्म हो जाती है और वह चिर-आनंद का अनुभव करने लगता है।

भाषाबिंदु :

प्रश्न 1.
वर्तनी के नियमों के अनुसार शुद्ध शब्द छाँटकर लिखिए। |

  1. मुश्कील/मुशकील/मुश्किल/मुष्कील = …………….
  2. परसिद्ध/प्रसिद्ध/प्रसीध्द/प्रसिध्ध =…………….
  3. मिट्टी/मिट्यी/मिट्टी/मीट्ठी = …………….
  4. रूतूएँ/ऋतुएँ/ऋतूए/ऋतू = …………….

उत्तर:

  1. मुश्किल
  2. प्रसिद्ध
  3. मिट्टी
  4. ऋतुएँ

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उपयोजित लेखन :

प्रश्न 1.
‘पुस्तक मेल में दो घंटे’ विषय पर अस्सी से सौ शब्दों में निबंध लिखिए।
उत्तरः
पुस्तक मेल में दो घंटे पुस्तकों का हमारे जीवन में महत्त्वपूर्ण स्थान होता है। वे एक मित्र के समान हमारी सहायक एवं मार्गदर्शक होती हैं। वे अपना ज्ञानरूपी अमृत कोष सदा हम पर न्योछावर करती रहती हैं। अतः पुस्तकों का वाचन सभी को करना चाहिए। पुस्तकों का भी अपना एक मेला होता है। पुस्तक मेले में तरह-तरह की पुस्तकें होती हैं। वहाँ पर लेखक एवं कवि आते हैं और स्वयं अपनी पुस्तकों के बारे में पाठकों को परिचित कराते हैं। मैं भी सरस्वती भवन द्वारा आयोजित पुस्तक मेले में गया था।

मेरे साथ मेरे मित्र भी थे। जैसे ही हमने पुस्तक मेले में प्रवेश किया वैसे ही पुस्तक मेले के प्रवेशद्वार पर एक व्यक्ति पुस्तक का मुखौटा पहनकर पुस्तकों के महत्त्व से हमें परिचित कराने लगा हमें बहुत ही अच्छा लगा। जैसे ही हम भीतर गए वैसे ही हमने चारों ओर नजर डाली।

तब हमने देखा कि चारों ओर पुस्तक खरीदने के लिए लोगों की भीड़ एकत्रित हुई है। कई दुकानों पर लोगों का तांता लगा हुआ था। भारतीय भाषाओं के सर्वश्रेष्ठ ग्रंथ एवं महापुरूषों की जीवनी सर्वत्र विक्री हेतु उपलब्ध थी। अंग्रेजी किताबें भी थीं। हिंदी साहित्य की पुस्तकों के बारे में क्या कहना? प्रत्येक दुकान में पंत जी, निराला जी, बच्चन जी, गुप्त जी, सुभद्रा जी, महादेवी जी, अज्ञेय जी, मन्नू भंडारी जी, भारती जी आदि पुस्तक रूप में विराजमान थे।

इन श्रेष्ठ साहित्यकारों के अनुपम ग्रंथ देखकर मैं आनंदविभोर हो गया। इतने में मेरे एक मित्र ने तपाक से कहा, “अरे देखो, हिंदी साहित्य के श्रेष्ठ वर्तमान साहित्यकार श्री. राम जी तिवारी बच्चों के साथ वार्तालाप कर रहे हैं।”

हम तुरंत उस स्थान पर पहुंच गए जहाँ पर श्री तिवारी जी बच्चों से तन्मयता और सहदयता से बात कर रहे थे। उनके विचार सुनकर हम सब गद्गद हो गए। उन्होंने ‘कितावें करती हैं बातें…’ इस कविता को हमारे सामने अभिव्यक्त करके पुस्तकों के वाचन हेतु जो संस्कार किया, उसका वर्णन करना मेरे लिए कठिन है।

पुस्तक मेले में घूमते-घूमते हमें कई ऐसी किताबों के बारे में पता चला, जिनके नाम भी हमने पहले कभी सुने नहीं थे। पुस्तक मेले में भ्रमण करते समय दो घंटे कब खत्म हुए, इसका पता भी नहीं चला। मनचाही पुस्तकें खरीद कर एवं प्राप्त ज्ञान को मस्तिष्क में संग्रहित कर हम खुशी-खुशी घर की ओर लौट पड़े।

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Hindi Lokvani 10th Std Textbook Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना Additional Important Questions and Answers

(अ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति अ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
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प्रश्न 2.
निम्नलिखित विधान सत्य है या असत्य लिखिए। –
i. श्री शोभा सिंह प्रसिद्ध साहित्यकार हैं।
उत्तर:
i. असत्य

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प्रश्न 3.
समझकर लिखिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना 5

प्रश्न 4.
उचित विकल्प चुनकर रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए।
i. सुंदरता की …………………………. अवस्था सत्य है। (पहली, दूसरी, तीसरी)
उत्तर:
i. पहली

कृति अ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।

  1. रूहानी
  2. तकनीकी
  3. अवस्था
  4. गहराई

उत्तर:

  1. आत्मिक
  2. प्रविधिक
  3. हालत
  4. गहनता

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना

प्रश्न 2.
निम्नलिखित शब्दों के वचन बदलिए।
i. कल्पना
ii. लकीर
उत्तर:
i. कल्पनाएँ
ii. लकीरें

प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्द के अनेकार्थी शब्द लिखिए।
i. अवस्था
ii. कल्पना
उत्तर:
i. हालत, देहादि की कालकृत स्थिति जैसे बचपन, जवानी, बुढ़ापा, उम्र, स्थिति
ii. नई बात, सोचना, मन की उपज

प्रश्न 4.
निम्नलिखित तत्सम शब्द का तद्भव रूप लिखिए।
i. सत्य
उत्तर:
i. सच

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प्रश्न 5.
गद्यांश में प्रयुक्त अन्य भाषाओं के शब्द ढूँडकर लिखिए।
उत्तर:
i. रूहानी
ii. कैनवस

कृति अ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘रंगों का जीवन में बड़ा महत्व है।’ इस विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
रंगों का व्यक्ति के जीवन में महत्त्वपूर्ण स्थान होता है। रंग चेतन जीव पर गहराई तक असर डालते हैं। रंग व्यक्ति को सिर्फ खुशी ही नहीं देते बल्कि उसके शारीरिक एवं मानसिक विकारों को भी दूर भगाते हैं। रंग व्यक्ति के जीवन में दोहरी भूमिका निभाते हैं। उदाहरण के तौर पर रंग हमें उत्तेजित करते हैं और हमें शांत भी करते हैं। इसलिए जीवन में रंगों का ज्योतिषीय महत्त्व है। रंगों के बिना व्यक्ति का जीवन नीरस होता है।

इंद्रधनुष के सात रंगों को रंगों का रचयिता माना जाता है। हरा रंग संपन्नता का प्रतीक माना जाता है। श्वेत रंग शांति का प्रतीक माना जाता है। पीला रंग प्रकाश का प्रतीक माना जाता है, तो गुलाबी रंग कोमलता व सुंदरता का प्रतीक माना जाता है। नीला रंग एकता व ठंडक का प्रतीक माना जाता है। रंग हमारे विचारों को प्रभावित करते हैं। इसलिए हमारे जीवन में रंगों का विशेष महत्त्व है।

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(आ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति आ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
i.
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना 6

ii.
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना 7

प्रश्न 2.
प्रस्तुत गद्यांश को पढ़कर ऐसे दो प्रश्न तैयार कीजिए कि जिनके उत्तर निम्न शब्द हों –
i. परछत्ती
ii. तस्वीरें
उत्तर:
i. आँगन में क्या बनी हुई थी?
ii. बचपन में शोभा सिंह जी घर की दीवारें सजाने के लिए क्या बनाने लगे?

कृति आ (3) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के विलोम शब्द लिखिए।
i. जन्म × ……………
ii. निचली × ……………
उत्तर:
i. मरण
ii. ऊपरी

प्रश्न 2.
निम्नलिखित अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।

  1. घास-फूस का बना छप्पर –
  2. कागज़, चमड़े आदि से मड़ी हुई दफ़्ती या पुस्तक की प्रति –
  3. लकड़ी और किताबों को खानेवाला कीट –

उत्तर:

  1. परछत्ती
  2. जिल्द
  3. दीमक

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प्रश्न 3.
नीचे लिखे शब्दों में से उपसर्ग छाँटिए और संबंधित उपसर्ग से दो अन्य शब्द बनाइए।
i. परछत्ती
उत्तर:
i. परछत्ती : उपसर्ग : पर अन्य शब्द : परदादा, परदादी

प्रश्न 4.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढकर लिखिए।
उत्तर:
i. धो-पोंछकर
ii. इर्द-गिर्द

(इ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति इ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
ऐसे प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्न शब्द हों
i. रचनात्मक
ii. चाँदना
उत्तर:
i. गद्यांश में किस शक्ति की बात हो रही है?
ii. जलती हुई मोमबत्ती धरती को क्या दे सकती है?

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प्रश्न 2.
निम्नलिखित विधान सत्य है या असत्य लिखिए।
i. औरत सब कुछ छोड़कर एक नई और ऊपरी धरती पर चली जाती है।
ii. दो-दो, चार-चार हाथ चाँदना पूरी संस्कृति को प्रभावित कर सकता है।
उत्तर:
i. सत्य
ii. असत्य

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कृति इ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढकर लिखिए।
उत्तर:

  1. माँ-बाप
  2. भाई-बहन
  3. दो-दो, चार-चार
  4. ईद-गिर्द

प्रश्न 2.
वचन बदलिए।
i. शक्ति
ii. मोमबत्ती
उत्तर:
i. शक्तियाँ
ii. मोमबत्तियाँ

प्रश्न 3.
‘कलाकार’ इस शब्द में निहित प्रत्यय को पहचानकर संबंधित उपसर्ग लगाकर अन्य दो शब्द तैयार कीजिए।
उत्तरः
कलाकारः प्रत्यय : कार नए शब्द : शिल्पकार, चित्रकार

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प्रश्न 4.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।

  1. किसी लक्ष्य को पाने के लिए किया गया अभ्यास –
  2. रचना से संबंधित –
  3. सभ्य होने का भाव –

उत्तर :

  1. साधना
  2. रचनात्मक
  3. सभ्यता

कृति इ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘कला अभिव्यक्ति का माध्यम है।’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
मन के अंत:करण की सुंदर प्रस्तुति कला होती है। कला में मानसिक व शारीरिक कौशलों का प्रयोग होता है। कला का अर्थ है – रचना करना। चित्रकला, संगीत, काव्य, नृत्य, स्थापत्यकला, रंगमंच आदि कला के विविध रूप हैं। कला के द्वारा मनुष्य अपने भावों की अभिव्यक्ति करता है। कला मानव, प्राणियों में अमृत भर देती हैं। फिर वह कला संगीत कला हो या चित्रकला। वह अभिव्यक्ति का कुशल साधन बनकर मनुष्य के हृदय पर सकारात्मक प्रभाव निर्माण करती है। कला के द्वारा मनुष्य अपनी संवेदनाएं व अभिरुचि को दिशा देने की अद्भुत क्षमता रखता है। कला मानवीय मन को सम्मोहित करती है।

कला की अभिव्यक्ति जितनी कुशल होती है। उतनी वह मानव मन पर अपनी छाप छोड़ने में सक्षम होती है। ताजमहल देखने के लिए प्रतिवर्ष लाखों लोग आते हैं। लोग चार मिनार की सैर करते हैं। ये सारी कला ही तो हैं जो अपने अभिव्यक्ति के सशक्त पहिए पर खड़ी हैं। अत: कहा जाता है : अभिव्यक्ति की कुशल शक्ति कला होती है। वह अभिव्यक्ति का सशक्त माध्यम होती है।

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(ई) गद्यांश पड़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति ई (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
समझकर लिखिए।

  1. यहाँ पर चित्रित होकर पड़ा है धरती का यथार्थ –
  2. धरती के यथार्थ –
  3. ये लोप होती जा रही हैं –
  4. गद्यांश में इस अंग्रेजी कवि का नाम आया है –
  5. कवि ब्लेक का कथन –

उत्तर:

  1. जगह-जगह पर व सड़कों की पटरियों पर
  2. भयानक गरीबी और अंतहीन दुखों का इतिहास
  3. जिंदगी की खूबसूरती व जिंदगी की अच्छाई
  4. कवि विलियम ब्लेक
  5. सुंदर ईश्वर को एक गुलाब का फूल बनाने में पचास हजार बरस लगे थे।

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प्रश्न 2.
गद्यांश के आधार पर वाक्य पूर्ण कीजिए।

  1. शोभा सिंह गुरुओं के चित्र बनाते हैं क्योंकि
  2. कला का तब तक कोई प्रभाव नहीं होता जब तक
  3. चित्रकार जिंदगी की खूबसूरती एवं अच्छाई को चित्रित करना चाहता है क्योंकि

उत्तर:

  1. शोभा सिंह गुरुओं के चित्र बनाते हैं क्योंकि उनके ‘स्वयं’ महान थे।
  2. कला का तब तक कोई प्रभाव नहीं होता जब तक वह कला के लिए होती है।
  3. चित्रकार जिंदगी की खूबसूरती एवं अच्छाई को चित्रित करना चाहता है क्योंकि वह दिनोंदिन लोप होती जा रही है।

कृति ई (3) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित वाक्य में विराम चिह्नों का उचित प्रयोग कीजिए।
i. शोभा सिंह ने कहा कलाकार का कर्म भी एक व्यक्तित्व बनना है तभी कला में उसका प्रभाव आ सकता है।
उत्तर:
शोभा सिंह ने कहा, “कलाकार का कर्म भी एक व्यक्तित्व बनना है, तभी कला में उसका प्रभाव आ सकता है।”

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प्रश्न 2.
लिंग बदलिए।
i. कलाकार
i. गुरु
उत्तर:
i. कलावती
ii. गुरुआइन

प्रश्न 3.
गद्यांश में से प्रत्यययुक्त शब्द ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तर:
i. खूबसूरती : प्रत्यय : ई
ii. अच्छाई : प्रत्यय : ई

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प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्दों में उचित प्रत्यय लगाइए।
i. कल्पना
ii. इतिहास
उत्तर:
i. कल्पना + इक = काल्पनिक
ii. इतिहास + इक = ऐतिहासिक

प्रश्न 5.
विलोम शब्द लिखिए।

  1. यर्थाथ × ………………..
  2. खूबसूरत × ………………..
  3. फूल × ………………..
  4. महान × …………………

उत्तर:

  1. कल्पित
  2. बदसूरत
  3. काँटा
  4. साधारण

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना

कृति ई (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘क्या जिंदगी की खूबसूरती व अच्छाई सचमुच लोप होती जा रही है ?’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
जिंदगी खूबसूरती व अच्छाई का नाम है। जिंदगी में जो कुछ प्राकृतिक है, वह सब ईश्वर निर्मित है। इंसान की जिंदगी में उसके कर्म बहुत ही मायने रखते हैं। वह जो कुछ करता है उसी के आधार पर उसकी जिंदगी भविष्य के रास्ते बनाती है। इंसान का अच्छा कर्म उसे अच्छाई की ओर ले जाता है। इंसान को जो यह अनमोल जीवन मिला है वह बहुत ही खूबसूरत है। इंसान का यह कर्तव्य है कि वह इस सुंदर जीवन को और खूबसूरत बनाए।

लता दीदी अपनी सुमधुर आवाज के लिए विश्व भर में पहचानी जाती हैं। सचिन क्रिकेट खेल जगत का भगवान बन गया है। अमिताभ बच्चन जी अपनी उत्कृष्ट अदाकारी के लिए देश-विदेश में प्रसिद्ध हैं। अत: मुझे ऐसा बिल्कुल नहीं लगता कि आज जिंदगी की खूबसूरती एवं अच्छाई लोप होती जा रही है। अपनी जिंदगी को खूबसूरत एवं अच्छा रखना प्रत्येक मनुष्य के हाथ में ही है।

(ङ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति छ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
उचित विकल्प चुनकर रिक्त स्थानों पूर्ति किजिए।
i. क्या प्रसाद सिर्फ …….. होता है? (बूंदी, लड्डू, पेड़ा)
उत्तर:
i. बूंदी

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना

प्रश्न 3.
समझकर लिखिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना 8

कृति उ (3) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।

  1. अमौर
  2. प्रसाद
  3. दर्शक

उत्तर:

  1. रईस
  2. अनुग्रह
  3. देखनेवाला

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना

प्रश्न 2.
निम्नलिखित शब्द के लिए अनेकार्थी शब्द लिखिए।
i. प्रसाद
उत्तर:
i. कृपा, भगवान को चढ़ाई गई वस्तु, अनुग्रह

प्रश्न 3.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. कला का प्रदर्शन करने वाला –
उत्तरः
कलाकार

प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्दों के श्रुतिसमभिन्नार्थक शब्द लिखिए।
i. दर्शक
ii. अमल
उत्तर:
i. दशक
ii. कमल

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना

कृति ङ (3): स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘कलाकार की शक्ति उसके चिंतन में है।’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
कलाकार वह होता है जो अपनी अद्भुत कला से सभी को मंत्रमुग्ध कर देता है और सभी के हृदय पर छाप छोड़ देता है। फिर वह कलाकार चित्रकार हो या कवि। कलाकार के पास अद्भुत शक्तियाँ होती हैं। नित्य साधना, चिंतन व मनन के जरिए कलाकार को कलात्मक शक्तियों की प्राप्ति होती है। भारत के महान गायक मोहम्मद रफी साहब के स्वरों में जो जादू था, वह उन्हें एक दिन में नहीं प्राप्त हुई। उसके लिए उन्होंने बचपन से रियाज़ करना शुरू कर दिया था।

दिन के दस-दस घंटे तक वे संगीत का अभ्यास करते थे। अपनी कड़ी तपस्या के कारण ही वे महान गायक बने थे। चिंतन के बिना कलाकार की प्रतिभा खिल नहीं सकती। चिंतन-रूपी तपस्या के बाद ही कलाकार की प्रतिभा पर दिव्य फल लगना शुरू होता है। कवि भी कविता लिखने के पहले चिंतन करता है। महर्षि वाल्मीकी की जीवनी से कौन परिचित नहीं है? उन्होंने भी ‘रामायण’ लिखने से पहले कड़ी साधना एवं चिंतन किया था। तब जाकर वे ‘रामायण’ जैसे महाकाव्य की रचना कर सकें। अत: कलाकार के लिए चितन करना बेहद जरूरी होता है।

चार हाथ चाँदना Summary in Hindi

लेखक-परिचय :

जीवन-परिचय : अमृता प्रीतम जी का जन्म सन 1919 में पंजाब के गुजरांवाला में हुआ। ये पंजाबी एवं हिंदी भाषा की प्रतिभाशाली साहित्यकार थीं। इन्होंने अपनी प्रतिभा से साहित्य के सभी विधाओं जैसे उपन्यास, कविता, कहानी, संस्मरण, आत्मकथा आदि को समृद्ध किया है। इन्हें ज्ञानपीठ, साहित्य अकादमी एवं पद्म विभूषण आदि पुरस्कारों से सम्मानित किया जा चुका है। इन्होंने अपने साहित्य के माध्यम से मानवीय संवेदनाओं को झझकोरने का प्रयास किया है।
प्रमुख कृतियाँ : “पिंजर’, ‘कोरे कागज’, ‘सागर और सीपियाँ’ (उपन्यास), ‘रसीदी टिकट’ (आत्मकथा), ‘कच्चा आँगन’, ‘एक थी सारा’ (संस्मरण), ‘हीरे दी कनी’, ‘इक शहर दी मौत’, ‘तीसरी औरत’ (कहानी संग्रह) आदि हिंदी में अनूदित।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना

गद्य-परिचय :

साक्षात्कार : दो या दो से अधिक व्यक्तियों के बीच किसी विशेष उद्देश्य से प्रत्यक्ष बातचीत एवं विचारों का आदान-प्रदान साक्षात्कार कहलाता है। इसमें एक व्यक्ति दूसरे व्यक्ति से प्रश्न पूछता है और दूसरा व्यक्ति प्रश्नों के उत्तर देता है।
प्रस्तावना : ‘चार हाथ चाँदना’ इस साक्षात्कार में लेखिका अमृता प्रीतम जी ने पंजाब के प्रसिद्ध चित्रकार श्री शोभा सिंह जी से उनके अनुभव एवं चित्रकला विषय से संबंधित प्रश्न पूछे हैं। श्री शोभा सिंह ने भी उनके प्रश्न के उत्तर विस्तारपूर्वक दिए हैं।

सारांश :

‘चार हाथ चाँदना’ यह साक्षात्कार है। पंजाब की सुप्रसिद्ध साहित्यकार अमृता प्रीतम जी ने चित्रकार श्री शोभा सिंह जी का साक्षात्कार लिया है। अमृता जी ने श्री शोभा सिंह से कलाकार के कर्म की व्याख्या, चित्रकला चुनने का कारण, माँ का महत्त्व, धरती का भयानक यथार्थ व कलाकार की चिंतन शक्ति आदि मुद्दों पर प्रश्न पूछे हैं। श्री शोभा सिंह ने भी सभी प्रश्नों के विस्तार के साथ उत्तर दिए हैं। उनके अनुसार ‘सत्यम्, शिवम्, सुंदरम्’ के क्रम में बदलाव की जरूरत है। वह ‘सुंदरम्, शिवम्, सत्यम्’ इस प्रकार होना चाहिए। शोभा जी को चित्रकारी का शौक बचपन से था। वे जब आठ साल के थे तब उन्होंने खयाली घर की दीवारें सजाने के लिए तस्वीरें बनाई थीं।

वे औरत को माँ के तौर पर महत्त्व देते हैं। वे कहते हैं कि माँ के पास रचनात्मक शक्ति होती है। उसके पास साधना, दैवी शक्ति, कला एवं ज्ञान का भंडार होता है। अत: वह ‘जीनियस’ होता है। उनके अनुसार सच्चे कलाकार का कर्म एक छोटी सी जलती हुई मोमबत्ती की भाँति होता है जो अपने आस-पास की धरती को प्रकाशित करता है। श्री शोभा सिंह धरती के यथार्थ को चित्रों में स्थान नहीं देना चाहते।

वे जिंदगी की खूबसूरती एवं अच्छाई को कागज पर चित्रित करते हैं क्योंकि वह दिनोंदिन लोप होती जा रही है। उनका मानना है कि कलाकार का कर्म एक व्यक्तित्व बनना है, तब कला में उसका प्रभाव आ सकता है। कलाकार की शक्ति उसके चिंतन में होती है और कलाकार दर्शक को एक अच्छी सोच व सूझ दे सकने का कार्य करता है।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 5 चार हाथ चाँदना

शब्दार्थ :

  1. चाँदना – प्रकाश
  2. परछत्ती – घास-फूस का बना छप्पर
  3. रूहानी – आत्मिक
  4. तकनीकी – प्राविधिक
  5. अवस्था – हालत
  6. गहराई – गहनता
  7. दर्शक – देखनेवाला
  8. यर्थाथ – सत्य
  9. अंतहीन – कभी न खत्म होनेवाला

मुहावरे :

भुलावा हो जाना – भ्रम हो जाना।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू

Balbharti Maharashtra State Board Class 10 Hindi Solutions Hindi Lokvani Chapter 6 अति सोहत स्याम जू Notes, Textbook Exercise Important Questions and Answers.

Maharashtra State Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू

Hindi Lokvani 10th Std Digest Chapter 6 अति सोहत स्याम जू Textbook Questions and Answers

सुचना के अनुसर क्रुतिया कीजिए।

1. संजाल पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 1
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 2

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू

2. कृति पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 3
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 4

3. कवि यहाँ और यह बनकर रहना चाहते हैं –

प्रश्न 1.
कवि यहाँ और यह बनकर रहना चाहते हैं –
उत्तर:
(अ) गोकुल में ग्वाला बनकर रहना चाहते हैं।
(आ) गोकुल के बने में पशु बनकर चरना चाहते हैं।
(इ) गोकुल में स्थित गिरिधर पर्वत का पत्थर बनकर रहना चाहते हैं।
(ई) यमुना के किनारे पर स्थित किसी कंदब के पेड़ पर पक्षी बनकर रहना चाहते हैं।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू

प्रश्न 4.
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 5
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 6

प्रश्न 5.
पद्य में इस अर्थ में आए शब्द लिखिए।

  1. शोभा देता है
  2. ग्वाल-बालाएँ
  3. गोरस देने वाली
  4. शुक मुनि

उत्तरः

  1. सोहत
  2. अहीर की छोहरियाँ
  3. धेनु
  4. सुक

6. निम्न शब्दों के भिन्न-भिन्न अर्थ लिखिए:

प्रश्न 1.
निम्न शब्दों के भिन्न-भिन्न अर्थ लिखिए:
image 7

प्रश्न 2.
शब्द समूह के लिए एक शब्द लिखिए:

  1. जिसके कोई खंड नहीं होते – …..
  2. छाछ रखने का छोटा पात्र – ………
  3. जिसका कोई अंत नहीं होता – ……
  4. जो सदैव चलता रहता है – ……….

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7. कृदंत व तद्धित शब्दों के मूल शब्द पहचानकर लिखिए।

प्रश्न 1.
कृदंत व तद्धित शब्दों के मूल शब्द पहचानकर लिखिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 8
उत्तरः
झगड़ालू, मुस्कान, सांस्कृतिक, रसीला,
खिलाड़ी, कहानी, जगमगाहट, सुखी।

कृदंत शब्द तद्धित शब्द
1. जगमगाना 1. रस
2. मुस्कुराना 2. झगड़ा
3. कहना 3. संस्कृति
4. खेलना 4. सुख

8. किसी एक पद का सरल अर्थ लिखिए।

प्रश्न 1.
किसी एक पद का सरल अर्थ लिखिए।
सेस, गनेस ……………
…………… नाच नचावें।
उत्तरः
कवि रसखान कहते हैं कि कृष्ण तो प्रेमरूपी भक्ति के प्यासे हैं। शेषनाग, गणेश, शिव, सूर्य एवं इंद्र जिसके गुणों की हमेशा प्रशंसा करते हैं; जिन्हें अनादि, अनंत, अखंड, अछेद, अभेद और सुवेद बनाते हैं, ब्रह्म ऋषि नारद, शुकदेव व महाकवि व्यास जैसे तपस्वी जिनके नाम की निरंतर रट लगाते रहते हैं और प्रयत्न करने के बावजूद भी उनका पार नहीं पा सकें, ऐसे कृष्ण को अहीर कन्याएँ (ग्वालिने) कटोरे भर छाछ के लिए नाच नचाती हैं।

Hindi Lokvani 10th Std Textbook Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू Additional Important Questions and Answers

(अ) निम्नलिखित पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति (1): आकलन कृति

1. कृति पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
कवि यहाँ और यह बनकर रहना चाहते हैं –
उत्तर:
(अ) गोकुल में ग्वाला बनकर रहना चाहते हैं।
(आ) गोकुल के बने में पशु बनकर चरना चाहते हैं।
(इ) गोकुल में स्थित गिरिधर पर्वत का पत्थर बनकर रहना चाहते हैं।
(ई) यमुना के किनारे पर स्थित किसी कंदब के पेड़ पर पक्षी बनकर रहना चाहते हैं।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू

प्रश्न 2.
समझकर लिखिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 9

कृति अ (2): शब्दसंपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के अर्थ लिखिए।

  1. मानुष
  2. कालिंदी
  3. गिरि
  4. धेनु
  5. पाहन

उत्तर:

  1. मानव
  2. यमुना
  3. पर्वत
  4. गाय
  5. पत्थर

प्रश्न 2.
वचन बदलिए।
1. बसेरा
2. डाल
उत्तर:
1. बसेरे
2. डालें

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प्रश्न 3.
पद्यांश में प्रयुक्त तत्सम शब्द ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तर:

  1. धेनु
  2. गिरि
  3. खग
  4. नित

प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्दों में उचित प्रत्यय लगाइए।
1. गाँव
2. गोकुल
उत्तर:
1. गाँववासी
2. गोकुलवासी

कृति (3): स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘अपने आराध्य की जन्मभूमि से सभी को लगाव होता है।’ अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
आराध्य वह होता है जिसकी हम आराधना करते हैं। आराध्य के बिना जीवन का अर्थ प्राप्त नहीं हो सकता। अतः प्रत्येक व्यक्ति के अपने-अपने आराध्य होते हैं। अपने आराध्य की जन्मभूमि से लगाव होना, स्वाभाविक है। प्रति वर्ष हजारों-लाखों लोग अयोध्या, मथुरा-ब्रज आदि देवस्थान और अपने आराध्य देव के देवस्थलों की यात्रा करते हैं।

अपने आराध्य की जन्मभूमि को भेंट देकर लोग इसमें अपनी धन्यता समझते हैं। वहाँ पर जाकर उन्हें दिव्य आनंद की अनुभूति होती है। साधकों को ऐसा लगता है मानो वे स्वर्ग में ही आ पहुँचे हैं। आराध्य की जन्मभूमि भक्तों के लिए तीर्थस्थल होती है। ऐसे तीर्थस्थलों पर जाकर भक्त मानसिक शांति का अनुभव करते हैं। अत: अपने आराध्य की जन्मभूमि सभी को प्रिय होती है।

(आ) निम्नलिखित पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति आ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 10

प्रश्न 2.
समझकर लिखिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 11

कृति (2): शब्दसंपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के भिन्न अर्थ लिखिए।
1. चोटी
2. निधि
उत्तर:
1. स्त्री के सिर के गूंथे हुए बाल, पर्वत शिखा
2. संपत्ति, आश्रयस्थान

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प्रश्न 2.
निम्नलिखित तद्भव शब्द का तत्सम रूप लिखिए।
काग
उत्तर:
काक

प्रश्न 3.
उचित प्रत्यय लगाकर नया शब्द लिखिए।
1. कला
2. सुंदर
उत्तर:
1. कलापूर्ण
2. सुंदरता

प्रश्न 4.
वचन बदलिए।
1. चोटी
2. कला
उत्तर:
1. चोटियाँ
2. कलाएँ

प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्दों के अर्थ लिखिए।
1.धूरि
2. निधि
उत्तर:
1. धूल
2. संपत्ति

कृति आ (3): स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘बाल कृष्ण का मनोहारी वर्णन करते हुए कवि ने कृष्ण के प्रति अपनी भक्ति समर्पित कर दी है।’ कथन का स्पष्टीकरण कीजिए।
उत्तरः
कवि रसखान कृष्ण के असाधारण भक्त थे। उन्होंने अपनी रचनाओं के माध्यम से अपनी भक्ति को कृष्ण के प्रति समर्पित कर दिया था। भगवान कृष्ण की लीलाओं से सभी परिचित है। उन्होंने गोकुल में जन्म लिया था और वे जन्म से ही अपने भक्तों का उद्धार करते रहे। अत: उनकी बालसुलभ क्रियाएँ एवं उनकी बचपन की लीलाओं का मनोहारी वर्णन कर सभी पाठकों को कृष्ण भक्ति में एकाकार करना कृष्ण प्रेमी कवियों का प्रमुख लक्ष्य रहा और साथ ही अपने इष्ट का वर्णन करते हुए उसके साथ एकाकार होना यह भी प्रमुख उद्देश्य रहा। कवि रसखान इससे अपवाद नहीं हैं। उन्होंने बड़ी ही तन्मयता से कृष्ण के बालरूप का मनोहारी वर्णन करके अपनी भक्ति को कृष्ण के चरणों में समर्पित कर दिया है।

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(इ) पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति इ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 12

प्रश्न 2.
निम्नलिखित शब्द पढ़कर ऐसे दो प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्न शब्द हों –
1. ग्वाले
2. कृष्ण
उत्तरः
1. कौन पुकार कर हँस रहे थे?
2. कवि की आँखों में किसकी छबि बस गई है?

3. कारण लिखिए।

प्रश्न 1.
कवि रसखान की आँखें बौरा हो गई हैं।
उत्तरः
कृष्ण के आकर्षक एवं मनोहारी रूप को देखकर कवि रसखान की आँखें बौरा हो गई हैं।

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कृति (2): शब्दसंपदा

प्रश्न 1.
वचन बदलिए।
1. वनमाला
2. मूर्ति
उत्तरः
1. वनमालाएँ
2. मूर्तियाँ

प्रश्न 2.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।

  1. पाग
  2. भाल
  3. हिय
  4. नैन

उत्तरः

  1. पगड़ी
  2. मस्तक
  3. हृदय
  4. आँखें

कृति (3): स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
बाल कृष्ण की छबि देखकर अपने मन में आए विचारों को अभिव्यक्त कीजिए।
उत्तरः
बाल कृष्ण भगवान कृष्ण का बचपन का रूप था, जो मोहक एवं सभी को अपनी ओर आकर्षित करता था। मैंने कई बार बाल कृष्ण की छबि देखी है। इतना ही नहीं, मैंने दूरदर्शन पर कई धारावाहिक भी देखे हैं; जिसमें कृष्ण के बालरूप को बड़े ही मनोहारी एवं आकर्षक रूप में दर्शाया गया है। बाल कृष्ण के सुंदर व मुग्ध रूप को देखकर मैं आनंदविभोर हो गया हूँ। कोमल, श्यामल रंग, हाथ में बाँसुरी लिए हुए वे बहुत आकर्षक लगते है। उनकी छबि दिव्य और बड़ी ही मोहक है।

(ई) पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू 13

कृति (2): शब्दसंपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के अर्थ लिखिए।
1. अहीर
2. दिनेश
उत्तरः
1. ग्वाला
2. सूर्य

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प्रश्न 2.
शब्द समूह के लिए एक शब्द लिखिए।
1. जिसके कोई खंड नहीं होते –
2. जिसका कोई अंत नहीं होता –
3.  छाछ रखने का छोटा पात्र –
4.  जो सदैव चलता रहता है –
उत्तरः
1. अखंड
2. अनंत
3. छछिया
4. निरंतर

प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्द में उचित उपसर्ग व प्रत्यय लगाइए।
खंड:
उत्तरः
उपसर्गयुक्त शब्द : अखंड
प्रत्यययुक्त शब्द : अखंडता

प्रश्न 4.
पद्यांश में से उपसर्गयुक्त शब्द ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तरः

  1. अनंत
  2. अभेद
  3. अखंड
  4. अनादि

प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्द के भिन्न अर्थ लिखिए।
व्यास
उत्तरः
महर्षि व्यास, कथावाचक, ज्यामिति

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू

कृति (3): स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘ईश्वर सच्चे और निष्कपट भक्ति का प्यासा होता है।’ कथन विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
ईश्वर सच्चे प्रेम का भूखा होता है। वह सच्चे मन से की गई भक्ति पर प्रसन्न होता है और अपने भक्तों को स्वयं के दर्शन कराता है। उसे पाने के लिए हमें दिन-रात उसके नाम का जप करने की जरूरत नहीं होती। उसका दिन-रात भजन करना भी आवश्यक नहीं होता। उसे तो सच्चा भक्त कभी भी सच्चे हृदय से पुकार सकता है।

जब अंतर्मन से निकलने वाली पुकार में सच्चे मन की भक्ति की एकाग्रता हो, तो वह स्वयं अपने भक्तों की पुकार पर सहायता के लिए आ जाता है। गोकुल में रहने वाली ग्वालिने कृष्ण से सच्चे हृदय से प्रेम करती थीं। अत: वे उनके साथ नाचते-गाते थे और उनसे माखन पाने के लिए हठ करते थे। संत कबीर ने भी अपनी रचनाओं के द्वारा यही समझाया है कि ईश्वर को पाने के लिए हमें धार्मिक आडंबरों की जरूरत नहीं होती। उसे तो सच्चे हृदय से प्राप्त किया जा सकता है।

अति सोहत स्याम जू Summary in Hindi

कवि-परिचय:

जीवन-परिचय: रसखान जी का जन्म सन १५९० में उत्तर प्रदेश के पिहानी, मथुरा में हुआ। इनका मूलनाम सैयद इब्राहिम था। ये भगवान श्रीकृष्ण के अनन्यसाधारण भक्त थे। हिंदी के कृष्ण भक्त तथा रीतिकालीन रीतिमुक्त कवियों में इनका प्रमुख स्थान है। इनकी अधिकांश रचनाएँ भगवान कृष्ण के लिए समर्पित हैं। इनकी रचनाओं में भक्ति एवं श्रृंगार रस की प्रधानता है। इन्होंने श्रीकृष्ण के सगुण रूप को बड़े ही मनोहारी ढंग से अभिव्यक्त किया है।

प्रमुख कृतियाँ: ‘प्रेमवाटिका’ (दोहे), ‘सुजान रसखान’ (कवित्त, सवैया) आदि।

पद्य-परिचय:

सवैया: सवैया मात्रिक छंद का एक प्रकार है। इसमें चार चरण होते हैं । प्रत्येक चरण में २२ से २६ वर्ण होते हैं। रीतिकाल में ।
विभिन्न प्रकार के सवैया प्रचलित रहे हैं।

प्रस्तावना: ‘अति सोहत स्याम जू’ इस रचना में कवि रसखान ने श्रीकृष्ण की जन्मभूमि के प्रति लगाव, बालकृष्ण का मनोहारी वर्णन ।
एवं उसे पाने के लिए हृदय में सच्ची भक्ति की आवश्यकता जैसे बिंदुओं का विस्तार से सुंदर वर्णन किया है।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू

सारांश:

कवि रसखान भगवान श्रीकृष्ण के अनन्यसाधारण भक्त थे। उन्हें श्रीकृष्ण की जन्मभूमि के प्रति बेहद लगाव है। वे कृष्ण-भक्ति में एकाकार हो गए हैं। वे श्रीकृष्ण से अलग होना नहीं चाहते हैं। वे सदैव उनका सानिध्य चाहते हैं। इसलिए वे अगले जन्म में किसी भी योनी में जन्म लें फिर भी वे गोकुल से अलग होना नहीं चाहते। वे गोकुल में उपस्थित किसी भी प्राकृतिक अंश में बस जाना चाहते हैं। कवि रसखान ने बालकृष्ण का अत्यंत मनोहारी वर्णन किया है।

कृष्ण के आकर्षक एवं मनोहारी रूप को देखकर कवि रसखान की आँखे उन्मुक्त हो गई हैं। श्रीकृष्ण सच्ची भक्ति के द्वारा तुरंत मिल सकते हैं। उन्हें पाने के लिए भक्त को सच्चे हृदय से उन्हें पुकारने की आवश्यकता होती है। श्रीकृष्ण सच्ची भक्ति के प्यासे हैं। उनके दर्शन के लिए निरंतर जाप की आवश्यकता नहीं होती। श्रीकृष्ण भी सच्चे भक्त की पुकार सुनकर उसकी सहायता के लिए तत्पर हो जाते हैं। इस प्रकार प्रस्तुत रचना के माध्यम से कवि रसखान ने अपनी भक्ति श्रीकृष्ण के चरणों में समर्पित कर दी है।

भावार्थ:

1. मानुष …………………….. कूल कंदब की डारन।।

कवि रसखान कृष्णभक्त थे। उन्हें श्रीकृष्ण के जन्मभूमि के प्रति बेहद लगाव है। वे प्रत्येक स्थिति में श्रीकृष्ण का सानिध्य चाहते हैं। वे । भगवान कृष्ण की आराधना करते हुए कहते हैं कि यदि अगले जन्म में मनुष्य बनूँ, तो गोकुल के ग्वालों और गायों के बीच रहना पसंद करूँगा। ,
यदि मैं पशु की योनि में जन्म लेता हूँ, तो हमेशा नंद की गायों के साथ चरना चाहूँगा। यदि मैं पत्थर बनूँ, तो उसी पर्वत का पत्थर बनूँ जिसे । इंद्र के कारण भगवान कृष्ण ने अपनी उँगली पर धारण कर लिया था। यदि पक्षी बनूँ, तो यमुना के किनारे पर स्थित किसी कंदब के पेड़ की । डाल पर अपना बसेरा निर्माण करूँ।

2. धूरि भरे अति ……………….. माखन रोटी।

कवि रसखान ने प्रस्तुत पंक्तियों के माध्यम से बालकृष्ण का अत्यंत मनोहारी वर्णन किया है। बालकृष्ण धूल से सने हुए अत्यंत मोहक लग रहे हैं। उनके सिर पर चोटी शोभायमान हो रही है। उन्होंने कमर में पीली धोती पहनी हुई है तथा पैरों में पैजनियाँ बज रही है। वे पूरे आँगन में खाते-खेलते घूम रहे हैं। रसखान कहते हैं कि उनकी छवि देखकर कामदेव अपनी करोड़ों कलाओं की निधि निछावर करते हैं। सचमुच । वह कौआ बहुत ही भाग्यशाली है जो बालकृष्ण के हाथ से माखन रोटी को छीन कर ले उड़ा है।

3. सोहत हे चॅदवा ………………………. माँझ बसी है।

कवि रसखान कृष्ण के बालरूप का वर्णन करते हुए कहते हैं कि उनके सिर पर मोर मुकुट शोभायमान है। उन्होंने अपने सिर पर बड़ी । सुंदर पगड़ी बाँध रखी है। उनके मस्तक पर गायों के पैरों से उड़नेवाली धूल वैसे ही शोभा दे रही है जैसे हृदय पर वनमाला शोभित हो रही है। कृष्ण के आकर्षक एवं मनोहारी रूप को देखकर कवि रसखान की आँखे मारे खुशी के पागल हो गई हैं। उनकी बंद आँखों को देखकर ग्वाले उन्हें पुकारकर हँस रहे हैं, मानो वे उन्हें अपनी आँखा से पलकों के घूघट खोलने के लिए कह रहे हैं। किंतु कवि रसखान के सामने समस्या यह है कि वे अपनी पलकें नहीं खोल सकते क्योंकि कृष्ण की छवि उनकी आँखों में बस गई है।

4. सेस, गनेस ………………… नाच नचावें।

कवि रसखान कहते हैं कि कृष्ण तो प्रेमरूपी भक्ति के प्यासे हैं। शेषनाग, गणेश, शिव, सूर्य एवं इंद्र जिनके गुणों की हमेशा प्रशंसा करते हैं; जिन्हें अनादि, अनंत, अखंड अछेद, अभेद और सुवेद बताते हैं। ब्रह्म ऋषि नारद, शुकदेव व महाकवि व्यास जैसे तपस्वी जिनके नाम को निरंतर रटते रहते हैं और प्रयत्न करने के बावजूद भी उनका पार नहीं पा सके, ऐसे कृष्ण को अहीर कन्याएँ (ग्वालिने) कटोरे भर । छाछ के लिए नाच नचाती हैं।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 अति सोहत स्याम जू

शब्दार्थ:

  1. मानुष – मानव
  2. धूरि – धूल
  3. हिय – हृदय
  4. गिरि – पर्वत
  5. पाग – पगड़ी
  6. अहीर – ग्वाला, आभीर
  7. धेनु – गाय
  8. भाल – मस्तक
  9. पाहन – पत्थर
  10. दिनेश – सूर्य
  11. छाछिया – छाछ रखने का छोटा पात्र
  12. वारत – निछावर करना
  13. लसी – सुशोभित होना
  14. बिलोकत – देखना
  15. पचिहारे – हार जाना
  16. जू – जी
  17. पीरी – पीले रंग की
  18. कछोटी – कमर में लपेटी जानेवाली धोती
  19. दृग – आँख
  20. कूल – तट, किनारा
  21. काग – कौआ

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें

Balbharti Maharashtra State Board Class 10 Hindi Solutions Hindi Lokvani Chapter 4 दो गजलें Notes, Textbook Exercise Important Questions and Answers.

Maharashtra State Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें

Hindi Lokvani 10th Std Digest Chapter 4 दो गजलें Textbook Questions and Answers

स्वाध्याय :

सूचना के अनुसार कृतियाँ कीजिए :

1. कृति पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 1

उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 2

2. संजाल पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 3
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 4

3. कृति में दिए गज़ल में प्रयुक्त शब्दों की उचित जोड़ियाँ क्रमशः अ और आ तालिका में लिखिए।

प्रश्न 1.
कृति में दिए गज़ल में प्रयुक्त शब्दों की उचित जोड़ियाँ क्रमशः अ और आ तालिका में लिखिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 5
उत्तर:

छाँव उम्मीद
अनुभव ज्ञान
पर उड़ान
जान जिंदगानी

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4. उचित शब्द का चयन करते हुए वाक्य पूर्ण कीजिए।
(मिट्टी, कैद, बंदी, रिहा, छूटना)

प्रश्न 1.
उचित शब्द का चयन करते हुए वाक्य पूर्ण कीजिए।
(मिट्टी, कैद, बंदी, रिहा, छूटना)
i. अजब ये जिंदगी की ……….. है।
ii. रिहाई माँगता है और ……….. होने से डरता है।
उत्तर:
i. कैद
ii. रिहा

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5. सूचना के अनुसार शब्द में परिवर्तन कीजिए।

प्रश्न 1.
सूचना के अनुसार शब्द में परिवर्तन कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 6
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 7

6. ‘जीवन में डर की जगह सावधानी एवं साहस चाहिए।’ विषय पर अपने विचार व्यक्त कीजिए। 

प्रश्न 1.
‘जीवन में डर की जगह सावधानी एवं साहस चाहिए।’ विषय पर अपने विचार व्यक्त कीजिए।
उत्तर:
डर वह भावना है; जो इंसान को कमजोर बना देती है और साहस वह भावना होती है; जो इंसान के हौसलों में उड़ान पैदा करती है। व्यक्ति को अपने जीवन में डर का त्याग कर साहस और सावधानी को अपनाना चाहिए। उसे प्रत्येक काम साहस के साथ सावधानीपूर्वक करना चाहिए। सावधानी बरतने से व्यक्ति के सारे काम सुचारू रूप से पूर्ण होते हैं। साहस असंभव कार्य को भी संभव बनाने की शक्ति रखता है। जो व्यक्ति अपने जीवन में साहस को नहीं अपनाता है: वह व्यक्ति कभी भी सफल नहीं होता। जीवन में कई सफल व्यक्ति हैं, जिन्होंने डर की जगह सावधानी एवं साहस को अपनाकर संसार में अद्भुत कार्य करके सभी को अपने प्रभावी व्यक्तित्व से प्रेरित किया।

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भाषा बिंदु :

प्रश्न 1.
निम्नलिखित वाक्यों के रचना के अनुसार भेद लिखिए।

  1. वह आदमी भी उस गाँव में रहने के लिए तैयार हो गया। [ ]
  2. स्टेशन मास्टर ने सिग्नल नहीं दिया और गाड़ी आउटर पर खड़ी रही। [ ]
  3. मजे की बात यह है कि एक समाचारपत्र के कितने उपयोग हो सकते हैं। [ ]
  4. वह पशु-पक्षियों के बीच बातें करता दिखाई देता। [ ]
  5. आप उस गाँव में जाएंगे तो आपको उस खोए हुए आदमी की वहाँ स्थापित मूर्ति दिख जाएगी। [ ]
  6. नींद आती रहती है, जाती रहती है और रह-रहकर टूटने के बावजूद उसमें लय बनी होती है। [ ]

उत्तर:

  1. सरल वाक्य
  2. संयुक्त वाक्य
  3. मिश्र वाक्य
  4. सरल वाक्य
  5. मित्र वाक्य
  6. संयुक्त वाक्य

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें

प्रश्न 2.
पाठों में आए रचना के अनुसार वाक्यों के दो-दो उदाहरण लिखिए।
उत्तरः
1. सरल वाक्य :
i. इससे मेरा भी मन बड़ा दुखी होता है।
ii. मैंने सबकी बात सुनी है।

2. मिश्र वाक्य :
i. जैसी करनी वैसी भरनी।
ii. हमें चाहिए कि हम हवा और पानी को अपना दोस्त बनाकर उन्हें नुकसान न पहुँचाएँ।

3. संयुक्त वाक्य :
i. सोना तो मिट्टी है और मिट्टी का मोह पालकर आज तक किसी ने शांति नहीं पाई।
ii. लोग उसके दर्शन को आने लगे और धीरे-धीरे चारोंतरफ साधु का यश फैल गया।

प्रश्न 3.
निम्नलिखित वाक्यों के अर्थ के अनुसार भेद लिखिए।

  1. सुबह उठता हूँ तो थोड़ी ताजगी महसूस होती है। [ ]
  2. अरे, वहीं अटके रहोगे, मुझसे बात नहीं करोगे? [ ]
  3. कई दिनों तक मैं तुम्हारे चौके में नहीं गई। [ ]
  4. ठीक है, मुकदमें की कार्यवाही शुरू करें। [ ]
  5. अरे! हवा रानी, नाराज मत हो। [ ]
  6. इस बात के लिए ये गाँववाले ही जिम्मेदार हैं। [ ]
  7. अधिक वर्षा के लिए कौन जिम्मेदार है? [ ]
  8. अच्छा! निकलती हूँ बस पाँच मिनट चाहिए मुझे तैयार होने के लिए। [ ]
  9. हौं राजीव, आओ बैठो।
  10. यह एक भोले इंसान का विश्वास नहीं था।

उत्तर:

  1. विधानार्थक वाक्य
  2. प्रश्नार्थक वाक्य
  3. निषेधार्थक वाक्य
  4. आज्ञार्थक वाक्य
  5. आज्ञार्थक वाक्य
  6. विधानार्थक वाक्य
  7. प्रश्नार्थक वाक्य
  8. विस्मयादिबोधक वाक्य
  9. आज्ञार्थक वाक्य
  10. निषेधार्थक वाक्य

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प्रश्न 4.
पाठों में आए अर्थ के अनुसार वाक्यों के दो-दो उदाहरण लिखिए।
उत्तरः
1. विधानार्थक वाक्य :
i. मैं तेजी से वहाँ जाती हूँ।
ii. महाराज यह आरोप झूठा है।

2. आज्ञार्थक वाक्य :
i. पहले पानी को बुलाया जाए।
ii. सेठ मेरा इनाम दें।

3. निषेधार्थक वाक्य :
i. कहीं भी कोई नहीं था।
ii. उसमें भी मेरा कुछ नहीं है।

4. प्रश्नार्थक वाक्य :
i. तू कौन है?
ii. उसकी माया में मुझे क्यों फँसाता है?

5. विस्मयादिबोधक वाक्य :
i. काश, अपने गाँव-शहर में हमें भी ऐसा ‘खोया हुआ आदमी’ मिल जाता!
ii. हाँ महाराज! आज सब शिकायतें हवा और पानी के बारे में हैं।

6. संदेहसूचक वाक्य :
i. शायद मैं खो गया हूँ।
ii. संभव है कि पानी दूषित होने से बच जाए।

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उपयोजित लेखन :

प्रश्न 1.
अपने विद्यालय में आयोजित की जानेवाली क्रीड़ा प्रतियोगिताओं का आयोजक के नाते विज्ञापन तैयार कीजिए।
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उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 9

Hindi Lokvani 10th Std Textbook Solutions Chapter 4 दो गजलें Additional Important Questions and Answers

(अ) पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति अ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
समझकर लिखिए।
उत्तरः
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प्रश्न 2.
पद्यांश में प्रयुक्त प्राकृतिक घटकों के नाम
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 11

कृति अ (2) : शब्दसंपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के अर्थ लिखिए।

  1. आसमान
  2. पर
  3. इतमीनान
  4. सोच

उत्तरः

  1. अंबर
  2. पंख
  3. तसल्ली
  4. विचार

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प्रश्न 2.
पद्यांश में प्रयुक्त ऐसे दो शब्द लिखिए जिनके वचन परिवर्तित नहीं होते हैं।
उत्तर:
i. पेड़
ii. पर

प्रश्न 3.
निम्नलिखित अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. हवा में उड़ने की क्रिया
उत्तरः
i. उड़ान

प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्द के अनेक अर्थ लिखिए।
i. फल
ii. पर
उत्तर:
i. फल : खाने का फल, परिणाम
ii. पर : परंतु, पंख

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कृति अ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘अनुभव सबसे बड़ा शिक्षक होता है।’ अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
जीवन-रूपी यात्रा में सीखने के लिए कोई किताब साथ नहीं होती। व्यक्ति अपने अनुभवों से ही सीखता है। व्यक्ति जीवन में कार्य करते समय कई गलतियाँ करता रहता है। उन गलतियों से उसका अनुभव समृद्ध हो जाता है। वह फिर से उन गलतियों को नहीं दोहराता। वह अपनी गलतियों से बहत सारी बातें सीखता है और स्वयं के अनुभव को समृद्ध बनाता है। अनुभव सोने के समान होता है।

जिस प्रकार सोना तप-तप कर तैयार हो जाता है उसी प्रकार अनुभव दिन-रात की मेहनत एवं लगन से प्राप्त किया जाता है। व्यक्ति के जीवन में आने वाले अच्छे-बुरे अनुभव उसके मार्गदर्शक बनते हैं। अनुभव से मिलने वाला ज्ञान व्यक्ति को सफलता के शिखर पर पहुँचा देता है। अनुभवहीन ज्ञान जीवन की सच्चाई के सामने टिक नहीं पाते। अत: अनुभव ही सबसे बड़ा शिक्षक होता है।

(आ) पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति आ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 12

प्रश्न 2.
समझकर लिखिए।
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 4 दो गजलें 13

प्रश्न 3.
निम्नलिखित गलत विधान सही करके लिखिए।
i. प्रकृति ने हमें जिंदगी बख्शी है।
उत्तरः
ईश्वर ने हमें जिंदगी बख्शी है।

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ii. ईश्वर सायबान निर्माण करेगा।
उत्तर:
इंसान सायबान निर्माण करेगा।

कृति आ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
कविता में इस अर्थ में आए शब्द लिखिए।

  1. संसार
  2. स्वयं
  3. आशा
  4. ईश्वर

उत्तर:

  1. दुनिया
  2. खुद
  3. उम्मीद
  4. खुदा

प्रश्न 2.
निम्नलिखित तत्सम शब्द का तद्भव रूप लिखिए।
i. छाया
उत्तर:
i. छाँव

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प्रश्न 3.
निम्नलिखित अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. घर के आगे छाया हेतु बनाया गया छप्पर
उत्तर:
i. सायबान

कृति आ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘व्यक्ति को जीवन में आत्मनिर्भर होना चाहिए। उसे दूसरों से मदद की अपेक्षा नहीं रखनी चाहिए।’ अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
आत्मनिर्भर यानी स्वावलंबी। व्यक्ति को अपने जीवन में आत्मनिर्भर होना चाहिए। उसे दूसरों पर आश्रित नहीं होना चाहिए। यदि व्यक्ति अपने जीवन में दूसरों पर आश्रित रहता है, तो वह तरक्की नहीं कर सकता है। आत्मनिर्भर बनने के लिए व्यक्ति में दृढ़ इच्छा शक्ति का होना जरूरी होता है। आत्मनिर्भर व्यक्ति सदैव कोशिश करते रहता है। इसलिए वह सफलता की मंजिल हासिल करने में सफल हो जाता है। वह भाग्य के भरोसे नहीं बैठता है। आत्मनिर्भर बनकर वह अपनी क्षमताओं का विकास कर लेता है। अब्राहम लिंकन व नेपोलियन जैसे महापुरुषों का जन्म निर्धन परिवार में हुआ था। उन्होंने जीवन में आत्मनिर्भर बनकर सफलता की सीढ़ी हासिल की। इसलिए प्रत्येक व्यक्ति को अपने जीवन में आत्मनिर्भर होना चाहिए।

(इ) पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति इ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्द पढ़कर ऐसे दो प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्न शब्द हों –
i. अजब
ii. रिहाई
उत्तर:
i. जिंदगी की कैद कैसी है?
ii. दुनिया का हर इंसान क्या माँगता है?

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प्रश्न 2.
पद्यांश के आधार पर समझकर लिखिए।
i. इंसान के बस और काबू में ये नहीं है –
ii. हर शख्स इसका बना खिलौना है –
उत्तर:
i. इंसान के बस में जिंदगी नहीं है और काबू में मौत नहीं है।
ii. मिट्टी का

कृति इ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्न शब्दों में उचित उपसर्ग का प्रयोग कीजिए।

  1. मौत
  2. पल
  3. काबू

उत्तर:

  1. बेमौत
  2. हरपल
  3. बेकाबू

प्रश्न 2.
निम्नलिखित तत्सम शब्द का तद्भव रूप लिखिए।
i. मृदा
उत्तर:
i. मिट्टी

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प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची लिखिए।

  1. फना
  2. मौत
  3. रिहाई
  4. काबू

उत्तर:

  1. नष्ट
  2. मृत्यु
  3. मुक्ति
  4. नियंत्रण

प्रश्न 4.
विलोम शब्द लिखिए।
i. बड़ा × ……….
i. जिंदगी × ………….
उत्तर:
i. छोटा
ii. मौत

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कृति आ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
बचपन की दुनिया और बड़ों की दुनिया में क्या अंतर है? अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
बचपन की दुनिया में मासूमियत होती है और बड़ों की दुनिया मुश्किलों और परेशानियों से भरी होती है। बचपन जीवन की एक ऐसी अवस्था होती है; जहाँ पर जीवन का मस्ती से आनंद लिया जाता है और बड़ों की दुनिया जिम्मेदारियों से भरी होती है। कई लोगों को इस कारण जिंदगी कैद के समान लगती है।

लेकिन बच्चों के लिए जिंदगी खुशियाँ एवं प्यार लेकर आती है। मुस्कुराना, शरारत करना, रूठना और फिर सब भुलाकर एक हो जाना; ये बच्चों की पहचान होती है। वहीं बड़ों के जीवन में ईर्ष्या, द्वेष एवं कलह होता है। बच्चे दुनियादारी के झमेलों से दूर होते हैं, तो बड़ों की दुनिया कई प्रकार के झमेले में उलझती रहती है।

दो गजलें Summary in Hindi

कवि-परिचय :

जीवन-परिचय : राजेश रेड्डी जी का जन्म सन १९५२ में महाराष्ट्र के नागपुर में हुआ था। राजेश जी हिंदी, अंग्रेजी व उर्दू भाषा के ज्ञाता हैं। जगबीती को आपबीती में परिवर्तित कर गज़ल लिखने में रेड्डी जी कुशल माने जाते हैं। ये विविध भारती, मुंबई से भी जुड़े हैं। इन्होंने अपनी प्रतिभा से गज़ल एवं नाटक विधा को समृद्ध किया है।
प्रमुख कृतियाँ : ‘उड़ान’, ‘आसमान से आगे’, ‘वजूद’ (गज़ल संग्रह) आदि।

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पद्य-परिचय :

गज़ल : ‘गज़ल’ यह अरबी साहित्य की प्रसिद्ध काव्य-विधा है। गज़ल एक ही बहर और वज़न के अनुसार लिखे गए शेरों का समूह है। इसके पहले शेर को मतला कहते हैं। गज़ल के अंतिम शेर को मक़्ता कहते हैं।
प्रस्तावना : ‘दो गज़लें’ इस गज़ल में दो गज़लें सम्मिलित की गई हैं। पहले गज़ल से हमें यह संदेश मिलता है कि व्यक्ति के पास कोई भी कार्य करने से पहले जोश, उत्साह, ज्ञान, आत्मविश्वास आदि का होना जरूरी होता है। दूसरी गज़ल में कवि ने बताया है कि बचपन मासूमियत से भरा होता है। बड़े होने पर परेशानियाँ आती हैं, जिस कारण इंसान अनेक प्रकार की परेशानियों से घिर जाता है।

सारांश :

‘दो गज़लें’ यह एक गज़ल है। इस गज़ल के द्वारा कवि कहता है कि व्यक्ति को कोई भी कार्य करने से पहले अपने आप में जोश, उत्साह, आत्मविश्वास आदि का निर्माण करना चाहिए। व्यक्ति को कोई भी कार्य करने से पहले अपनी आँखों से जिंदगी को पढ़ लेना चाहिए। खुद के अनुभवों से प्राप्त ज्ञान के बिना कार्य की पूर्ति नहीं होती। जीवन में संयम व धैर्य का बहुत बड़ा महत्त्व होता है। कवि मानवतावादी है। अत: वह मानव की भलाई की कामना रखता है।

व्यक्ति को दूसरों से अपेक्षा रखने के बजाय स्वयं आत्मनिर्भर होना चाहिए। प्रत्येक व्यक्ति को ऐसी वाणी में सबके साथ वार्तालाप करना चाहिए कि उसके विचार दूसरों के हृदय में सदा के लिए बस जाए। कवि इस गज़ल के माध्यम से कहता है कि आज का व्यक्ति दुख, तकलीफों और परेशानियों से चारों ओर से घिर चुका है। दुनिया-समाज में पड़कर व्यक्ति की बचपन जैसी मासूमियत खोने लगी है। वह नश्वर है। फिर भी उसकी महत्वाकांक्षा पूरी होती नहीं दिखती। वह अपनी ही जिंदगी में कैद हो गया है। वह मुक्ति भी पाना चाहता है. और इच्छाओं को भी नष्ट करना नहीं चाहता।

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भावार्थ :

पहले इक आसमान …………………… उड़ान पैदा कर।
व्यक्ति को कोई भी कार्य करने से पहले अपने आप में जोश, उत्साह व आत्मविश्वास उत्पन्न करना चाहिए। इसलिए कवि कहते हैं कि व्यक्ति को अपने परों में यानी मन में हौसला भरने से पहले आसमान यानी सकारात्मक परिस्थिति उत्पन्न कर लेनी चाहिए। सकारात्मक परिस्थिति व आत्मविश्वास के बिना व्यक्ति सफलता की ऊंची मंजिल हासिल नहीं कर सकता।

अपनी आँखों से ………………. पैदा कर।
व्यक्ति को कोई भी कार्य करने से पहले अपनी आँखों से जिंदगी को पढ़ लेना चाहिए। स्वयं के अनुभवों से प्राप्त ज्ञान के बिना कार्य की पूर्ति नहीं होती। व्यक्ति का अनुभव समृद्ध होना बेहद जरूरी है। अनुभव समृद्ध व्यक्ति के पास ज्ञान का भंडार होता है। अनुभवों के द्वारा ही व्यक्ति को ज्ञान की प्राप्ति होती है।

सब के पेड़ ………………… पैदा कर।
जीवन में संयम व धैर्य का बहुत ही महत्त्व होता है। संयम व धैर्य के बिना मनुष्य को मनचाहे फल की प्राप्ति नहीं हो सकती। कहा भी । गया है कि सब्र का फल मीठा होता है। धैर्य और संयम से आज नहीं तो कल सब का फल जरूर मिलता है। इसलिए व्यक्ति की सोच में भी इतमीनान यानी तसल्ली होनी चाहिए। उसे कोई भी कार्य करने से पहले तसल्ली से सोचना चाहिए।

ऐ खुदा! ………………………… पैदा कर।
कवि इंसान का भला चाहता है। वह नहीं चाहता कि इंसान दुख-दर्द में अपना जीवन व्यतीत करे। इंसान के जीवन में खुशहाली आए । इसलिए कवि ईश्वर से ऐसे सुंदर संसार की कामना करता है; जहाँ पर व्यक्ति सुख-चैन के साथ अपना जीवन जी सके।

तूने बख्शी है …………………….. पैदा कर।
कवि मानवतावादी है। अत: वह मानव की भलाई की कामना रखता है। वह ईश्वर से कहता है, “हे ईश्वर, तूने सभी को जिंदगी का । अनमोल उपहार दिया है। अत: तू ही इस जिंदगी में जान भरने का कार्य कर । तू ही लोगों में जिंदादिली निर्माण कर; ताकि लोग इस जिंदगी के सफर का आनंद ले सकें।

छोड़ दुनिया से ………………….. पैदा कर।
व्यक्ति को जीवन में किसी से भी, कोई भी उम्मीद नहीं रखनी चाहिए। व्यक्ति को दूसरों से उम्मीद रखने के बजाय स्वयं आत्मनिर्भर होना चाहिए। व्यक्ति को दूसरों से सहायता की अपेक्षा नहीं रखनी चाहिए; बल्कि स्वयं ही प्रकाशित होकर स्वयं की जिंदगी को उज्ज्वल बनाना चाहिए। दूसरों से छाँव की अपेक्षा रखने के बजाय स्वयं ही सायबान बनकर खुद को और दूसरों के जीवन में भी छाँव उत्पन्न करनी चाहिए।

दिल से निकले ………………… पैदा कर।
व्यक्ति की वाणी सरल, सहज और मीठी होनी चाहिए। उसके बोलने वाले शब्द दिल से निकले होने चाहिए। यदि वह इस प्रकार वाणी : का प्रयोग करेगा, तो निश्चित ही वह दूसरों की निगाहों में और दिलों में आसानी से जगह प्राप्त कर लेगा।

यहाँ हर शख्स …………………. डरता है।
कवि कहते हैं कि हर इंसान अपनी मृत्यु से सदा भयभीत रहता है। वह अपने ऊपर होनेवाले हादसों और आपदाओं से डरता रहता है। । 5. आखिर इंसान मिट्टी से बना हुआ एक खिलौना ही तो है। उसे एक दिन टूटना ही है। फिर भी वह न जाने क्यों नष्ट होने से डरता रहता है।

मेरे दिल के किसी ……………………… डरता है।
बचपन की मासूमियत सभी को प्यारी और अच्छी लगती है। उसे कोई भी भूलना नहीं चाहता। हर व्यक्ति के दिल में कहीं न कहीं बचपना छिपा रहता है। लेकिन बड़ों की दुनिया जो दुख और तकलीफों से भरी है, उसे देखकर वह अपने बचपन को कहीं न कहीं बचाए रखना चाहता । है। वह बड़ों की दुनिया के साथ बड़ा होना नहीं चाहता क्योंकि बड़ों की दुनिया में मासूमियत नहीं होती।

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शब्दार्थ :

  1. आसमान – अंबर
  2. पर – पंख
  3. सोच – विचार
  4. इतमीनान – तसल्ली , ढाढ़स
  5. जहान – संसार, जगत
  6. खुदा – ईश्वर
  7. उम्मीद – आशा, भरोसा
  8. खुद – स्वयं
  9. हादिसा – आपदा
  10. फना – नष्ट
  11. मौत – मृत्यु
  12. रिहाई – मुक्ति
  13. काबू – नियंत्रण, वश
  14. सायबान – घर के आगे छाया हेतु बनाया हुआ छप्पर
  15. जान – प्राण, जीवन
  16. सब्र – सबर, संयम, धैर्य

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा

Balbharti Maharashtra State Board Class 10 Hindi Solutions Hindi Lokvani Chapter 3 मुकदमा Notes, Textbook Exercise Important Questions and Answers.

Maharashtra State Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा

Hindi Lokvani 10th Std Digest Chapter 3 मुकदमा Textbook Questions and Answers

स्वाध्याय :

सूचना के अनुसार कृतियाँ कीजिए :

1. कृति पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 1
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 2

2. उचित विकल्प चुनकर विधान पूर्ण कीजिए। 

प्रश्न 1.
हवा बदबूदार होने का कारण है कि …..
(अ) हवा बहती नहीं है।
(आ) हवा में कारखानों की गंदगी और गैस होती हैं।
(इ) हवा दूर-दूर से आती है।
उत्तर:
(आ) हवा में कारखानों की गंदगी और गैस होती हैं।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा

प्रश्न 2.
हवा पर आरोप लगाया गया था कि………..
(अ) हवा में शुद्धता नहीं होती।
(आ) हवा में नमी नहीं होती।
(इ) हवा में खुशबू नहीं होती।
उत्तर:
(इ) हवा में खुशबू नहीं होती।

3. कारण लिखिए :

प्रश्न 1.
पानी अशुद्ध होने के कारण –
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 3
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 4

4. ऐसे प्रश्न तैयार करें कि जिनके उत्तर निम्नलिखित शब्द हों –
1. जोहड़
2. साफ-सुथरे

प्रश्न 1.
ऐसे प्रश्न तैयार करें कि जिनके उत्तर निम्नलिखित शब्द हों –
1. जोहड़
2. साफ-सुथरे
उत्तर:
1. पशुओं को तैरने के लिए कहाँ छोड़ दिया जाता है?
2. घर कैसे रखने चाहिए?

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा

5. वृत्त में दिए शब्दों के लिंग तथा वचन के अनुसार वर्गीकरण कीजिए।

प्रश्न 1.
वृत्त में दिए शब्दों के लिंग तथा वचन के अनुसार वर्गीकरण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 5 Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 6

उत्तर:

स्त्रीलिंग पुलिंग एकवचन बहुवचन
नदी कूड़ा बीमारी शिकायतें
फसल गाँव आँख गवाहें
सड़क वृक्ष आदत सर्दियाँ
नाली पंखा मुकदमा कारखाने

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा

6. शब्द-युग्म बनाइए।

कूड़ा – …………., इधर – …………., गाँव – ………….., घर – ………….., हवा – ………….., सीधा – ………….., साफ – ……………., झाड़ – …………

प्रश्न 1.
शब्द-युग्म बनाइए।
उत्तर:
कूड़ा – कचरा, इधर – उधर, गाँव – शहर, घर – द्वार, हवा – पानी, सीधा – सादा, साफ – सुथरा, झाड़-झंखाड़

अभिव्यक्ति :

‘बढ़ते हुए प्रदूषण को रोकने के उपाय’ पर अपने विचार लिखिए।

प्रश्न 1.
‘बढ़ते हुए प्रदूषण को रोकने के उपाय’ पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
आज प्रदूषण के कारण विश्व में चारों ओर लोगों का जीना दूभर हो गया है। प्रदूषण को रोकने के लिए हमें प्राकृतिक स्रोतों का संरक्षण करना चाहिए। हमें पटाखें जलाना, कूड़ा-कचरा यहाँ-वहाँ नहीं फेंकना चाहिए। मानव जनसंख्या वृद्धि पर रोक लगानी चाहिए। हमें प्रकृति का अंधाधुंध दोहन नहीं करना चाहिए। सरकार को अवैध खनन पर रोक लगानी चाहिए। कारखानों की चिमनियों की ऊँचाई अधिक रखनी चाहिए।

अधिक धुआँ निर्माण करने वाले स्वचालित यंत्रों पर रोक लगानी चाहिए और इसके लिए सरकार द्वारा प्रतिबंधात्मक कानून बनाने चाहिए ताकि उल्लंघन करने वालों पर कड़ी-से-कड़ी कार्यवाही हो सके। कारखानों से निकले हुए रासायनिक पदार्थों को तालाब, नदी या सागर में नहीं डालना चाहिए। पर्यावरण को संतुलित रखने के लिए सभी को पेड़ लगाने चाहिए।

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भाषाबिंदु :

प्रश्न 1.
इन शब्दों से बने दो – दो मुहावरे तथा उनके अर्थ लिखकर स्वतंत्र वाक्य में प्रयोग कीजिए।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 7

1. कान
उत्तर:
i. मुहावरा : कान भरना।
अर्थ : किसी के विरुद्ध किसी के मन में कोई बात बैठा देना।
वाक्य : रामू के किसी ने तो कान भर दिए, इसलिए वह इस प्रकार का बर्ताव कर रहा है।

ii. मुहावरा : कान का कच्चा होना।
अर्थ : सुनते ही किसी बात पर विश्वास करना।
वाक्य : अजय कान का कच्चा है; वह किसी के भी बहकावे में आ जाता है।

2. नाक
उत्तर:
i. मुहावरा : नाक-भौं सिकोड़ना।
अर्थ : अप्रसन्नता प्रकट करना।
वाक्य : जरा-जरा सी बात पर नाक-भौं सिकोड़ना ठीक नहीं है। .

ii. मुहावरा : नाक में दम करना।
अर्थ : बहुत परेशान होना।
वाक्य : तुम दोनों की हरकतों ने मेरे नाक में दम कर दिया है।

3. सिर
उत्तर:
i. मुहावरा : अपने सिर लेना।
अर्थ : जिम्मेदारी अपने ऊपर लेना।
वाक्य : व्यवस्था को सुचारू रूप से चलाने का काम रामलाल ने अपने सिर ले लिया।

ii. मुहावरा : सिर चढ़ाना।
अर्थ : अनुपयुक्त व्यक्ति को अत्यधिक महत्त्व देकर अपने ऊपर मुसीबत मोल लेना।
वाक्य : मूर्ख व्यक्ति को सिर चढ़ाने का नतीजा हमेशा बुरा ही होता है।

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उपयोजित लेखन :

प्रश्न 1.
अपने ग्राम/नगर/महानगर के संबंधित अधिकारी को बच्चों के खेलने के लिए बगीचा बनवाने हेतु पत्र लिखिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 8
उत्तरः
10 जुलाई, 2018
प्रति,
मा. महानगर अधिकारी,
महानगरपालिका,
दादर (पूर्व),
मुंबई – 400 043. .
विषय : बच्चों के खेलने के लिए बगीचा बनवाने हेतु प्रार्थना पत्र।

मैं कुमार अजय मेहता दादर पूर्व विभाग का निवासी हूँ। मैं आपको यह प्रार्थना पत्र लिख रहा हूँ क्योंकि हमारे विभाग में बच्चों के खेलने के लिए बगीचा नहीं है।

हमारे विभाग में कुल मिलाकर दो सौ से अधिक बच्चे हैं। उनके खेलने के लिए पर्याप्त जगह नहीं है। यहाँ हर इमारत के बीच में खेलने के लिए पर्याप्त जगह नहीं है। यहाँ मैदान भी नहीं है, जिस कारण बच्चों को खेलने-कूदने के लिए बहुत दिक्कत हो रही है। छुट्टियों में उनका ठीक से मनोरंजन नहीं हो पाने के कारण घर में बैठकर या तो टी. वी. देखते हैं या कंप्यूटर गेम खेलते हैं जिससे उनका शारीरिक विकास नहीं हो पा रहा है।

आपसे नम्र निवेदन है कि आप हमारे विभाग में एक बगीचा का निर्माण करें ताकि विभाग में रहने वाले बच्चों के बाहर खेलने के लिए पर्याप्त जगह हो। मुझे आशा है कि आप मेरे प्रार्थना पत्र पर जरूर विचार करेंगे।

कष्ट के लिए क्षमाप्रार्थी।
भवदीय, अजय मेहता,
401, राम महल,
राधा नगर,
मुंबई – 400026
ajay56@gmail.com

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Hindi Lokvani 10th Std Textbook Solutions Chapter 3 मुकदमा Additional Important Questions and Answers

(अ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति अ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
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प्रश्न 2.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 10

प्रश्न 3.
निम्नलिखित विधान सही करके लिखिए।
i. सूखे कपड़े पहने एक लड़का हाजिर होता है।
उत्तर:
भीगे कपड़े पहने एक लड़का हाजिर होता है।

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ii. राजा के अनुसार पानी अब निर्मल नहीं रहा है।
उत्तर:
लोगों के अनुसार पानी अब निर्मल नहीं रहा है।

प्रश्न 4.
समझकर लिखिए।
उत्तर:
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कृति अ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के अर्थ लिखिए।

  1. गह्वर
  2. निर्मल
  3. शिकायत
  4. गंदगी

उत्तर:

  1. गड्ढा
  2. साफ
  3. उलाहना
  4. मलिनता

प्रश्न 2.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. वह स्थान जहाँ राजा अपने मंत्रियों के साथ बैठते हैं –
ii. किसी विवाद का अदालत में सुनवाई –
उत्तर:
i. दरबार
ii. मुकदमा

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प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्दों के विलोम शब्द लिखिए।

  1. निर्मल × ………
  2. समय × ………
  3. हाजिर × ………

उत्तर:

  1. मलिन
  2. असमय
  3. गैरहाजिर

प्रश्न 4.
गद्यांश में से विदेशी शब्द ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तर:
टेपरिकॉर्डर

कृति अ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
मुकादमा चलाने की परंपरागत और आधुनिक पद्धति में अंतर लिखिए।
उत्तर:
पहले के जमाने में राजा-महाराजा हुआ करते थे। वे न्याय प्रक्रिया में न्यायाधीश की भूमिका निभाते थे। यदि किसी को किसी से शिकायत होती थी तो वह व्यक्ति राजदरबार में जाकर शिकायत दर्ज करता था और फिर राजा के द्वारा मुकदमा चलाया जाता था। राजा का निर्णय अंतिम हुआ करता था। आज जमाना बदल गया है। राजा-महाराजाओं के दिन अब नहीं रहे हैं। लोग प्रजातंत्र में अपना जीवन बीता रहे हैं। आज न्याय व्यवस्था पर सरकार अथवा किसी अन्य संस्था का नियंत्रण नहीं है। वह मुक्त और स्वनियंत्रित है। पुलिस, कोर्ट-कचहरी आदि न्यायप्रणाली की व्यवस्था है।

यदि कोई व्यक्ति गलत काम करता है तो वह कानून की नजर में दोषी बन जाता है। उस पर मुकदमा चलाया जाता है। यदि उसका दोष सिद्ध हुआ तो उसे सजा हो जाती है। आज हमारी न्याय व्यवस्था पूर्णत: निष्पक्ष व स्वतंत्र है। न्यायालय के निर्णय को अंतिम माना जाता है। इस प्रकार पहले के जमाने में मुकदमें चलाने की विधि और आज के जमाने में मुकदमा चलाने की प्रक्रिया में जमीन-आसमान का अंतर है।

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(आ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति आ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 12

प्रश्न 2.
गद्यांश के आधार पर वाक्य पूर्ण कीजिए।
i. वे घर जरूर डूबेंगे ….
उत्तरः
जहाँ वर्षा का पानी बहना चाहिए; नदी बहनी चाहिए; वहाँ पर लोगों ने घर बना लिए हैं।

कृति आ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची लिखिए।

  1. पशु
  2. कारखाना
  3. पहाड़
  4. वर्षा

उत्तर:

  1. जानवर
  2. फैक्टरी
  3. पर्वत
  4. बारिश

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प्रश्न 2.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. छोटा प्राकृतिक तालाब –
उत्तर:
i. जोहड़

प्रश्न 3.
विलोम शब्द लिखिए
i. गंदा × …………….
ii. ढलान × …………..
उत्तर:
i. साफ
ii. चढ़ाव

प्रश्न 4.
गद्यांश में प्रयुक्त पर्यायवाची शब्द की जोड़ी को ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तर:
वर्षा : बरसात

प्रश्न 5.
वचन बदलिए।

  1. नदी
  2. गली
  3. नाला

उत्तर:

  1. नदियाँ
  2. गलियाँ
  3. नाले

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प्रश्न 6.
निम्नलिखित शब्दों में से प्रत्यय छाँटकर लिखिए।
i. रखवाली
ii. जिम्मेदार
उत्तर:
i. प्रत्यय : वाली
ii. प्रत्यय : दार

प्रश्न 7.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूंढकर लिखिए।
उत्तर:
गलियों – नालियों

कृति आ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
जल प्रदूषण को रोकने के लिए अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
जल के बिना जीवन असंभव है। प्राकृतिक जल स्रोतों को स्वच्छ रखना हमारा कर्तव्य है। हमें तालाब एवं नदी के पानी में पशुओं को नहलाना नहीं चाहिए। तालाब या नदी में हमें कपड़े या बर्तन नहीं धोने चाहिए। तालाब व नदी में कूड़ा-कचरा नहीं फेंकना चाहिए। कल-कारखानों का दूषित और जहरीला पानी नदी में डालने पर रोक लगानी चाहिए। लोगों में जल-प्रदूषण के खतरे के प्रति जागरुकता निर्माण करनी चाहिए। जल प्रदूषण को रोकने के लिए प्रदूषण बोर्ड को सख्त कानून बनाने चाहिए। इस प्रकार सभी को स्वेच्छा से इस अभियान के लिए आगे आना चाहिए।

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(इ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति इ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
ऐसे प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्नलिखित शब्द हों
i. सदियों
ii. वृक्ष
उत्तर:
i. गाँव कब से ऊँची जगह पर बसा हुआ है?
ii. लोगों ने पहाड़ से क्या साफ कर दिए हैं?

प्रश्न 2.
सही विकल्प चुनकर वाक्य पूर्ण कीजिए।
i. पानी पहाड़ से लुढ़कता हुआ नीचे आता है क्योंकि..
(क) लोगों ने पहाड़ से वृक्ष साफ कर दिए हैं।
(ख) लोगों ने पहाड़ पर घर बनाए हैं।
(ग) लोगों ने पहाड़ को काट दिया है।
उत्तरः
(क) लोगों ने पहाड़ से वृक्ष साफ कर दिए हैं।

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प्रश्न 3.
निम्नलिखित विधान सही करके लिखिए।
i. बाढ़ के लिए पानी जिम्मेदार है। उत्तरः बाढ़ के लिए गाँववाले जिम्मेदार हैं।
ii. निर्मल एवं स्वच्छ रहना पानी के हाथ में है।
उत्तरः
पानी को निर्मल तथा स्वच्छ रखना लोगों के हाथ में है।

कृति इ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तरः
धीरे-धीरे

प्रश्न 2.
गोश में से ऐसे दो शब्द ढूँड़कर लिखिए कि जिनके वचन परिवर्तित नहीं होते।
उत्तर:
i. ढलान
ii. वृक्ष

प्रश्न 3.
‘निर्मल’ इस शब्द में निहित उपसर्ग को पहचानकर संबंधित उपसर्ग लगाकर अन्य दो शब्द तैयार कीजिए।
उत्तर:
निर्मल : प्रत्यय : निर नए
शब्द : निराकार, निर्विकार

प्रश्न 4.
नीचे दिए तत्सम शब्द का तद्भव लिखिए।
i. ग्राम
उत्तर:
i. गाँव

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प्रश्न 5.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. सौ वर्षों का समय
उत्तर:
i. सदी

कृति इ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘जल ही जीवन है।’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
जल ही जीवन है। जल के बिना जिंदगी की कल्पना नहीं की जा सकती है। धरती पर रहने वाले सभी जीवों को जिंदा रहने के लिए पानी की आवश्यकता होती है। यदि शरीर में पानी की मात्रा 10 प्रतिशत से कम हो जाए तो व्यक्ति जीवित नहीं रह सकता। मनुष्य भोजन के बिना कई दिनों तक जीवित रह सकता है लेकिन पानी के बिना तीन दिन से अधिक नहीं जीवित रह सकता। हमें जरूरत से ज्यादा पानी की बर्बादी नहीं करनी चाहिए। संसार की बढ़ती जनसंख्या के कारण पानी का इस्तेमाल बढ़ता जा रहा है। इसलिए हमें पानी को बर्बाद नहीं करना चाहिए। यदि पानी नहीं होगा तो किसान खेत में अनाज नहीं उगा सकता है। पानी के बिना किसी भी वस्तु का निर्माण नहीं हो सकता। इसलिए जल ही जीवन है।

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(ई) गद्यांश पड़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति ई (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 13

प्रश्न 2.
परिणाम लिखिए।
i. भोपाल के कारखाने से निकली जहरीली गैस से –
ii. मरे हुए पशु-पक्षियों को यहाँ-वहाँ डालने से –
उत्तर:
i. कई लोग रात में सोए हुए ही मौत के मुँह में चले गए थे।
ii. हवा बदबूदार हो जाती है।

कृति ई (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित वाक्य में विराम चिह्नों का उचित प्रयोग कीजिए।
i. हवा ने महाराज से कहा महाराज मुझ पर लगे आरोप झूठे हैं
उत्तरः
हवा ने महाराज से कहा, “महाराज, मुझ पर लगे आरोप झूठे हैं।

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प्रश्न 2.
लिंग बदलिए।
i. महाराज
ii. लड़की
उत्तर:
i. महारानी.
ii. लड़का

प्रश्न 3.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढकर लिखिए।
उत्तर:

  1. पशु-पक्षियों
  2. यहाँ-वहाँ
  3. दूर-दूर
  4. आज-कल

प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्द के लिए श्रुतिसमभिन्नार्थक शब्द लिखिए।
i. रात
ii. डाल
उत्तर:
i. रत
ii. दाल

प्रश्न 5.
‘जहरीली’ इस शब्द में से प्रत्यय अलग कीजिए और संबंधित प्रत्यय लगाकर अन्य दो शब्द बनाइए।
उत्तरः
जहरीली : शब्द : जहर प्रत्यय : ईली
अन्य शब्द : नशीली, चमकीली

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कृति ई (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘हवा प्रदूषण पर रोक लगाने के लिए उपाय’ पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
दिन-प्रतिदिन हानिकारक सामग्री के हवा में मिलने के कारण हवा प्रदूषित हो रही है। प्रदूषित हवा से लोग बीमार पड़ रहे हैं। हवा प्रदूषण से बचने के लिए हमें कूड़ा-कचरा यहाँ-वहाँ नहीं फेंकना चाहिए। कूड़ा-कचरा यहाँ-वहाँ फेंकने से गंदगी फैलती है जिससे हवा दूषित हो जाती है। कारखानों को आधुनिक तकनीकी का प्रयोग करना चाहिए ताकि उनमें से जहरीली गैस और धुआँ बाहर न निकले और हवा में न मिले। लोगों को अपने वाहनों की नियमित जाँच करानी चाहिए, ताकि उनमें से अधिक धुआँ बाहर निकलकर हवा में न फैले।

सार्वजनिक स्थलों पर धूम्रपान पर रोक होनी चाहिए। हमें शहरीकरण की प्रक्रिया को रोकना चाहिए। गाँवों में ही रोजगार के साधनों को विकसित करना चाहिए, जिससे गाँव के लोग नौकरी करने के लिए शहर में पलायन न करें। इससे शहर और गाँव का असंतुलन धीरेधीरे कम हो जाएगा और हवा प्रदूषण भी रुकेगा। धुएँवाले ईधनों का प्रयोग बंद कर देना चाहिए और भारी मात्रा में पेड़ लगाने चाहिए। इस प्रकार हवा प्रदूषण पर रोक लगाई जा सकती है।

(उ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति उ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 14

प्रश्न 2.
परिणाम लिखिए।
i. हवा ने चलना बंद कर दिया।
उत्तरः
हवा द्वारा चलना बंद होने से सभी घुटन महसूस करने लगे।

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ii. हवा आँधी बनकर आती है।
उत्तरः
हवा के आँधी बनकर आने से लोगों के घर रेत और कूड़े से भर जाते हैं।

कृति उ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची लिखिए।

  1. मिट्टी
  2. निमंत्रण
  3. दुखी
  4. आँधी

उत्तर:

  1. मृदा
  2. आमंत्रण
  3. उदास
  4. अंधड़

प्रश्न 2.
नीचे दिए हुए अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
i. धूलभरी जोर की हवा –
उत्तर:
i. आँधी

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प्रश्न 3.
वचन बदलिए।
i. आँधी
ii. आँख
उत्तर:
i. आँधियाँ
ii. आँखें

कृति उ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘यदि हवा चलना बंद कर दे तो…..।’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
नित चलते रहना हवा का काम है। यदि हवा चलना बंद कर दे तो बहुत बड़ी समस्या निर्माण हो जाएगी। हवा के बिना जीवन के अस्तित्व की कल्पना भी नहीं की जा सकती है। यदि हवा चलना बंद कर देगी तो लोगों को साँस लेने के लिए दिक्कत हो जाएगी। लोग घुटन भरे माहौल में अधिक समय तक जीवित नहीं रह सकते हैं। पेड़-पौधे, पशु-पक्षियों को भी जीवन जीने के लिए हवा की जरूरत होती है।

गर्मी ज्यादा बढ़ने के कारण फिर सर्वत्र एअरकंडिशन लगाना पड़ेगा। इससे तापमान में वृद्धि होगी। कार्बन डाइऑक्साइड की मात्रा बढ़ेगी, जिससे लोगों को साँस लेने की और भी दिक्कत हो जाएगी। यदि सचमुच हवा चलना बंद कर देगी तो धीरे-धीरे इस धरती से जीवन नष्ट हो जाएगा।

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(ऊ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति ऊ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
ऐसे प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्नलिखित शब्द हो
i. पंखा
ii. पॉलिथिन की थैलियाँ
उत्तर:
i. हवा की गति बढ़ाने के लिए लोग क्या चलाते हैं?
ii. लोग सड़कों पर क्या फेंकते हैं?

प्रश्न 2.
गद्यांश के आधार पर वाक्य पूर्ण कीजिए।
i. जब हवा तेजी से चलती है।
ii. लोगों द्वारा फेंका कूड़ा ……
उत्तर:
i. जब हवा तेजी से चलती है तब वह अपने साथ रेत, मिट्टी, कूड़ा आदि हल्की चीजें साथ लेकर उड़ती है।
ii. लोगों द्वारा फेंका कूड़ा फिर से उनके घरों में जाता है।

प्रश्न 3.
समझकर लिखिए।
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा 15

कृति ऊ (2) : शब्द-संपदा

प्रश्न 1.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढकर लिखिए।
उत्तरः
i. हवा-पानी
ii. आस-पास

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प्रश्न 2.
विलोम शब्द लिखिए।

  1. दोस्त × ……………….
  2. लाभ × ……………….
  3. हल्की × …………….
  4. गरमी × …………..

उत्तरः

  1. दुश्मन
  2. नुकसान
  3. भारी
  4. सर्दी

प्रश्न 3.
पर्यायवाची शब्द लिखिए।
i. गरमी
ii. हवा
उत्तर:
i. ग्रीष्म
i. वायु

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प्रश्न 4.
गोश में से ऐसे दो शब्द ढूँडकर लिखिए कि जिनके वचन परिवर्तित नहीं होते।
उत्तर:
हवा, पानी

मुकदमा Summary in Hindi

लेखक-परिचय :

जीवन-परिचय : गोविंद शर्मा जी का जन्म सन 1९४६ में राजस्थान के संगरिया क्षेत्र में हुआ। शर्मा जी सुप्रसिद्ध बालसाहित्यकार है। बाल नाटक, बाल उपन्यास एवं बाल कविता के द्वारा आप बाल जगत के साहित्य में प्रसिद्ध है। इन्होंने व्यंग्य परक लेख, जीवनी, लघुकथाएँ आदि विधाओं में भी लेखन किया है।
प्रमुख कृतियाँ : ‘दीपू और मोती’, ‘डोबी और राजकुमार’ (बाल उपन्यास), ‘हमें हमारा घर दो’, ‘मेहनत का मंत्र’ (कहानी संग्रह), ‘नया बाल दिवस’ (नाटक संग्रह), ‘कुछ नहीं बदला’, ‘जहाज के नये पंक्षी’ (व्यंग्य संग्रह), ‘रामदीन का चिराग’ (लघुकहानी संग्रह) आदि।

गद्य-परिचय :

एकांकी : प्रस्तावना एक अंक वाले नाटक को ‘एकांकी’ कहते हैं। अंग्रेजी में इसे ‘वन ऐक्ट प्ले’ कहते हैं। एकांकी स्वतंत्र एवं सचेष्ट भाव से लिखी जाती है। एकांकी का आकार लघु होता है। अत: इसमें एक ही कथा होती है।
प्रस्तावना : ‘मुकदमा’ इस एकांकी में लेखक गोविंद शर्मा जी ने जल एवं वायु प्रदूषण के कारणों और दुष्परिणामों के प्रति लोगों को सचेत किया है। प्रदूषण रूपी संकट को रोकने के लिए मनुष्य को ही प्रयास करना होगा, यह संदेश लेखक ने हमें प्रस्तुत एकांकी के माध्यम से दिया है।

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सारांश :

‘मुकदमा’ यह एक एकांकी है। एकांकी की शुरूआत महाराज के दरबार से होती है। दरबार में महाराज सिंहासन पर बैठे हैं। कुछ लोगों ने। दरबार में हवा व पानी के विरुद्ध शिकायत की है। अत: हवा व पानी को दरबार में बुलाया गया है और उन पर मुकदमा चलाया जा रहा है। लोगों ने पानी पर आरोप लगाया कि वह पहले जैसा निर्मल नहीं रहा है। वह अपने साथ गंदगी एवं बीमारियाँ बहाकर ले आता है। अपने ऊपर। लगे इस आरोप का खंडन करते हुए पानी ने कहा कि इसमें उसका कुछ भी कसूर नहीं है। लोग पहले के जैसे उसकी रखवाली नहीं करते।

हैं और वे अपने पशुओं को तालाब या नदी में छोड़ देते हैं। कारखानों का पानी एवं गंदी नाली का पानी भी उसमें आकर मिलता है। अत: वह इंसान के करतूतों के कारण ही अशुद्ध हो गया है। लोगों ने पानी पर यह भी आरोप लगाया कि वह अपनी मर्जी के अनुसार कहीं पर भी बरसता है और कहीं पर भी बहता हआ जाता है। इस कारण उनके घर पानी में डूब जाते हैं। इसपर पानी कहता है कि इसमें भी उसका कोई कसर नहीं है। लोगों ने पहाड पर स्थित पेड़ों की कटाई की है। अत: वह पहाडों से गति से बहता हआ नीचे आता है जिस कारण लोगों के घर पानी में बह जाते हैं।

अंत में मुकदमे का फैसला करते हुए महाराज लोगों को अपनी गलतियाँ सुधारने और पानी को निर्मल तथा उपयोगी रखने । का आदेश देते हैं। दूसरी शिकायत हवा के विरुद्ध है। आदमी शिकायत करता है कि अब हवा में पहले जैसी खुशबू नहीं है और वह आँधी। बनकर आती है जिस कारण लोगों के घर रेत व कूड़े से भर जाते हैं। वह बदबू फैलाती है।

हवा इन आरोपों को झूठा बताते हुए कहती है कि कारखानों से निकलने वाली गैस व गंदगी के कारण वह बदबूदार हो गई है। अंत में महाराज कहते हैं कि इसमें हवा का कोई भी कसूर नहीं है। महाराज द्वारा लोगों को नसीहत दी जाती है कि वे सफाई की आदत को अपनाएँ। हवा व पानी को अपना दोस्त मानकर उन्हें दूषित होने से बचाएँ। यदि ऐसा होगा; तो ही लोगों का भला होगा।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 3 मुकदमा

शब्दार्थ :

  1. गह्वर – गड्ढा
  2. शिकायत – उलाहना
  3. पशु – जानवर
  4. निमंत्रण – आमंत्रण
  5. दूषित – गंद
  6. माहौल – वातावरण
  7. गवाह – प्रमाण
  8. बदबू – दुर्गन्ध
  9. दंड – सज़ा
  10. निर्मल – साफ
  11. कूड़ा – कचरा
  12. उपाय – हल
  13. तबाह – नष्ट

मुहावरे :

आँख मूंदकर चलना – बिना सोचे-विचारे चलना।
मौत के मुंह में चले जाना – जान-बूझकर खतरा मोल लेना।

कहावत :

जैसी करनी, वैसी भरनी – कर्म के अनुसार ही फल का मिलना।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

Balbharti Maharashtra State Board Class 10 Hindi Solutions Hindi Lokvani Chapter 7 प्रकृति संवाद Notes, Textbook Exercise Important Questions and Answers.

Maharashtra State Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

Hindi Lokvani 10th Std Digest Chapter 7 प्रकृति संवाद Textbook Questions and Answers

पठनीय:

प्रश्न 1.
फूलों से बनने वाली औषधियों की जानकारी अंतरजाल पर पदिए।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

लेखनीय:

प्रश्न 1.
‘बढ़ती आबादी, कटते वन और प्रदूषण से प्रभावित होता जन जीवन’ इस विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
आज हमारे देश की आबादी दिनों दिन बढ़ रही है। लोगों को रहने के लिए पर्याप्त जगह नहीं है। अत: वनों की अंधाधुंध कटाई की जा रही है। इस कारण पर्यावरण का संतुलन बिगड़ रहा है। विश्व भर में जलवायु परिवर्तन से उपजे नकारात्मक प्रभाव को मनुष्य आए दिन झेल रहा है। कहीं पर अधिक मात्रा में वर्षा तो कहीं पर सूखा पड़ रहा है। कंपनियों का रासायनिक द्रव्य नदी, तालाब या सागर में छोड़े जाने के कारण जल प्रदूषण बढ़ गया है।

पेड़पौधों की संख्या में निरंतर कमी होने के कारण वायु प्रदूषण जैसी भयावह संकट का लोगों को सामना करना पड़ रहा है। ऊपर से यातायात के साधनों में वृद्धि होने से उनमें से निकलने वाले धुएँ से सभी बेहाल एवं त्रस्त हैं। बढ़ती आबादी का भरण-पोषण करने के लिए प्राकृतिक संसाधनों का जरूरत से ज्यादा दोहन हो रहा है। इस प्रकार बढ़ती आबादी, कटते वन और प्रदूषण से लोगों का जन-जीवन पूरी तरह से प्रभावित हो गया है।

श्रवणीय:

प्रश्न 1.
‘बनभोज’ महोत्सब का आयोजर कब, क्यों और कहाँ किया जाए. इसके बारे में बड़ा से मुजिए तथा कक्षा में सुनाइए।

संभषणीय:

प्रश्न 1.
‘प्रकृति हर पल नया रूप धारण करती है।’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
भारत में छह ऋतुएँ होती हैं। हर ऋतु की अपनी विशेषता होती है। हर ऋतु में प्रकृति नए रूप धारण करती है। वसंत ऋतु में पेड़-पौधों पर नए पत्ते व फूल आते हैं। गुलाब, गेंदा, सूरजमुखी, सरसों आदि के रंग-बिरंगी फूल खिलने लगते हैं। उस ऋतु में प्रकृति का सौंदर्य खिल उठता है। ग्रीष्म ऋतु में सूर्य की किरणें तेज होती हैं। इस ऋतु में प्रकृति अपना सौंदर्य रूपी कोष लुटाती चलती है। वर्षा ऋतु में लोगों को गर्मी से राहत मिलती है। इस ऋतु में चारों ओर हरियाली छा जाती है।

सब जगह हरा ही हरा दिखाई देता है। शरद ऋतु में कमल खिलते हैं। मालती के फूलों से वन सुशोभित हो जाते हैं। रातें ठंडी एवं सुहावनी होती हैं। हेमंत ऋतु में प्रकृति सुहावनी एवं लुभावनी लगने लगती है। हल्के जाड़े का एहसास इस ऋतु में होता है। शिशिर ऋतु में कड़ाके की ठंड होती है। घना कोहरा छाने लगता है। इस ऋतु में पेड़ से पत्ते झड़ने लगते हैं। इस प्रकार प्रकृति हर पल नया रूप धारण करती रहती है।

स्वाध्याय:

सुचना के अनुसार क्रुतिया कीजिए:

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 1
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 2

प्रश्न 2.
पाठ में आई वनस्पतियों का वर्गीकरण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 3
उत्तर:

लताएँ पौधे वृक्ष
1. बेला दवना हरसिंगार
2. गिलोय लता तुलसी सहिजन
3. – अड़हुल

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

प्रश्न 3.
कृति पूर्ण कीजिए।
हरसिंगार में ऋतुओं के अनुसार होने वाले बदलाव –
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 4
उत्तरः

वसंत वसंत में हरसिंगार के भीतर सोई हुई ऊर्जा जागने लगती है व प्राणरस छलकने लगता है। वह नई टहनियों तथा नए पत्तों के सौंदर्य से लद जाता है।
शरद शरद में हरसिंगार तारों भरा आसमान बन जाता है। रातभर जगमग-जगमग करता है और सुबह को | अनंत फूलों के रूप में धरती पर बिछ जाता है।

प्रश्न 4.
उपसर्ग, प्रत्यय लगाकर शब्द नए शब्द बनाइए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 5
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 6

प्रश्न 5.
कृति पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 7
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 8

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

प्रश्न 6.
क्रमानुसार ऋतुओं के नाम लिखिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 9
उत्तर:

1. वसंत
2. ग्रीष्म
3. वर्षा
4. शरद
5. हेमंत
6. शिशिर

Hindi Lokvani 10th Std Textbook Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद Additional Important Questions and Answers

(अ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति अ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 10

प्रश्न 2.
समझकर लिखिए।
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 11

प्रश्न 3.
सही विकल्प चुनकर लिखिए।
दैनिक कार्य से निवृत्त होकर लेखक ………………..
(अ) आँगन और गैलरी में बैठने जाते हैं।
(आ) आँगन और गैलरी में खेलने जाते हैं।
(इ) आँगन और गैलरी में टहलने लगते हैं।
उत्तर:
दैनिक कार्य से निवृत्त होकर लेखक आँगन और गैलरी में टहलने लगते हैं।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

कृति अ (2): शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के अर्थ गद्यांश में ढूँढ़कर लिखिए।

  1. अवकाश प्राप्त
  2. हरियाली
  3. कार्य
  4. खुशबू

उत्तर:

  1. निवृत्त
  2. हरीतिमा
  3. कर्म
  4. महक

प्रश्न 2.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
1. जो समान्य हालत में हो –
2. प्रात: काल गाया जाने वाला गीत –
उत्तर:
1. प्रकृतिस्थ
2. प्रभाती

प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।
1. महक
2. दुआ
उत्तर:
1. सुगंध
2. आशीर्वाद

प्रश्न 4.
गद्यांश में से तत्सम शब्द ढूँढकर लिखिए।
उत्तरः
प्रकृति

प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्द के श्रुतिसम भिन्नार्थक शब्द लिखिए।
1. आकार
2. दुआ
उत्तरः
1. आकर
2. दवा

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

कृति अ (3): स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘आज कल पौधों का स्थान बगीचे तक ही सीमित नहीं रहा है। इन्हें अब आँगन और गैलरी में भी स्थान दिया जाता है।’ अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
पौधे बहुत ही आकर्षक एवं प्यारे होते हैं। पौधों पर फूल खिलते हैं; वे महकते हैं। उनकी खुशबू सभी के मन में ताजगी निर्माण लाती है। अब पौधे घर की आंतरिक साज-सज्जा का भी एक मुख्य अंग बन गए हैं। अत: लोग इन्हें घर के अंदर एवं बाहर गमलों में लगाते हैं। इनके कारण घर में ऑक्सीजन की मात्रा में वृद्धि होती है। घर का वातावरण स्वच्छ एवं प्रदूषण रहित रहता है। पौधों के कारण घर का तापमान बाहर की तुलना में ठंडा रहता है। गर्मियों के दिनों में घर-आँगन में स्थित पौधे लोगों को राहत दिलाने का काम करते हैं।

(आ) निम्नलिखित गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
निम्नलिखित विधान सत्य है या असत्य लिखिए।
1. लेखक के आँगन में स्थित पार्क की दुनिया बहुत छोटी है।
2. लेखक के अनुसार हर चीज का अपना समय नहीं होता है।
उत्तरः
1. सत्य
2. असत्य

प्रश्न 2.
समझकर लिखिए।
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 12

कृति (2): शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।
1. पेट
2. पत्ता
उत्तरः
1. उदर
2. पर्ण

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

प्रश्न 2.
विलोम शब्द लिखिए।
1. समय × ……….
2. रस × ………….
उत्तर:
1. असमय
2. नीरस

प्रश्न 3.
वचन बदलिए।
1. पौधा
2. पत्ती
उत्तरः
1. पौधे
2. पत्तियाँ

प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्दों में उचित उपसर्ग लगाकर नए शब्द तैयार कीजिए।
1. रस
2. समय
उत्तरः
1. नी + रस = नीरस
2. अ + समय = असमय

प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्दों में उचित प्रत्यय लगाकर नए शब्द तैयार कीजिए।
1. रस
2. परिवार
उत्तरः
1. रस + ईला = रसीला
2. परिवार + इक = पारिवारिक

निम्नलिखित वाक्यों में विराम चिह्न का उचित प्रयोग कीजिए।

प्रश्न 1.
लेखक ने हँसकर नीम से कहा नहीं नहीं ऐसी बात नहीं है
उत्तरः
लेखक ने हँसकर नीम से कहा, “नहीं-नहीं, ऐसी बात नहीं है।”

‘कृति (3): स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘हमें पेड़-पौधों से लगाव रखना चाहिए।’ विषय पर अपने विचार व्यक्त कीजिए।
उत्तरः
पेड़-पौधे मानव के मित्र हैं। वे पर्यावरण को संतुलित रखने में हमारी मदद करते हैं। उनके बिना वनों के अस्तित्व की कल्पना नहीं की जा सकती। वे हमें साँस लेने के लिए प्राणवायु देते हैं। अत: हमें उनसे लगाव रखना चाहिए और उनकी सुरक्षा करनी चाहिए। हमें पर्याप्त मात्रा में पेड़-पौधे लगाने चाहिए ताकि चारों ओर हरियाली छाई रहे। पेड़-पौधों में औषधीय गुण होते हैं। उनसे अनेक प्रकार की दवाइयाँ तैयार की जाती हैं। तुलसी, आंवला, निर्गुण्डी, अशोक आदि पेड़-पौधे औषधी के रूप में बहुत फलदायी होते हैं। पेड़-पौधों के बिना मनुष्य जीवन की कल्पना नहीं की जा सकती। इसलिए हमें पेड़-पौधों से लगाव रखना चाहिए।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

(इ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति इ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
गद्यांश के आधार पर ऐसे प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्न शब्द हों –
1. चिड़ियाँ
2. प्राणरस
उत्तरः
1. कौन चहचहा उठी?
2. क्या छलकने लगता है?

कृति (2): शब्द संपदा

प्रश्न 1.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तरः

  1. खंखड़-सा
  2. घूमती-फिरती
  3. जगमग-जगमग
  4. डाल-डाल

प्रश्न 2.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।

  1. आकाश
  2. ऊर्जा
  3. फूल
  4. धरती

उत्तर:

  1. नभ
  2. शक्ति
  3. पुष्प
  4. पृथ्वी

प्रश्न 3.
वचन बदलिए।
1. डाल
2. गली
उत्तरः
1. डालियाँ
2. गलियाँ

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्दों के विलोम शब्द लिखिए।

  1. आश्रय × ……………..
  2. खुश × ………………
  3. अनंत × …………….
  4. डर × ……………….

उत्तरः

  1. अनाश्रय
  2. नाखुश
  3. अंत
  4. साहस

प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्द के अनेकार्थी शब्द लिखिए।
अनंत
उत्तरः
असीम, श्रीविष्णु, श्रीकृष्ण, आकाश

प्रश्न 6.
निम्नलिखित शब्दों के श्रुतिसमभिन्नार्थक शब्द लिखिए।
1. सूख
2. पत्तों
उत्तरः
1. सुख
2. पत्रों

(ई) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति ई (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 13

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

निम्नलिखित गलत विधान सही करके लिखिए।

प्रश्न 1.
लेखक ने अमरूद के पेड़ की उपेक्षा की।
उत्तरः
लेखक ने अमरूद के पेड़ की उपेक्षा नहीं की।

प्रश्न 2.
शरद के आते ही अमरूद की विरल डालियाँ नई पत्तियों और टहनियों से सघन होने लगती हैं।
उत्तर:
वसंत के आते ही अमरूद की विरल डालियाँ नई पत्तियों और टहनियों से सघन होने लगती हैं।

प्रश्न 3.
तालिका पूर्ण कीजिए।
उत्तर:

वसंत में अमरूद की स्थिति वर्षा में हरसिंगार की स्थिति
वसंत के आते ही अमरूद की और टहनियों से सघन होने लगती हैं। हरसिंगार वर्षा में फूलना शुरू विरल डालियाँ नई पत्तियों कर देता है।

कृति (2): शब्द संपदा

निम्नलिखित वाक्य में विराम चिह्नों का उचित प्रयोग कीजिए।

प्रश्न 1.
क्या रूप मंडप बनाया है अमरूद और हरसिंगार ने मिलकर
उत्तरः
क्या रूप मंडप बनाया है अमरूद और हरसिंगार ने मिलकर!

प्रश्न 2.
निम्नलिखित शब्द में उचित उपसर्ग व प्रत्यय लगाकर नए शब्द तैयार कीजिए।
फल
उत्तरः
उपसर्गयुक्त शब्द: सुफल
प्रत्यययुक्त शब्द: फलहीन

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

प्रश्न 3.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तर:

  1. धीरे-धीरे
  2. छोटे-छोटे
  3. आते-आते
  4. डाल-डाल
  5. नाच-नाचकर

प्रश्न 3.
विलोम शब्द लिखिए।
1. भीतर × ……….
2. ऊपर × ……….
उत्तर:
1. बाहर
2. नीचे

प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।
1. महोत्सव
2. पावस
उत्तरः
1. जलसा
2. वर्षा

प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्द का श्रुतिसम भिन्नार्थक शब्द लिखिए।
उपेक्षा
उत्तर:
अपेक्षा

कृति ई (3): स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
फूल-फल क्यों उगाने चाहिए? अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
भारतीयों की जीवन पद्धति में फूलों और फलों का अत्यधिक महत्त्व है। फल-फूल मनुष्य की भावनात्मक सुंदरताओं के प्रतीक माने जाते हैं। व्यक्ति के जीवन में मानसिक एवं शारीरिक स्वास्थ्य की दृष्टि से भी फूलों और फलों का अत्यधिक महत्त्व है। फल-फूलों को ईश्वर को समर्पित किया जाता है।

अत: आध्यात्मिक दृष्टि से भी इनका अनन्यसाधारण महत्त्व है। फूलों के बीच जाने से दुखी व्यक्ति के जीवन में उत्साह भर हो जाता है। फूल मनुष्य को मानसिक शांति और आरोग्य प्रदान करते हैं। जहाँ पर फूल-फल के पेड़-पौधे होते हैं, वहाँ पर तरह-तरह के पक्षी होते हैं। उनका कलरव सुनकर मनुष्य अपने आपको प्रकृति से जुड़ा हुआ पाता है। प्रकृति से जुड़े रहना मनुष्य के मन और शरीर को सुकून प्रदान करता है। अत: हमें फल-फूल वाले पेड़-पौधे उगाने चाहिए।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

(उ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति उ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
समझकर लिखिए।
1. इन्होंने लेखक को उलाहना दी –
2. बेला के फूलों के अनुसार ये हैं ऊँचे लोग –
उत्तरः
1. बेला के फूलों ने
2. अड़हुल और सहिजन

गलत विधान सही करके फिर से लिखिए।

प्रश्न 1.
लेखक ने स्वयं को बड़ा आदमी कहा है।
उत्तर:
लेखक ने स्वयं को छोटा आदमी कहा है।

प्रश्न 2.
फूल और पौधे लेखक के परिवार के सदस्य नहीं हैं।
उत्तरः
फूल और पौधे लेखक के परिवार के सदस्य हैं।

कृति (2): शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।

  1. महाशय
  2. भौंरा
  3. फूल
  4. मंगल

उत्तर:

  1. महोदय
  2. भ्रमर
  3. सुमन
  4. शुभ

प्रश्न 2.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।
1. दो व्यक्तियों के बीच हुआ वर्तालाप –
2. जिसमें सदा फूल लगते रहते हैं –
उत्तरः
1. संवाद
2. सदाबहार

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्दों के अनेकार्थी शब्द लिखिए।
1. जीवन
2. बेला
उत्तर:
1. जिवित दशा, जिंदगी
2. एक लता, समय

प्रश्न 4.
गद्यांश में से प्रत्यययुक्त शब्द ढूँढ़कर लिखिए और उनसे प्रत्यय अलग कीजिए।
उत्तर:
1. विराजमान, प्रत्यय – मान
2. मतवाली, प्रत्यय – वाली

प्रश्न 5.
निम्नलिखित तत्सम शब्द का तद्भव रूप लिखिए।
1. पुष्प
2. मास
उत्तरः
1. फूल
2. महीना

कृति (3): स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘प्रकृति से अपनत्व रखने से व्यक्ति का व्यक्तित्व खिलता है।’ क्या आप इस कथन से सहमत हैं? अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
जी हाँ, मैं इस कथन से सहमत हूँ। प्रकृति मानव जीवन की सहचरी है। प्रकृति के बिना मानव जीवन की कल्पना करना निरर्थक है। अत: प्रत्येक व्यक्ति को प्रकृति से अपनत्व रखना चाहिए। जो व्यक्ति प्रकृति से अपनत्व रखता है उसमें उच्च मानवीय गुणों का संचार होता है। अंग्रेजी साहित्य के महान कवि विलियम वर्डस्वर्थ को कविता लिखने की प्रेरणा प्रकृति ने ही प्रदान की थी। अतः उन्होंने प्रकृति को ईश्वर का रूप माना है। प्रकृति मानव मन को नित्य प्रेरित करती है।

पुराने जमाने में ऋषि-मुनि प्रकृति की गोद में बैठकर ही तपस्या करते थे। वेदों का निर्माण भी प्रकृति के सानिध्य में ही हुआ है। प्रकृति से अपनत्व रखने वाला व्यक्ति जीवन में ऊँचा उठता है। उसका हृदय संवेदनाओं एवं असीम करुणा से भरा रहता है। ऐसा व्यक्ति दूसरों के जीवन को प्रभावित करने की क्षमता रखता है। अत: प्रकृति से अपनत्व रखने से व्यक्ति का व्यक्तित्व खिलता है।

(ऊ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
ऐसे प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्नलिखित शब्द हों –
1. तीन
2. एक पौधा
उत्तर:
1. कितने गमलों में बेला के पौधे विराजमान थे?
2. खिल-खिलाकर कौन हँस रहा था?

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

प्रश्न 2.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद 14

प्रश्न 3.
सही विकल्प चुनकर लिखिए।
शरीर में कोई विकार उत्पन्न होने से –
(अ) गिलोय लता के पत्तों का रस प्राशन किया जाता है।
(आ) सहिजन के पत्तों का रस प्राशन किया जाता है।
(इ) बेला के पत्तों का रस प्राशन किया जाता है।
उत्तरः
शरीर में कोई विकार उत्पन्न होने से गिलोय लता के पत्तों का रस प्राशन किया जाता है।

कृति (2): शब्द संपदा

प्रश्न 1.
गद्यांश में से विलोम शब्द की जोड़ियाँ ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तरः
1. सुबह × शाम
2. आते × जाते

प्रश्न 2.
गद्यांश में प्रयुक्त विदेशी शब्द ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तर:
1. अरबी शब्द: मेहरबाँ, तबस्सुम
2. अंग्रेजी शब्द: गेट

प्रश्न 3.
वचन बदलिए।
1. धारा
2. बात
उत्तर:
1. धाराएँ
2. बातें.

प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्दों के विलोम शब्द लिखिए।

  1. पास × ……………….
  2. मुरझा × ………………
  3. भीतर × ……………..
  4. हलकी × ………………

उत्तरः

  1. दूर
  2. खिला
  3. बाहर
  4. भारी

प्रश्न 5.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।

  1. छंद शास्त्र में कविता का वह प्रकार जिसमें गणों का कोई बंधन न हो –
  2. अपमान और उपहास का विषय –
  3. रूप, धर्म आदि का स्वाभाविक परिवर्तन –

उत्तरः

  1. मुक्तक
  2. विडंबना
  3. विकार

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

प्रश्न 6.
पर्यायवाची लिखिए।
1. विकार
2. लता
उत्तरः
1. परिवर्तन
2. बेल.

प्रश्न 7.
निम्नलिखित शब्द के अनेकार्थी शब्द लिखिए।
गेट
उत्तरः
प्रवेश मार्ग, फाटक, दरवाजा

प्रकृति संवाद Summary in Hindi

लेखक-परिचय:

जीवन-परिचय: रामदरश मिश्र जी का जन्म १९२४ में उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में हुआ। मिश्र जी साहित्य में बहु-प्रतिभा के धनी हैं। इन्होंने कविता, कहानी, उपन्यास, आलोचना, आत्मकथा, यात्रा वर्णन, संस्मरण व निबंध आदि विधाओं में लेखन किया है। इन्होंने अपने साहित्य में वस्तु व शिल्प दोनों को सहज ही परिवर्तित होने दिया। मिश्र जी कई सामाजिक व साहित्यिक संस्थाओं के अध्यक्ष रह चुके हैं।

प्रमुख कृतियाँ: ‘पथ के गीत’, ‘पक गई है धूप’, ‘कंधे पर सूरज’ (कविता संग्रह), ‘हँसी ओठ पर आँखें नम हैं’, ‘तू ही बताए जिंदगी’ (गज़ल संग्रह), ‘स्मृतियों के छंद’ (संस्मरण), ‘पानी के प्राचीर’ (उपन्यास), ‘खाली घर’ (कहानी संग्रह) ‘बबूल और कैक्टस’ (ललित निबंध) आदि।

गद्य-परिचय:

ललित निबंध: यह निबंध का एक प्रकार है। इस प्रकार के निबंध में लेखक की आत्मीयता पूर्ण स्वच्छंदता के साथ अभिव्यक्त होती है।
इसमें लेखक की शैलीगत विशेषता अत्यंत उन्मुक्त रूप से प्रकट होती है। इस प्रकार के निबंध में रोचकता, कल्पनात्मकता
एवं नाटकीयता होती है।

प्रस्तावना: ‘प्रकृति संवाद’ इस ललित निबंध के माध्यम से लेखक ने पेड़-पौधों के प्रति लगाव एवं आत्मीयता को बड़े ही कल्पनात्मक
ढंग से प्रस्तुत किया है। प्रत्येक व्यक्ति के हृदय में पेड़-पौधों के प्रति अपनेपन की भावना होनी चाहिए। आखिर मानव और
पेड़-पौधों का आपस में गहरा संबंध होता है।

सारांश:

‘प्रकृति संवाद’ यह एक ललित निबंध है। इस निबंध के माध्यम से लेखक ने पाठकों को पेड़-पौधों के प्रति अपनत्व की भावना रखने का संदेश दिया है। रात भर लेखक को शरीर में दर्द होता रहता है। लेखक की तबीयत ठीक नहीं है। उन्हें रात में ठीक से नींद नहीं आती है। सुबह उठते ही उन्हें थोड़ी ताजगी महसूस होती है। सुबह की ठंडी हवा उनके तन व मन में ताजगी का स्पंदन महसूस कराती है। वे हमेशा की तरह आज भी अपने आँगन व गैलरी में टहलने के लिए जाते हैं। उनके आँगन में स्थित पार्क की दुनिया बहुत छोटी है। दवनों की महक और हरीतिमा उन्हें अपनी ओर आकर्षित करती हैं। वे तुलसी माता को मुस्कुराते हुए देखते हैं और उसे प्रणाम करते हैं, उससे बतियाते हैं। फिर वे नीम की हरी पत्तियों से बातें करते हैं। नीम के पत्ते मानो लेखक से कह रहे थे कि बहुत दिनों से उसने कढ़ी बनाने के लिए उनके पत्तों का इस्तेमाल नहीं किया है।

लेखक की नजर हरसिंगार की ओर जाती है। वह बहुत ही मस्त दिखाई दे रहा था। उसकी महक से स्वयं लेखक ही नहीं बल्कि गली से आने-जाने वाले सभी लोग परिचित थे। पश्चात अमरूद का पेड़ लेखक से बातें करने लगता है। अमरूद का पेड़ लेखक के आँगन । का सबसे पहला नागरिक है। अमरूद के पेड़ और हरसिंगार इन दोनों ने आपस में मिलकर एक रूप मंडप बनाया था जिस पर चिड़ियाँ खेलती हैं, गाती-चहचहाती हैं। लेखक को आषाढ़ के महीने में अमरूद पर जो फल आते हैं, उनकी मिठास की याद आती है। उस समय चिड़ियों की चहचहाअट से अमरूद के फलों की मिठास भर जाती है। अड़हुल के पौधे पर आने वाले लाल फूल भी लेखक को अपनी ओर खींच लेते हैं और वह उनसे भी बातें करने लगता है।

सदाबहार सहिजन पर बारहों मास सुगंध से लदे फूलों पर मधुमक्खियाँ और भौंरे गुनगुनाया करते हैं। लेखक जाड़ों की धूप में उसकी छाँव में बैठते हैं। तब वह उस पेड़ की मतवाली सुरभि से नहाते हैं। बेला के फूल भी लेखक का ध्यान अपनी ओर खींच लेते हैं। वे सफेद रंग के हैं और जगमगा रहे हैं। उन फूलों से मादक सुगंध की बहने वाली हलकी-हलकी धारा लेखक के हृदय को प्रसन्न कर देती है। गिलोय लता के पौधे भी लेखक का हाल-चाल पूछते हैं। उनकी हरी-हरी फलियाँ लेखक की आँखों को सुख देती हैं। इस प्रकार पेड़-पौधों से बातचीत करके लेखक जब गेट के बाहर निकलते हैं तो स्वयं को भरा-पूरा अनुभव करते हैं।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 प्रकृति संवाद

शब्दार्थ:

  1. उलाहना – शिकायत
  2. विडंबना – हँसी, उपहास
  3. गुँचा – कली
  4. मेहरबाँ – कृपालु.
  5. स्पंदन – रह-रहकर धीरे-धीरे हिलना या काँपना, धड़कन
  6. निवृत्त – अवकाश प्राप्त, मुक्त होकर
  7. पत्ता – पर्ण
  8. भौंरा – भ्रमर
  9. महोत्सव – जलसा
  10. पावस – वर्षा
  11. महाशय – महोदय
  12. फूल – सुमन
  13. मंगल – शुभ
  14. विकार – दोष मनोवेग
  15. लता – बेल
  16. तबस्सुम – मुस्कान
  17. अस्तित्व – विद्यमानता, होने का भाव
  18. सहिजन – एक वृक्ष; जिसकी लंबी फलियों की तरकारी बनती है।
  19. हरीतिमा – हरियाली
  20. कर्म – कार्य
  21. महक – खुशबू
  22. पेट – उदर

मुहावरे:

1. यादों में जाग उठना – पुरानी यादें ताजा हो जाना।
2. भरा-पूरा अनुभव करना – संतुष्ट हो जाना। .

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 8 कर्मवीर

Balbharti Maharashtra State Board Class 10 Hindi Solutions Hindi Lokvani Chapter 8 कर्मवीर Notes, Textbook Exercise Important Questions and Answers.

Maharashtra State Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 8 कर्मवीर

Hindi Lokvani 10th Std Digest Chapter 8 कर्मवीर Textbook Questions and Answers

स्वाध्याय :

सूचना के अनुसार कृतियाँ कीजिए :

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 8 कर्मवीर 1
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 8 कर्मवीर 2

2. कृति पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 8 कर्मवीर 3
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 8 कर्मवीर 4

3. विशेषताएँ लिखिए :

प्रश्न 1.
विशेषताएँ लिखिए :
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 8 कर्मवीर 5
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 8 कर्मवीर 6

4. कविता में इस अर्थ में आए शब्द लिखिए 

प्रश्न 1.
कविता में इस अर्थ में आए शब्द लिखिए

  1. कर्मभूमि : ………………
  2. अकारण : ………………
  3. आकाश : ………………
  4. विशवास : ………………

उत्तर:

  1. कार्यस्थल
  2. वृथा
  3. गगन
  4. विशवास

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5. कविता की अपनी पसंदीदा चार पंक्तियों का सरल अर्थ लिखिए। 

प्रश्न 1.
कविता की अपनी पसंदीदा चार पंक्तियों का सरल अर्थ लिखिए।
उत्तर:
जो कभी अपने ……………………..चुराते हैं नहीं।
प्रस्तुत पंक्तियों के माध्यम से कवि ‘हरिऔध’ जी कहते हैं कि कर्मवीरों के लिए समय बहुत महत्त्वपूर्ण होता है। इसलिए वे समय को कभी व्यर्थ नहीं गवाते। जिस काम को जिस समय करना है उसे उसी समय करते हैं। वे काम को कल पर नहीं छोड़ते हैं। जहाँ काम करना हो वहाँ कोई बहानेबाजी और आनाकानी नहीं करते। आज का काम कल पर टालकर वे अपने दिनों को व्यर्थ नहीं गवाते। समय का सदुपयोग करना यही उनका कर्तव्य होता है। कोशिश अथवा मेहनत करने से वे कभी भी पीछे नहीं हटते ।

उपयोजित लेखन :

प्रश्न 1.
मुद्दों के आधार पर कहानी लेखन कीजिए।
एक हंस और एक कौए में मित्रता – हंस का कौए के साथ उड़ते जाना – कौए का दधिपात्र लेकर जाने वाले ग्वाले को देखना – ललचाना – कौए का दही खाने का आग्रह – हंस का इनकार – कौए का घसीटकर ले जाना – कौए का चोंच नचा – नचाकर दही खाना – हंस का बिलकुल न खाना – आहट पाकर कौए का उड़ जाना -हंस का पकड़ा जाना – परिणाम – शीर्षक।
उत्तर:
कुसंगति का फल एक जंगल था। उस जंगल में तरह-तरह के पक्षी एवं जानवर रहते थे। उस जंगल में एक बरगद के पेड़ पर एक हंस व एक कौआ भी रहता था। दोनों में गहरी मित्रता थी। एक दिन वे दोनों खुले आसमान में विचरण कर रहे थे। उस वक्त कौए की नजर सिर पर दधिपात्र लेकर जाने वाले एक ग्वाले पर गई।

दधिपात्र देखकर कौए के मुँह में पानी भर आया। उसने तपाक से हंस से कहा, “क्यों न हम दोनों मिलकर दधिपात्र से थोड़ा-थोड़ा दही खा लें।” हंस ने कहा, “नहीं भाई ! इस प्रकार चोरी या छिपकर खाने से आफत आ सकती है। हम पकड़े जा सकते हैं। फिर भी कौए ने हंस की एक न सुनी।

वह जबरन हंस को घसीटकर दधिपात्र के पास ले आया। वह बड़े मजे से दही को खाने लगा। ढेर सारा दही देखकर वह अपनी चोंच नचा-नचाकर दही खाने लगा। हंस सिर्फ उसके साथ था, लेकिन उसने दही को छुआ तक नहीं। दधिपात्र लेकर जाने वाले ग्वाले को एहसास हुआ कि दधिपात्र में से कौआ या अन्य पक्षी दही खाने की चेष्टा कर रहे हैं।

ग्वाले ने आव देखा न ताव तुरंत अपना दाहिना हाथ ऊपर कर उसने हंस को पकड़ लिया। तब तक आहट पाकर कौआ वहाँ से उड़ गया। बेचारा हंस! उसका बुरा हाल हुआ। ग्वाले ने उसे मार डाला। सीख : बुरे लोगों के साथ रहने से बुरा होता है। इसलिए हमें अच्छे लोगों के साथ रहना चाहिए।

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Hindi Lokvani 10th Std Textbook Solutions Chapter 8 कर्मवीर Additional Important Questions and Answers

(अ) निम्नलिखित पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति अ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
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प्रश्न 2.
‘कर्मवीर दूसरों का मुँह नहीं ताकते’ इसका तात्पर्य है कि –
उत्तर:
वे स्वावलंबी होते हैं। अत: वे दूसरों पर निर्भर नहीं होते।

कति अ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के अर्थ लिखिए।

  1. विघ्न
  2. बाधा
  3. भाग्य
  4. चंचल

उत्तर:

  1. संकट
  2. रुकावट
  3. नसीब
  4. अस्थिर

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प्रश्न 2.
विलोम शब्द लिखिए।
i. कठिन × …….
ii. निर्मल × …….
उत्तर
i. सरल
i. मलीन

प्रश्न 3.
निम्नलिखित अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए –
i. अस्थिर स्वभाव का –
उत्तर :
i. चंचल

प्रश्न 4.
निम्नलिखित तद्भव शब्द का तत्सम शब्द लिखिए।
i. मुँह
ii. काम
उत्तर:
i. मुख
ii. कार्य

प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्द के वचन बदलिए।
i. बाधा
ii. काम
उत्तर:
i. बाधाएँ
ii. काम

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प्रश्न 6.
निम्नलिखित शब्द के समश्रुतभिन्नार्थक शब्द लिखिए।
i. मान
ii. भाग्य
उत्तर:
i. मन
i. भाग

कृति अ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘जो विघ्न-बाधाओं का सामना करता है वही सफल होता है।’ अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
जीवन में सुख व दुख दोनों हैं। व्यक्ति के जीवन में अनुकूल व प्रतिकूल ये दोनों परिस्थितियाँ आती हैं। व्यक्ति को प्रतिकूल परिस्थिति का डरकर नहीं बल्कि डटकर सामना करना चाहिए। जो व्यक्ति जीवन में आने वाले संघर्षों का सामना करता है वह अंत में सफल हो जाता है। संघर्षों के साथ लड़ते समय उसमें अदम्य शक्ति निर्माण हो जाती है नई ऊर्जा का संचार हो जाता है। परिस्थितियाँ मनुष्य को जीवन अनुभवों से समृद्ध बनाती हैं। जिसके जीवन में संघर्ष नहीं; जो विघ्न-बाधाओं का सामना नहीं करता है, उस व्यक्ति का जीवन नीरस हो जाता है। जो व्यक्ति विघ्न-बाधाओं का सामना करता है वही अंत में अपनी मंजिल पाता है। ऐसा पुरुष ही जीवन का सच्चा कर्मवीर कहलाता है।

(आ) निम्नलिखित पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति आ (1) : आकलन त

प्रश्न 1.
सही विकल्प चुनकर लिखिए।
i. कार्य कितना भी कठिन हो ………….
(अ) कर्मवीर उसे पूरा करने की ठान नहीं लेते हैं।
(आ) कर्मवीर उसे पूरा करने की ठान लेते हैं।
(इ) उसे पूरा करने की जिम्मेदारी दूसरों पर सौंपते हैं।
उत्तर:
(आ) कर्मवीर उसे पूरा करने की ठान लेते हैं।

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ii. कर्मवीर आसमान के फूलों को व्यर्थ बातों से नहीं तोड़ते अर्थात
(अ) वे अपनी प्रशंसा के लिए बड़ी-बड़ी बातें नहीं बनाते।
(आ) वे अपनी प्रशंसा के लिए बड़ी-बड़ी बातें बनाते हैं।
(इ) वे अपनी प्रशंसा के लिए किसी भी हद तक जा सकते हैं।
उत्तर:
(अ) वे अपनी प्रशंसा के लिए बड़ी-बड़ी बातें नहीं बनाते।

कृति आ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
कविता में इस अर्थ में आए शब्द लिखिए।
i. सहायता : ………………
ii. दिवस : ……………….
उत्तर:
i. मदद
ii. दिन

प्रश्न 2.
निम्नलिखित शब्द में उचित उपसर्ग व प्रत्यय लगाकर शब्द लिखिए।
i. समय
उत्तरः
उपसर्गयुक्त शब्द : असमय
प्रत्यययुक्त शब्द : सामयिक

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प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्दों में उचित उपसर्ग लगाइए।
i. यत्न
ii. मन
उत्तर:
i. प्र + यत्न = प्रयत्न
ii. बे + मन = बेमन

प्रश्न 4.
पद्यांश में प्रयुक्त विलोम शब्द की जोड़ी लिखिए।
उत्तर:
i. आज × कल

प्रश्न 5.
निम्नलिखित तत्सम शब्द का तद्भव रूप लिखिए।
i. संपदा
ii. वृथा
उत्तर:
i. संपत्ति
ii. व्यर्थ

कृति अ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘समय का सदुपयोग करने से व्यक्ति जीवन में ऊँचा उठ सकता है।’ अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
मानव जीवन में समय का सदुपयोग अत्यंत महत्त्वपूर्ण है। जो व्यक्ति समय के साथ चलता है वह प्रगति की सीढ़ी हासिल कर लेता है। समय का सदुपयोग करने वाले व्यक्ति को सभी सुखों की प्राप्ति होती है। समय पर कार्य करने वाले व्यक्ति के कारण समाज व राष्ट्र का भी भला होता है। विश्व के सभी महापुरुष समय की कीमत जानते थे।

इसलिए वे जीवन में महान बन सके। समय का सदुपयोग करने वाला व्यक्ति समय का सही विभाजन कर अध्ययन, खेलकूद, समाज सेवा, मनोरंजन आदि जैसे अनेक कार्य सरलतापूर्वक कर सकता है। समय का सदुपयोग करने वाला व्यक्ति समय के साथ कदम से कदम मिला कर चलता है और जीवन में अनेक सफलताओं को प्राप्त करता है।

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(इ) पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति इ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
सही विकल्प चुनकर वाक्य फिर से लिखिए।
i. कर्मवीरों का नया उत्साह देखने को मिलता है –
(अ) जब उन्हें उलझनें आकर घेर लेती हैं।
(आ) जब वे अपना काम पूरा कर लेते हैं।
(इ) जब वे कार्यस्थल से दूर चले जाते हैं।
उत्तरः
(अ) जब उन्हें उलझनें आकर घेर लेती हैं।

प्रश्न 2.
संजाल पूर्ण कीजिए।
उत्तरः
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प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्द पढ़कर ऐसे दो प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्न शब्द हों –
i. कर्मवीर
ii. कार्यस्थल
उत्तर:
i. असंभव को संभव कौन बनाते हैं?
ii. कर्मवीर किसके बारे में पूछते नहीं है?

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कृति इ (3) : शब्द संपदा.

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों में उचित प्रत्यय लगाकर नए शब्द तैयार कीजिए।
i. बुद्धि
ii. देश
उत्तर:
i. बुद्धि + मान = बुद्धिमान
ii. देश + ई = देशी

प्रश्न 2.
निम्नलिखित तत्सम शब्द का तद्भव रूप लिखिए।

  1. सपूत
  2. हस्त
  3. नव

उत्तरः

  1. सुपुत्र
  2. हाथ
  3. नया

प्रश्न 3.
समानार्थी शब्द लिखिए।
i. उत्साह
ii. बुद्धि
उत्तर:
i. उमंग
ii. मति

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प्रश्न 4.
कविता में इस अर्थ में आए शब्द लिखिए।
i. अच्छे पुत्र
उत्तर:
i. सपूत

प्रश्न 5.
पद्यांश में से विलोम शब्द की जोड़ी ढूँढकर लिखिए।
उत्तर:
i. असंभव × संभव
ii. यहाँ × वहाँ

प्रश्न 6.
‘सपूत’ इस शब्द में से उपसर्ग पहचानकर संबंधित उपसर्ग को लगाकर अन्य दो शब्द बनाइए।
उत्तरः
सपूत : उपसर्ग – स
अन्य शब्द : सकारण, सप्रमाण

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कृति ग (4) : अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘कर्म ही पूजा है, कर्म ही श्रेष्ठ है।’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
गीता में लिखा है कि कर्म ही पूजा है। कर्म से बढ़कर व्यक्ति का अन्य कोई धर्म नहीं है। इसलिए कर्म करना मनुष्य का पहला लक्ष्य होना चाहिए। कर्म करने से व्यक्ति को आनंद मिलता है। सच्चे मन से किया गया कर्म सफल होता है। मनुष्य के कर्म को ही संसार में याद किया जाता है। उसकी मृत्यु के उपरांत वह सिर्फ अपने कर्मों के कारण ही याद किया जाता है। इसलिए सभी को आलस्य त्यागकर कर्म में लीन हो जाना चाहिए। कर्म सफलता का आधार है। कर्म ही श्रेष्ठ है। कर्म करने से ही व्यक्ति के जीवन को सुख की अनुभूति प्राप्त होती है। सबकी भलाई के लिए कर्म करते हुए जीना ही जीवन का मूलमंत्र है।

कर्मवीर Summary in Hindi

जीवन-परिचय :

अयोध्यासिंह उपाध्याय ‘हरिऔध’ जी का जन्म उत्तर प्रदेश राज्य के आजमगढ़ जिले में हुआ था। ये हिंदी साहित्य के एक प्रमुख हस्ताक्षर थे तथा हिंदी साहित्य सम्मेलन के सभापति भी रह चुके हैं। हिंदी साहित्य सम्मेलन समिति के द्वारा इन्हें विद्यावाचस्पति की उपाधि से सम्मानित किया जा चुका है। खड़ी बोली हिंदी साहित्य के विकास में इनका विशेष योगदान रहा है। वियोग तथा वात्सल्य वर्णन, लोक सेवा की भावना व प्रकृति चित्रण इनके काव्य की विशेषता है।
प्रमुख कृतियाँ : ‘वैदेही वनवास’, ‘प्रिय-प्रवास’ (महाकाव्य), ‘ठाठ’, ‘अधखिला फूल’ (उपन्यास), ‘रुक्मणी परिणय’, ‘विजय व्यायोग’ (नाटक) आदि।

पद्य-परिचय :

आधुनिक पद्य : सन 1900 से आधुनिक पद्य की शुरुआत हुई। महावीर प्रसाद द्विवेदी जी के प्रभाव से ब्रज भाषा से हिंदी कविता हटकर खड़ी बोली हिंदी में लिखी जाने लगी। भारत का उज्ज्वल अतीत, देशभक्ति, सामाजिक सुधार, स्वभाषा प्रेम, मानवीय गुण आदि का खड़ी बोली हिंदी में प्रयोग होने लगा। मधुरता एवं सरलता ने हिंदी कविता में प्रवेश कर लिया।
प्रस्तावना : ‘कर्मवीर’ इस कविता के माध्यम से कवि ‘हरिऔध’ जी ने यह बताने का प्रयास किया है कि कर्मवीरों के लिए कर्म ही पूजा होती है, वे कर्म करने के लिए सदैव तत्पर रहते हैं, वे असंभव को संभव बना देते हैं, तथा देश और समाज को उन्नति के मार्ग पर ले जाते हैं।

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सारांश :

‘कर्मवीर’ यह एक आधुनिक पद्य है। इस कविता के माध्यम से कवि ने मानवीय गुणों का संचय करने की प्रेरणा दी है। कवि ने कर्मवीरों के पास जो महान गुण होते हैं उनका अनुसरण करने के लिए पाठकों को प्रेरित किया है। कवि कहते हैं, “मनुष्य को विघ्न-बाधाओं का डटकर मुकाबला करना चाहिए। काम के प्रति उकताहट नहीं करनी चाहिए। मनुष्य को स्वावलंबी होना चाहिए। उसे कभी भी किसी पर आश्रित नहीं होना चाहिए।

मनुष्य को समय का सदुपयोग करना चाहिए। कार्य कितना भी कठिन हो फिर भी उसे पूरा करने की ठान लेनी चाहिए। मनुष्य को मुसीबतों का सामना करते हुए असंभव कार्य को संभव कर दिखाना चाहिए। मनुष्य की कर्मनिष्ठा मनुष्य का विकास करेगी पर इसके साथ वह जिस समाज व राष्ट्र में रहता है उसका भी विकास होता है। अत: प्रत्येक मनुष्य का कर्तव्य है कि वह कर्म को श्रेष्ठ मानकर देश और समाज को उन्नति के मार्ग पर ले जाए।

भावार्थ :

देखकर जो ………………………………. वीर दिखलाते नहीं।
कवि ‘हरिऔध’ जी कहते हैं कि कर्मवीर विघ्न बाधाओं को देखकर घबराते नहीं। वे कभी भाग्य के भरोसे नहीं बैठते हैं। इसलिए भाग्य द्वारा दुख मिलने पर उन्हें पछतावा नहीं होता। काम कितना भी कठिन हो फिर भी उन्हें काम के प्रति कोई उकताहट नहीं होती। उनके लिए कर्म ही पूजा होती है। भीड़ अथवा मुश्किलों को देखकर भी उन पर उसका कुछ भी प्रभाव नहीं पड़ता है। वे सच्चे वीर होते हैं। वे किसी भी स्थिति में डरते नहीं हैं।

मानत जी की हैं ………………………….. जिसे सकते नहीं।
‘कवि ‘हरिऔध’ जी कहते हैं कि कर्मवीर सबकी बात सुनते हैं लेकिन, कार्य करते समय अपने मन की बात मानते हैं। वे स्वावलंबी होते हैं। वे कभी भी किसी पर आश्रित नहीं होते। वे स्वयं का काम स्वयं पूरा करते हैं। वे कभी भी किसी भी चीज के लिए दूसरों का मुँह नहीं ताकते। अर्थात किसी भी वस्तु के लिए वे दूसरों पर आश्रित नहीं होते हैं। इस दुनिया में भला ऐसा कौन-सा काम है जिसे वे पूरा नहीं कर सकते? अर्थात वे सारे काम करने में सक्षम होते हैं।

जो कभी अपने ………………………………..चुराते हैं नही।
कवि ‘हरिऔध’ जी कहते हैं कि कर्मवीरों के लिए समय बहुत ही महत्त्वपूर्ण होता है। इसलिए वे समय को कभी व्यर्थ नहीं गँवाते। जिस काम को जिस समय करना है उसे उसी समय करते हैं। उसे कल पर नहीं छोड़ते हैं। जहाँ काम करना हो वहाँ कोई बहानेबाजी और आनाकानी नहीं करते। आज का काम कल पर टालकर वे अपने दिनों को व्यर्थ नहीं गँवाते। समय का सदुपयोग करना यही उनका कर्तव्य होता है। कोशिश या मेहनत से वे कभी भी पीछे नहीं हटते ।

काम को आरंभ ……………………………………. नहीं जो जोड़ते।।
कवि ‘हरिऔध’ जी कहते हैं कि कर्मवीर कार्य को कभी भी बीच में छोड़ते नहीं हैं। कार्य कितना भी कठिन हो फिर भी वे उसे पूरा करने की ठान लेते हैं। काम को पूरा करते समय यदि कोई मुसीबत आ जाए तो भी पीछे नहीं हटते; वे काम से मुँह नहीं मोड़ते। कर्मवीर आसमान के फूलों को व्यर्थ बातों से नहीं तोड़ते अर्थात वे अपनी प्रशंसा के लिए बड़ी-बड़ी बातें नहीं बनाते। जिस कार्य को करना है बस उसी पर अपना : ध्यान केंद्रित करते हैं। वे मन से करोड़ों की संपदा नहीं जोडते।

कार्य थल ……………………………… उतना ही वहाँ।
कवि ‘हरिऔध’ जी कहते हैं कि कर्मवीर कार्यस्थल की तलाश में यहाँ-वहाँ खोजने के लिए भटकते नहीं। वे जहाँ होते हैं वहीं उनका कार्यस्थल होता है। कर्मवीर मुसीबतों का सामना करते हुए असंभव कार्य को भी संभव कर दिखाते हैं। आने वाली उलझनों और मुसीबतों से वे डरते नहीं बल्कि उनका वे उतने ही उत्साह से सामना करते हैं। उलझनों को देखकर उनमें नया जोश और नई चेतना आ जाती है और वे अपना कार्य उत्साह से करते हैं।

सब तरह से ……………………………. सूपतों के पले।
कवि ‘हरिऔध’ जी के अनुसार, आज विश्व में कई ऐसे देश हैं; ‘जो समृद्ध व संपन्न हैं’ प्रगत एवं विकसित हैं। वहाँ पर विद्या, धन, बुद्धि व ऐश्वर्य का भंडार है। इसका कारण है कि वहाँ पर रहने वाले लोगों ने कर्म को ही अपना लक्ष्य मान लिया है। कर्मवीरों के पुरुषार्थ से ही देश संपन्न हुए हैं। कर्मवीरों के कारण ही सबका भला हुआ है। उनके कारण ही चारों ओर प्रगति की लहर छाई हुई है। ऐसे महान सपूतों के कारण ही सभी का जीवन खुशहाल बना है।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 8 कर्मवीर

शब्दाथ :

  1. विघ्न – संकट
  2. बाधा – रुकावट
  3. भाग्य – नसीब
  4. चंचल – अस्थिर
  5. वृथा – अकारण, व्यर्थ
  6. गगन – आकाश
  7. मदद – सहायता
  8. दिन – दिवस
  9. उत्साह – उमंग
  10. संपदा – धन, दौलत
  11. बुद्धि – मति
  12. वैभव – ऐश्वर्य
  13. उकताना – ऊबना
  14. यत्न – प्रयत्न

मुहावरे :

  1. असंभव को संभव बनाना – कठिन काम को सरल बनाना।
  2. मुँह ताकना – दूसरों पर आश्रित होना।
  3. जी चुराना – आलस करना।
  4. बातें बनाना – बहाने बनाना।

Maharashtra Board Class 10 History Solutions Chapter 5 Mass Media and History

Balbharti Maharashtra State Board Class 10 History Solutions Chapter 5 Mass Media and History Notes, Textbook Exercise Important Questions and Answers.

Maharashtra State Board Class 10 History Solutions Chapter 5 Mass Media and History

Mass Media And History Class 10 Question 1.
(A) Choose the correct option from the given options and complete the statement.

(1) The first English newspaper in India was started by ………………………….. .
(a) James Augustus Hickey
(b) John Marshall
(c) Allen Hume
Answer:
(a) James Augustus Hickey

Maharashtra Board Solutions

(2) Television is an ………………………….. medium.
(a) visual
(b) audio
(c) audio-visual
Answer:
(c) audio-visual

(B) Identify and write the wrong pair in the following set.
(1) ‘Prabhakar’ – Acharya P.K. Atre
(2) ‘Darpan’ – Balshastri Jambhekar
(3) ‘Deenbandhu’ – Krishnarao Bhalekar
(4) ‘Kesari’ – Bal Gangadhar Tilak
Answer:
(1) Wrong Pair: ‘Prabhakar’ – Acharya P.K. Atre

Mass Media And History Class 10 Question 2.
Write short notes :
(1) The role of newspaper in the Indian struggle for independence
Answer:
Newspapers played an important role in the Indian independence struggle. It is as follows

  • Newspapers served as an important medium to create awareness during those times.
  • They described greatness of Indian culture and history to gather support of masses for the freedom movement.
  • They supported social, political and religious movements and opposed imperialism.
  • They discussed various social and political issues.
  • The ideas of social reformers and various organisations active in independence struggle reached people through newspapers.

(2) Why do we need mass media?
Answer:
Mass media includes print and electronic and various new media.

  • It facilitated free flow of information to all strata of the society and brought the world closer.
  • Editorials, various columns and supplements are essential parts of newspapers.
  • Readers also get a platform to voice their opinions. In fact, newspapers can help to make democracy stronger.
  • Akashrani broadcasted various programmes of the government as well entertainment.
  • Awareness creating programmes. It fulfill the need of the government to connect with people.
  • Television is an Audio-Visual medium which has made it possible to cross the inherent limitations of newspapers.
  • Radio to show the actual visuals of an event to people.
  • Mass Media is very important as it plays an important role to strengthen democracy.

(3) Mass Media and professional opportunities.
Answer:
There are many professional opportunities available in printed, electronic and digital media.

  • Writers, columnists, editors are required to write articles, columns and editorials in news-papers.
  • Newspapers also require reporters to gather news and technicians to work in the press.
  • There is requirement of actors and technicians in electronic media.
  • Artists are required to present programmes on television, in the same way news presenters, anchors are required.
  • If the articles, columns and programmes are based on history, an expert in history is required.

Mass Media And History Class 10 Question Answer Question 3.
Explain the following statements with reasons.
(1) Any information received through mass media needs to be reviewed critically.
Answer:

  • Information provided in the media may not represent the exact truth. We need to scan it carefully.
  • We have to understand idealistic and investigative motives of newspapers, government policies and prevailing social conditions behiid the newspiece.
  • The information received through Mass Media might be prejudiced or give a one-sided idea.
  • ‘Stern’, a German weekly magazine, purchased and published a number of so called handwritten diaries of Hitler.
  • It then sold them to a number of publication companies.
  • However, later it was proved that those diaries were forged. Hence it is essential to verily the information received through Mass Media.

(2) Knowledge of history is essential for newspaper articles.
Answer:

  1. In order to unfold the background of an event in the news, we have to resort to history.
  2. Some columns are based on historical events. These columns provide historical information about economical, social and political events in the past.
  3. Newspapers publish supplements in addition to the regular edition or special issues to mark the completion of 50 or 100 years of an event. On such occasions, one has to review history of that particular event.
  4. Even while writing columns like what happened in history on this day it is necessary to know past event. Hence, the knowledge of history is essential for writings of such type.

(3) Television is the most popular medium.
Answer:

  • Television being an audio-visual medium brings us into contact with events in an exciting and clarifying way.
  • It crossed the inherent limitations of newspapers and radio to show actual visuals.
  • It becomes possible for people to watch all the national and international events sitting at home.
  • Social problems, discussion on education and economics and political events are viewed by people.
  • In 1991, Indian government granted permission to private, national and international channels to telecast in India.
  • Television became a treasure house of entertainment.

Therefore, the television is the most popular medium.

Class 10 History Chapter 5 Questions And Answers Ssc Board Question 4.
Read the following extract and answer the questions.
Radio: ‘Indian Broadcasting Company’ (IBC), a private radio company was the first one to broadcast daily programmes. Later the same company was taken over by the British Government and named as, ‘Indian State Broadcasting Service (ISBS). On 8th June 1936 it was renamed, as ‘All India Radio (AIR)’.

After Independence, AIR became an integral part of the Ministry of Information and Broadcasting (India). Initially, it broadcasted Governmental programmes and schemes. It was named as ‘Akashvani’ on the suggestion of the famous poet Pandit Narendra Sharma. Akashvani broadcasts various entertainment, awareness creating and literary programmes. It also broadcasts special programmes for farmers, workers, the youth and women. The ‘Vividh Bharati’ programmes are broadcasted in 24 regional languages as well as 146 dialects of Indian languages. Lately, various new channels like ‘Radio Mirchi’ are providing radio services.

(1) Akashavani (AIR) is an integral part of which ministry?
Answer:

  1. Indian Broadcasting Company, a private radio company was taken over by the British Government in 1927 and named ‘Indian State Broadcasting Service (ISBS)’. On 8th June 1936, it was renamed as ‘All India Radio (AIR)’.
  2. AIR became integral part of the Ministry of Information and Broadcasting after independence. It was renamed Akashvani on the suggestion of Pandit Narendra Sharma.
  3. Initially it used to broadcast Government’s programmes and schemes. Later it started broadcasting various entertainment, awareness creating and literary programmes.
  4. Akashvani started ‘Vividh Bharati1 programmes. It broadcasts special programmes for farmers, workers, the youth and women.
  5. Vividh Bharati Programmes are broadcast in 24 regional languages and 146 dialects.

(2) What was the new name of IBC?
Answer:
Indian Broadcasting Company (IBC) was taken over by the British Government. It was named as the Indian State Broadcasting Services. (ISBS). On 8th June 1936, it was renamed as ‘All India Radio’ (AIR).

(3) In how many regional languages and local dialects are ‘Vividh Bharati’ programmes broadcasted?
Answer:
People get access to news through social media like Twitter, Instagram, Facebook, YouTube and from web news portals, web channels. This information is available in English and many other languages.

(4) How AIR was named ‘Akashavani’?
Answer:
AIR was named as Akashvani on the suggestion of the famous poet Pandit Narendra Sharma.

Question 5.
Complete the following concept chart.

Newspapers Radio Television
Beginning/Background
Nature of information/programmes
Functions

Answer:

Newspapers Radio Television
Background/Beginning James Augustus Hickey started Calcutta General Advertiser or Bengal Gazette on 29th January, 1780. It was the first newspaper in English. A private radio station was started known as Indian Broadcasting Company. First Doordarshan centre was started in Delhi.
Information Programmes News, articles, columns, opinions of the people, editorials, advertisements etc. are published. Along with entertainment programmes, have literary, informative programmes on farmers, women and educative values. Events around the world, movies, music, information about environmental and historical places, sports are shown either live or recorded.
Functions (1) Report daily news
(2) Public awareness and mass education.
(3) Provide information and strengthen democracy.
(4) Oppose injustice and give publicity to developmental work.
(1) Provide news from different sectors.
(2) Entertain through music, dramas, songs, etc.
(3) Present social problems and educate the masses about it.
(4) Conduct discussions on various issues ranging from the environment to culture.
(1) Telecast daily events and entertain.
(2) Educate the masses.
(3) Publicise programmes which are for social benefit.
(4) Bring about social awakening opposing evil traditions and practices.

Project
Write a review of a historical serial that you have watched.

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Maharashtra Board Class 10 History Solutions Chapter 5 Mass Media and History 1

Question 6.
Complete the sentences by choosing a correct option:
(a) ………………….. is the first newspaper in Marathi.
(a) Deenbandhu
(b) Prabhakar
(c) Darpan
(d) Kesari
Answer:
(c) Darpan

(b) 6th January is celebrated as ………………….. day in Maharashtra.
(a) Periodical Day
(b) Newspaper Day
(c) Printing Day
(d) Journalist Day
Answer:
(d) Journalist Day

(c) The letters ‘Shatpatre1 published in Prabhakar were written by ………………….. .
(a) Lokmanya Tilak
(b) Lokhitvadi
(c) Mahatma Gandhi
(d) Justice Ranade
Answer:
(b) Lokhitvadi.

(d) The honour of printing illustrations for the first time in an Indian newspaper goes to ………………….. .
(a) Dnyanoday
(b) Darpan
(c) Prabhakar
(d) Kesari
Answer:
(a) Dnyanoday

(e) Deenbandhu was started by ………………….. who was a close associate of Mahatma Phule.
(a) Dr. Babasaheb Ambedkar
(b) Lokmanya Tilak %
(c) Narayan Meghaji Lokhande
(d) Krishnarao Bhalekar
Answer:
(d) Krishnarao Bhalekar

(f) ………………….. newspaper was started by Agarkar and Lokmanya Tilak.
(a) Deenbandhu and Induprakash
(b) Darpan and Prabhakar
(c) Dnyanoday and .Digdarshan
(d) Kesari and Maratha
Answer:
(d) Kesari and Maratha

(g) Balshastri Jambhekar started ………………….. the first monthly magazine in Marathi.
(a) Digdarshan
(b) Prabhakar
(c) Darpan
(d) Dnyanoday
Answer:
(a) Digdarshan

(h) ………………….. was acknowledged as the fourth pillar of democracy.
(a) Representatives
(b) Periodicals
(c) Newspaper
(d) Books
Answer:
(c) Newspaper.

(i) The first English news bulletin was broadcast on 23rd July, 1927 from the …………………… radio station.
(a) Kolkata
(b) Madras
(c) Mumbai
(d) Dblhi
Answer:
(c) Mumbai

(j) Dr. Rajendra Prasad, the first President of India inaugurated the …………………… Doordarshan centre.
(a) Mumbai
(b) Bangalore
(c) Lucknow
(d) Delhi
Answer:
(d) Delhi

(k) Newspapers published special supplements or a special issue to commemorate occasions like completion of seventy-five years of …………………… in 2017.
(a) Khilafat Movement
(b) Non Co-operation Movement
(c) Civil Disobedience Movement
(d) Quit India Movement
Answer:
(d) Quit India Movement

(l) ……………………, a German weekly magazine, had purchased a number of so called handwritten diaries that were later proved forged.
(a) Time Magazine
(b) Statesman
(c) Stern
(d) Reuters
Answer:
(c) Stern

(m) Akashvani has preserved recordings of all speeches delivered by the …………………… on 15th August.
(a) President
(b) Wee President
(c) Prime Minister
(d) Army General
Answer:
(c) Prime Minister

(n) Akashwani comes under the Ministry of …………………… of the Indian Government.
(a) Social welfare
(b) Human Resource and Development
(c) Information and Broadcasting
(d) Education Technology
Answer:
(c) Information and Broadcasting.

Question 7.
Identify the wrong pair in the following and write it:

Newspaper Editor
(1)  Prabhakar

(2)  Darpan

(3)  Deenbandhu

(4)  Kesari

(a)   Acharya R K. Atre

(b)   Balshastri Jambhekar

(c)  Krishnarao Bhalekar

(d)   Bal Gangadhar Tilak

Answer:
Wrong pair: Prabhakar – Acharya R K. Atre

(2)

Newspaper Issues
(1)  Prabhakar

(2)  Induprakash

(3)  Deenbandhu

(4)  Kesari

(a)   History of French revolution

(b)  Advocated widow re­marriage

(c)  Information on Telegraph

(d)   Voiced social and political problems.

Answer:
Wrong pair Deenbandhu – Information on Telegraph

(3)

Newspaper/Magazine/Book Editor
(1) Pragati (a) Tryambak Shankar Shejwalkar
(2) Digdarshan (b) Narendra Sharma
(3) Deenbandhu (c) Krishnarao Bhalekar
(4) Discovery of India (d) Pandit Nehru

Answer:
Wrong pair: Digdarshan – Narendra Sharma

Question 8.
Do as directed:
(a) Complete the graphical description

Answer:

(2)

Answer:

(b) Show the progress of Indian television Time-line:

Answer:

Question 9.
Explain the following concepts:

(a) Electronic or Digital Journalism or Web Journalism.
Answer:

  1. In the modem times, the computer and internet have become indispensable parts of printing and publishing process. Computer technology has led to the widespread practice of digital journalism.
  2. Websites run by newspapers are basically extensions of newspapers themselves. Modern periodicals are part of electronic or digital journalism.
  3. People get access to news through social media like Twitter, Instagram, Facebook, YouTube and from web news portals, web channels. This information is available in English and many other languages.
  4. Journalists working in this area today have to have many more skills than in the past when writing was the only requirement. Information available on these mediums should be reviewed critically and used with utmost care.

(b) E-newspapers
Answer:

  1. In recent times, e-newspapers have got prominent place in mass media.
  2. E-newspaper is not exactly like the printed one. In e-newspapers, news comes in sequence and not based on the nature and the importance of the news, like in printed newspaper e.g.. Front page news. Headline or Last page news.
  3. The news which we want to read has to be clicked and then it appears on the screen in detail.
  4. There is space provided for opinion of readers. In 1992, the first edition of the e-newspaper was published by ‘Chicago Tribune1.
  5. At present, almost all newspapers are available as e-newspapers and people can read them anytime, anywhere using the Internet or computer, tab, laptop or mobile.
  6. In recent times many newspapers have introduced e-newspapers. The e-newspapers are being received well by the readers.
  7. Learn to read e-newspapers with the help of your teachers.

Question 10.
Write short notes:
(a) Bengal Gazette:
Answer:

  • Bengal Gazette is the first newspaper which was started in India.
  • It was started by James Augustus Hickey, an Irish national.
  • It was first published on 29th January, .1780. It was also called “Calcutta General Advertiser’.
  • Bengal Gazette laid the foundation of newspaper in India.

(b) News printed in ‘Darpan’:
Answer:
The ‘Darpan newspaper started by Balshastri Jambhekar printed all types of news like political, economic, social and cultural. Some of them are mentioned below:

  • The Accounts of Expenditure from the Three Administrative Divisions of the East India Company.
  • The Danger of Russian Attack on the Nation.
  • Appointment of a Committee for Cleanliness of the City.
  • Remarriage of Hindu Widows.
  • The Inception of Theatre at Calcutta.
  • Achievements of Raja Ram Mohan Roy in England. All these reports published in the paper throw light on various situations/events of those days.

(c) Television:
Answer:

  • The first President of India, Dr. Rajendra Prasad inaugurated Delhi Doordarshan Centre.
  • Mumbai Doordarshan started to telecast its programmes on 2nd October, 1972.
  • Colour television started on 15th August, 1982. The Indian government granted permission to private, national and international channels in 1991 to telecast in India.

Question 11.
Explain the following sentences with reason:
(a) Newspaper is an important medium of education and information.
Answer:

  • Newspapers report events which are interesting to the public. But the importance of newspaper stretches far beyond a passing humari interest in events.
  • It covers a miscellany of topical issues. News would involve matters of higher importance like war, global warming, education, national elections or trivial issues such as scandals, gossips and debates on minor controversies.
  • Newspapers have contributed significantly to the spread of literacy and the concept of human rights and democratic freedoms.
  • They are integral to the development of democracy. In fact, they can help in making the democracy stronger.
  • Newspapers not only report the events but continue to shape opinions in the global village.

(b) 6th January is observed as ‘Patrakar Din’ or ‘Journalist Day’ in Maharashtra.
Answer:

  • Balshastri Jambhekar started the first newspaper in Marathi on 6th January, 1832 in Mumbai.
  • He is referred to as the ‘First Editor’ as he was the first editor.
  • He laid the foundation of Marathi newspaper by starting Darpan. As 6th January is his birth date, it is observed as ‘Patrkar Din’ or ‘Journalists’ Day’ in Maharashtra.

(c) Television and history are closely related.
Answer:

  1. Television plays a major role in developing interest in history. While producing shows and serials based on history and mythology, it is essential to have an accurate knowledge of history and know the minute details.
  2. ‘Bharat Ek Khoj’, Raja Shivchhatrapati, Ramayana, Mahabharata are among the few popular serials based on history and mythology. While producing these serials.
  3. It was essential to know the prevalent social conditions, outfits, lifestyle, weaponry, lingual expressions of the people. Historians who had knowledge on these subjects are required.
  4. While making programmes, based on sportsmen, literature, war, historical events, forts and animal life, it is important to give history of their development in that particular period.
  5. While conducting discussions on television on topics like social problems, education, economics, health, it is important to give references from the past.

This shows that the knowledge of history is required in the making many of programmes on Television. Hence Television and history are closely related.

Question 12.
Answer the following question in 25-30 words:
(a) Explain the objectives of newspapers.
Answer:
The main objectives of newspapers are as follows:

  • Newspapers provide various local, national and international news to the people and inform them about daily events.
  • They narrate political, economic, cultural and social history of the country.
  • Newspapers fulfill their role as the fourth column of democracy by creating public awareness and becoming a medium of mass education.
  • They even condemn the anti-social elements in the society and support the weaker section.

(b) How is history helpful in the planning of the Akashvani programmes ?
Answer:
Akashvani broadcasts all types of programmes from celebration of independence day to entertainment programmes. In planning these programmes, the knowledge of history is essential.

  1. Akashvani invites historians as experts for discussions while presenting programmes on various occasions such as the anniversaries of births and deaths of national leaders, anniversaries of historical events; speeches of all Prime Ministers/Presidents.
  2. Programmes like ‘On This Day in History’ is a daily programme which highlights importance of that day and date in history.
  3. Information has to be verified by historians before it reaches the people. Lectures on the contributions of various national leaders need to be supported by historical information. In the following ways history is helpful in the planning of Akashvani programmes.

(c) How were the message conveyed to the people in olden days?
Answer:
The following were a few means used to convey messages to the people in olden days:

  • A town crier would run on the streets beating drums and crying out important news according to the orders of the king.
  • So, the news would spread among people by word of mouth.
  • Inscriptions with royal decrees were placed at public places.

Question 13.
Read the following passages and answer the questions:”
(a) Which programmes are broadcasted by Akashvani?
Answer:

  • Initially, Akashvani broadcasted government programmes and schemes.
  • Later it broadcasted various entertainment and literary programmes.
  • Akashvani presents various programmes for creating awareness.
  • Special programmes are also broadcasted for farmers, workers, youth and women.

(a) On which book is the serial ‘Bharat Ek Khoj’ based on?
Answer:
The Serial Bharat Ek Khoj is based on ‘Discovery of India’, a book written by Pandit Jawaharlal Nehru.

(b) Who directed the serial ‘Bharat Ek Khoj’?
Answer:
The serial was directed by Shyam Benegal.

(c) Which factors/aspects of Indian history are depicted in ‘Bharat Ek Khoj’? OR Why was ‘Bharat Ek Khoj’ a serial telecasted by Doordarshan admired in all parts of India?
Answer:
The television serial ‘Bharat Ek Khoj’ presented social, political and economic life from ancient to the modem period in India.

  1. It portrayed various aspects of Indian history like Harappan civilisation, Vedic history and the interpretation of epics like Mahabharata and Ramayana.
  2. It used the technique of dramatisation effectively to recreate the Mauryan period and show the impact of Turk-Afghan invasions.
  3. The Mughal period and their contributions which have long-lasting effect on social and cultural fabric of India is shown. The rise of Bhakti movement, role of Chhatrapati Shivaji Maharaj in getting swarajya is portrayed.
  4. The last episodes (finale) of the serial narrate social movements and India’s freedom struggle in modem period.

Thus, the serial effectively portrayed the journey of India from Harappan civilisation to the modern period and therefore was admired in all parts of India.

Question 14.
Answer the following questions in detail:
(a) What were the different means of communication known around the world before the advent of newspaper?
Answer:
The following means of communication were used to convey news before the advent of newspaper:

  1. Inscriptions with royal decrees placed at public places was a custom in Egypt. Emperor Ashoka followed the sam method to reach out to his subjects.
  2. In the Roman Empire, roytil decrees were written on papers and those were distribute’d in all regions. It also contained information of various events taking place in the nation and its capital.
  3. During, the reign of’ Julius Caesar ‘Acta Diurna’, meaning acts of everyday used to be placed at public places in Rome.
  4. In the 7th century C.E., in China, royal dictates were distributed among people at public places.
  5. In England handouts were distributed occasionally among people at public places giving information about war or any important events.
  6. Travellers arriving from different faraway places would add spice to stories from those places and narrate the same to local people. The ambassadors of a king posted at various places would send back important news to the royal court.

(b) Write information on Periodicals based on its types.
Answer:
Magazines and journals which are published at regular intervals are known as Periodicals.
Types:

  • They are categorised as weekly, biweekly, monthly, bimonthly, quarterly, six monthly and annual.
  • There are some chronicles which are published at no fixed time.

Classification: Periodicals can be classified as popular and scholarly.

  • If a periodical aims at specialists and researchers, it is a ‘journal1. Articles are generally written by experts in the subject.
  • Popular periodicals are magazines published with variety of content. They can be on fashion, sports, entertainment and films.
  • Bharatiya Itihas ani Sanskruti and Marathwada Itihas Parishad Patrika are periodicals of present times. Periodicals are an important source to study history.

(c) Write about the important role of newspaper in the freedom struggle.
Answer:

  1. The press was the chief instrument for carrying out the political tasks and propagation of nationalist ideology.
  2. Both English and Vernacular press started by prominent “leaders like Gopal Ganesh Agarkar and Lokmanya Tilak acted as catalyst to the freedom struggle. They started ‘Kesari’ and ‘Maratha’ in 1881.
  3. Newspapers played a great role in building up an increasingly strong national sentiment and consciousness among people. It was an instrument to arouse, train, mobilise and consolidate nationalist public opinion.
  4. The newspapers were an effective tool in the hands of social reformers. They exposed social evils such as child marriage, ban on remarriage of the widows, inhuman institution as untouchability, caste fetters, etc. It became a weapon in their hands to educate masses.
  5. A comparative study was presented in newspaper on western education, knowledge and national education.
  6. Newspapers also discussed political institutions in India and the west. The main aim of these newspapers was not to gain profit but to serve the people.

(d) Give a short account of the development of Indian television.
Answer:

  1. Television service started in India in 1959. Dr. Rajendra Prasad, the first Indian President, inaugurated the Delhi Doordarshan centre.
  2. Mumbai centre began to telecast its programmes on 2nd October 1972. Colour television was introduced in India on 15th August 1982.
  3. The national telecast began in 1983. Doordarshan started Channels like DD Sports, DD Metro, news, etc. along with 10 regional channels.
  4. In the year 1991, the Indian government gave permission to private, national and international channels to telecast in India.
  5. Presently there are more than 800 national and regional channels. Some of them are exclusive news, sports, music, movies and religious channels which telecast programmes 24 hours a day.

(e) Distinguish between Newspapers and Magazines.
Answer:
Newspapers and magazines differ in their format, objectives and duration of getting published. The differences are noted below:

Newspapers Magazines
1. Newspapers document the current events. 1. Magazines give no importance to current news.
2. News, articles, columns, editorials have importance in a newspaper. 2. Magazines give preferences to particular subject and publish articles on it.
3. Newspapers are also called ‘Dailies’ as they are published every day. 3. Duration of publication of magazine varies. Some are published weekly, fortnightly, monthly and annually.
4.. The main purpose of newspaper is to report local, national and international news. 4. Instead of providing news, their content is entertaining and knowledge-based.
5. Newspapers make the people aware of the events happening in the society. They do not stick to any one subject. 5. Magazines are about a specific topic. On the basis of their appearance, size, readability, content and audience, magazines differ from newspapers.
6. Newspapers mostly write about current news. Whatever happens in the world appears in the newspaper within a span of 24 hours. It shapes public opinion and keep people updated about the activities of the government. 6, As magazines have lot of detailed information on specific topics they are considered as historical source.

Brain Teaser

Across:

  • Referred to as the ‘First Editor’.
  • A newspaper representing masses of the Indian society (Bahujan Samaj).
  • Tryambak Shankar Shejwalkar edited this journal.
  • Letters by Lokhitvadi.

Down:

  • The history of French Revolution was published in this newspaper.
  • Newspaper started by James Augustus Hickey.
  • First monthly magzine in Marathi.
  • Pandit Narendra Sharma suggested this name for AIR.Maharashtra Board Class 10 History Solutions Chapter 5 Mass Media and History 10

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ

Balbharti Maharashtra State Board Class 10 Hindi Solutions Hindi Lokvani Chapter 7 दो लघुकथाएँ Notes, Textbook Exercise Important Questions and Answers.

Maharashtra State Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ

Hindi Lokvani 10th Std Digest Chapter 7 दो लघुकथाएँ Textbook Questions and Answers

स्वाध्याय :

सूचना के अनुसार कृतियाँ कीजिए :

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ 1
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ 2

2. घटनाक्रम के अनुसार वाक्य लिखिए। .

प्रश्न 1.
घटनाक्रम के अनुसार वाक्य लिखिए। .

  1. बचपन में बाबू जी से की फरमाइशों का पुलिंदा था।
  2. आज शाम वह बचपन के अपने कमरे में घुसा।
  3. झटपट कागज की एक पर्ची बनाई।
  4. वह एक-एक इबारत पढ़ने लगा।

उत्तर:

  1. आज शाम वह बचपन के अपने कमरे में घुसा।
  2. बचपन में बाबू जी से की फरमाइशों का पुलिंदा था।
  3. वह एक-एक इबारत पढ़ने लगा।
  4. झटपट कागज की एक पर्ची बनाई।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ

3. कृति पूर्ण कीजिए।

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ 3
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ 4

4. रिश्ते लिखिए। काका

प्रश्न 1.
रिश्ते लिखिए। काका

  1. अनिता – राघवेंद्र = …………………..
  2. अम्मा – अनिता = …………………..
  3. बच्चे – बाबूजी = …………………..
  4. बाबू जी – अनिता = …………………..

उत्तर:

  1. पली-पति
  2. सास व बहू
  3. पोते व दादा जी
  4. ससुर व बहू गद्यांश:

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ

5. पाठ में प्रयुक्त एकवचन और बहुवचन शब्दों की सूची बनाइए। 

प्रश्न 1.
पाठ में प्रयुक्त एकवचन और बहुवचन शब्दों की सूची बनाइए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ 5
उत्तर:

एकवचन बहुवचन
1. वर्ष 1. लघुकथाएँ
2. कस्बा 2. महीने
3. एलबम 3. कोने
4. बॉक्स 4. पर्चियाँ
5. जलेबी 5. आँखों
6. पेंसिल 6. परिजनों
7. शूज 7. बुजुर्गों
8. वस्तु 8. बच्चों
9. पर्ची 9. फरमाइशों
10. जेब 10. किताबें

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ

अभिव्यक्ति :

प्रश्न 1.
‘व्यवहार से संस्कार झलकते हैं।’ इस विधान को सोदाहरण स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
हम संसार में जो कुछ करते हैं वह व्यवहार है। व्यवहार हमारे व्यक्तित्व को दर्शाता है। संस्कार सनातन होता है। व्यक्ति के हर रोज के व्यवहार में संस्कार के दर्शन होने चाहिए। जिस व्यक्ति के व्यवहार से संस्कार झलकते हैं, उसे सभी याद करते हैं। ऐसा व्यक्ति मृत्यु के बाद भी अमर हो जाता है। भारत के भूतपूर्व राष्ट्रपति एवं महान वैज्ञानिक डॉ. अब्दुल कलाम जी का भी सभी के साथ बहुत ही अच्छा व्यवहार था। उनके व्यवहार से सादगी एवं माधुर्य था। उनका जीवन व्यवहार एवं संस्कारों का ऐसा अद्वितीय मिश्रण था जिससे संपूर्ण दुनिया में वे प्रसिद्ध हुए। सभी के साथ प्रेम व शांति से पेश आना, दूसरों की मदद करने के लिए सदैव तत्पर रहना व दूसरों के दुख व दर्द को समझना; यह सबसे अच्छा व्यवहार है और इसी व्यवहार से व्यक्ति के संस्कार झलकते हैं।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ

उपयोजित लेखन :

प्रश्न 1.
निम्नलिखित परिच्छेद पढ़कर इस पर आधारित ऐसे चार प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर एक-एक वाक्य में हों।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ 6.1
उत्तरः

  1. कोढ़ियों की सेवा कौन करती थी?
  2. परदुखकातर व निर्मल हृदय वाले लोगों के नाम बताइए।
  3. गद्यांश में कौन-सी संस्था का उल्लेख हुआ है?
  4. लेखक के शब्दकोश में कौन-से शब्द नहीं है?

Hindi Lokvani 10th Std Textbook Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ Additional Important Questions and Answers

(अ) निम्नलिखित गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति अ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ 7

प्रश्न 2.
ऐसे प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्नलिखित शब्द हों
i. पाँच
ii. मुंबई
उत्तर:
i. राघवेंद्र ने कितने कमरों का फ्लैट खरीदा है?
ii. राघवेंद्र का फ्लैट कौन से शहर में है?

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ

प्रश्न 3.
निम्नलिखित असत्य विधान को सत्य करके लिखिए।)
i. मुंबई ही बाबू जी के लिए जन्म और कर्मभूमि रही है।
उत्तर :
पैतृक कस्बा ही बाबू जी के लिए जन्म और कर्मभूमि रही है।

प्रश्न 4.
किसने, किससे कहा?
i. “हमें वहाँ के अलावा और कहीं ज्यादा अच्छा नहीं लगता।”
उत्तर :
बाबू जी ने राघवेंद्र से कहा।

प्रश्न 5.
संजाल पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ 8

कृति अ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के अर्थ लिखिए।
i. पैतृक
ii. कस्बा
उत्तर:
i. पुश्तैनी
ii. छोटा शहर या नगर

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ

प्रश्न 2.
निम्नलिखित अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।

  1. पिता संबंधी या पुरखों का –
  2. जुड़ा या मिला हुआ –
  3. बड़ा नगर –

उत्तरः

  1. पैतृक
  2. संयुक्त
  3. महानगर

प्रश्न 3.
विलोम शब्द लिखिए।

  1. जन्म × ……….
  2. कम × ………….
  3. इच्छा × ……….
  4. प्यार × ………..

उत्तर :

  1. मरण
  2. ज्यादा
  3. अनिच्छा
  4. नफरत

प्रश्न 4.
गद्यांश में से विदेशी शब्द ढूँढ़कर लिखिए।
उत्तर :
i. फ्लैट

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ

प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्दों में उचित प्रत्यय लगाकर नए शब्द तैयार कीजिए।
i. दिन
ii. वर्ष
उत्तर :
i. दिन + इक = दैनिक
ii. वर्ष + इक = वार्षिक

प्रश्न 6.
निम्नलिखित शब्दों के समोच्चारित भिन्नार्थक शब्द लिखिए।

  1. कम
  2. दिन
  3. दस

उत्तर:

  1. काम
  2. दीन
  3. दास

कृति अ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘संयुक्त परिवार के लाभ’ इस विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर :
एक परिवार में जब सभी परिवार के सदस्य दूसरी पीढ़ी के सदस्यों के साथ मिल-जुलकर रहते हैं तब हम उसे संयुक्त परिवार कहते हैं। संयुक्त परिवार समस्याओं में हमारा सहायक बनता है। विपत्ति के समय सभी एक-दूसरे की सहायता करने के लिए आगे आते हैं। इस प्रकार संयुक्त परिवार में भावनात्मक सहयोग होता है। जब परिवार एक साथ रहता है तब त्योहार मनाने की खुशी कुछ अलग ही होती है। संयुक्त परिवार में आपसी समायोजन होता है।

संयुक्त परिवार में प्रत्येक व्यक्ति अपने विचार साझा करता है और एक सही निर्णय लिया जाता है जिससे सबका भला हो । संयुक्त परिवार में बुजुर्ग का मार्गदर्शन बहुत ही महत्त्वपूर्ण होता है। संयुक्त परिवार में रहने से बच्चे अधिक आज्ञाकारी एवं संस्कारी होते हैं। संयुक्त परिवार में रहने से कुल-व्यय बहुत ही कम होता है।

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(आ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ

कृति आ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
संजाल पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 7 दो लघुकथाएँ 9

प्रश्न 2.
निम्नलिखित गलत विधान सही करके लिखिए।
i. राघव ने पर्ची पर लिखा कि बाबू जी और अम्मा उसके 4. साथ पैतृक कस्बे में आकर रहें।
उत्तर:
राधव ने पर्ची पर लिखा कि बाबू जी और अम्मा उसके साथ मुंबई में आकर रहें।

ii. राघव को विश्वास था कि बाबू जी उसकी अर्जी को अस्वीकार कर देंगे।
उत्तरः
राघव को विश्वास था कि बाबू जी उसकी अर्जी को स्वीकार कर देंगे।

कृति आ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची लिखिए।
i. खारिज
ii. बक्सा
iii. अर्जी
उत्तर:
i. अस्वीकृत
ii. डिब्बा
iii. प्रार्थनापत्र, निवेदन

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प्रश्न 2.
अनेक शब्दों के लिए एक शब्द लिखिए।

  1. कागज, कपड़े आदि की बँधी बड़ी गठरी –
  2. वाक्य की बनावट या रचना –
  3. निवेदन अथवा प्रार्थना करने के लिए लिखा गया पत्र –
  4. जिसे आश्वासन मिला हो –

उत्तर:

  1. पुलिंदा
  2. इबारत
  3. अर्जी
  4. आश्वत

प्रश्न 3.
विलोम शब्द लिखिए।

  1. पुरानी × ……………….
  2. अंदर ×…………………
  3. खारिज × ……………….

उत्तर:

  1. नई
  2. बाहर
  3. स्वीकृत

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प्रश्न 4.
गद्यांश में से विदेशी शब्द छाँटकर लिखिए।
उत्तर:

  1. पॉलीथिन
  2. कोर्स
  3. फुटबॉल
  4. बॉक्स
  5. एक्स्ट्रा
  6. ड्रेस
  7. शूज

प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्दों के श्रुतिसम भिन्नार्थक शब्द लिखिए।

  1. जेब
  2. कम
  3. डाल
  4. लकड़ी

उत्तर:

  1. जब
  2. काम
  3. दाल
  4. लड़की

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कृति आ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘बचपन के वे दिन सुहावने’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर:
बचपन के दिन बहुत प्यारे होते हैं। वे कभी भुलाए नहीं जा सकते। जैसे-जैसे हम बड़े होते जाते हैं, वैसे-वैसे बचपन के दिन पीछे छुट जाते हैं। फिर भी हम बचपन के उन यादगार पलों को नहीं भूल सकते हैं। बार-बार हमें उनकी याद आती रहती है। बचपन की अपनी मधुर यादों में माता-पिता, भाई-बहन, यारदोस्त, स्कूल के दिन, मौज-मस्ती आदि सब कुछ याद आता रहता है।

बचपन में दिन भर गुल्ली-डंडा खेलना, दोस्तों के साथ धूम मचाना, आम के पेड़ पर चढ़ना आदि के स्मरण से ‘कोई लौटा दे मेरे वे बीते हुए दिन’ इस गीत की याद आ जाती है। बचपन में सभी चिंतामुक्त जीवन जीते हैं। बचपन में खेलने व उछलने-कूदने में बड़ा आनंद आता है। यही कारण है कि सबको बचपन के दिन सुहावने लगते हैं।

(इ) गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति इ (1): आकलन कृति

प्रश्न 1.
ऐसे प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्नलिखित शब्द हों –
i. सुरेश
ii. बुजुर्गों
उत्तर:
i. अशोक के पारिवारिक मित्र का नाम बताइए?
ii. सुरेश ने बचपन में अपने परिजनों को किसकी सेवा करते देखा है?

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कृति इ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
गद्यांश में से शब्द-युग्म ढूँढकर लिखिए।
उत्तर:
i. बुरा-भला
ii. दिन-रात

प्रश्न 2.
वचन बदलिए।
i. बात
ii. पैसा
उत्तर:
i. बातें
ii. पैसे

प्रश्न 3.
गद्यांश में से विदेशी शब्द छाँटकर लिखिए।
उत्तर :
i. इन्वेस्टमेंट
ii. सेंटर

प्रश्न 4.
गद्यांश में से विलोम शब्द ढूँढकर लिखिए।
उत्तर:
i. बुरा × भला
ii. दिन × रात

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प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्दों में उचित प्रत्यय लगाकर नए शब्द तैयार कीजिए।

  1. ईमानदार
  2. परिवार
  3. भारत

उत्तर:

  1. ईमानदार + ई = ईमानदारी
  2. परिवार + इक = पारिवारिक उत्तर. शापवर्गीय
  3. भारत + ईय = भारतीय

प्रश्न 6.
‘परिजन’ इस शब्द में से उचित उपसर्ग पहचानिए और संबंधित उपसर्ग से दो नए शब्द बनाइए।
उत्तरः
i. परिजन : उपसर्ग : परि
ii. नए शब्द : परिसंवाद, परिवर्तन

प्रश्न 7.
पर्यायवाची शब्द लिखिए।
i. अचरज
ii. फीकी
उत्तर:
i. आश्चर्य
ii. नौरस

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प्रश्न 8.
निम्नलिखित शब्द का अनेकार्थी शब्द लिखिए। प्रत्यय
i. फीकी
उत्तरः
नीरस, स्वादहीन, धुंधला, दुर्बल, सामान्य

दो लघुकथाएँ Summary in Hindi

लेखिक-परिचय :

जीवन-परिचय : संतोष सुपेकर जी का जन्म 1967 में मध्य प्रदेश के उज्जैन शहर में हुआ। ये एक आधुनिक हिंदी साहित्यकार हैं। इन्होंने पत्रकारिता एवं जनसंचार क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य किया है। पत्र, कविता, लघुकथा, कहानी, समीक्षा, व्यंग्यलेख आदि साहित्य की विधाओं में इन्होंने लेखन कार्य किया है। इनके द्वारा लिखे गए लेख विविध पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित होते रहते हैं।
प्रमुख कृतियाँ : ‘साथ चलते हुए’, ‘हाशिए का आदमी’, ‘बंद आँखों का समाज’, ‘हँसी की चीखें” (लघुकथा संग्रह), ‘चेहरों के आरपार’, ‘यथार्थ के यक्ष प्रश्न’ (काव्य संग्रह) आदि।

गद्य-परिचय :

लघुकथा : लघुकथा कहानी से लघु होती है। भले ही वह आकार से लघु होती है, पर वह गागर में सागर भरने का काम करती है। वह पाठकों को चिंतन करने के लिए प्रेरित करती है।
प्रस्तावना : अर्जी : इस लघुकथा में बेटे का अपने माता-पिता के प्रति अपनापन, माता-पिता का अपने बच्चे के प्रति स्नेह तथा उनका
अपनी जन्मभूमि के प्रति जुड़ाव को अभिव्यक्त किया गया है। इन्वेस्टमेंट : इस लघुकथा में जीवन में संस्कारों का होना बहुत ही महत्त्वपूर्ण होता है, संस्कारों के बिना जीवन परिपूर्ण नहीं बन सकता और व्यक्ति के व्यवहार से संस्कार झलकने चाहिए, इसे उदाहरण के द्वारा स्पष्ट किया है।

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सारांश :

अर्जी : ‘अर्जी’ का अर्थ है – निवेदन अथवा प्रार्थना। प्रस्तुत लघुकथा का नायक राघव अपनी पत्नी व बच्चों के साथ मुंबई में रहता है। वह अपने बच्चों को दादा-दादी का प्यार देना चाहता है। इसी कारण उसने मुंबई में पाँच कमरों का फ्लैट खरीदा है। लेकिन राधव के माता-पिता को अपने पैतृक कस्बे में ही रहना अच्छा लगता है।

वे महानगर में चार-आठ दिनों से ज्यादा नहीं रह सकते हैं। हर वर्ष की तरह राघव अपनी पत्नी व बच्चों के साथ पैतृक कस्बे में आया हुआ है। वह बचपन में जिस कमरे में रहता था उस कमरे में जाकर अपना बक्सा खोलता है जिसमें उसकी पुरानी किताबें, पुरानी फोटो एलबम आदि हैं।

उसमें एक पॉलीथिन की एक थैली में कुछ पर्चियाँ भी हैं। उन पर्चियों को देखकर उसकी बचपन की यादें तरोताजा हो जाती हैं। बचपन में उसे जो भी कुछ चाहिए होता था, उसे वह पर्ची पर लिखकर अपने पिता की जेब में डाल देता था। उन पर्थियों को पढ़ते समय उसकी आँखों से आँसू आने लगते हैं। उसके बाबू जी भी उसकी माँगों को पूरा करते थे।

अब राघव बड़ा हो गया है। अब वह चाहता है कि उसके माता-पिता साल में कम से कम दो-तीन महीने तक उसके पास मुंबई में आकर रहें। वह झटपट कागज की एक पर्ची पर अपनी चाह को लिखकर अपने अम्मा-बाबू को मुंबई में साथ रहने के लिए कहता है और उस पर्ची को अपने बाबूजी के कुर्ते की जेब में डाल देता है।

उसे आशा है कि इस बार भी उसके बाबूजी उसे निराश नहीं करेंगे और वे उसकी अर्जी जरूर मान जाएंगे। इन्वेस्टमेंट : इस लघुकथा में सुरेश के व्यवहार एवं उसके कार्य के बारे में जानकर हमें उसके संस्कारी होने का पता चलता है। उसकी सौतेली माँ है। वह हमेशा उसे बुरा-भला कहती थी। फिर भी वह उसकी दिन-रात सेवा करता है। वह इन्वेस्टमेंट सेंटर चलाता है।

बाहर पैसे का इन्वेस्टमेंट करना उसका कार्य है। ठीक उसी प्रकार वह अपने घर में भी संस्कारों का इन्वेस्टमेंट करता है। उसने बचपन से सीखा है कि बुजुर्गों की सेवा करनी चाहिए। इसी कारण वह भी अपनी माँ की सेवा करता है। उसे आशा है कि उसे सेवा करते देखकर उसके बच्चों में भी भारतीय संस्कार विकसित होंगे।

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शब्दार्थ :

  1. पतृक – पुश्तैनी
  2. कस्बा – छोटा शहर
  3. खारिज – अस्वीकृत, बहिष्कृत
  4. बक्सा – डिब्बा
  5. अर्जी – प्रार्थनापत्र
  6. अचरज – आश्चर्य
  7. फीकी – नीरस
  8. सब्र – धीरज, सहन
  9. आश्वस्त – जिसे आश्वासन मिला हो, जिसे तसल्ली दी गई हो।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 ऐसा भी होता है

Balbharti Maharashtra State Board Class 10 Hindi Solutions Hindi Lokvani Chapter 6 ऐसा भी होता है Notes, Textbook Exercise Important Questions and Answers.

Maharashtra State Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 ऐसा भी होता है (पठनार्थ)

Hindi Lokvani 10th Std Digest Chapter 6 ऐसा भी होता है Textbook Questions and Answers

स्वाध्याय :

सूचना के अनुसार कृतियाँ कीजिए

प्रश्न 1.
कृति पूर्ण कीजिए
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उत्तर:
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 ऐसा भी होता है 2

2. उचित शब्द लिखिए। 

प्रश्न 1.
उचित शब्द लिखिए।

  1. सहमकर काँपने वाली –
  2. घोंसला उजड़ने पर रोने वाला –
  3. सुख-दुख बाँटने वाला –
  4. वृद्धाश्रम से चिट्ठी भेजने वाली –

उत्तर :

  1. कच्ची दीवार
  2. पखेरू या पंछी
  3. डाकिया
  4. बूढी माँ

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3. किरण शब्द की विशेषताएँ : 

प्रश्न 1.
किरण शब्द की विशेषताएँ :
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 ऐसा भी होता है 3
उत्तर :
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 ऐसा भी होता है 4

भाषा बिंदु :

प्रश्न 1.
आकृति में दिए गए वाक्य का काल पहचानकर निर्देशानुसार काल परिवर्तन कीजिए।
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 ऐसा भी होता है 5
उत्तरः
Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 ऐसा भी होता है 6.1

उपयोजित लेखन :

प्रश्न 1.
‘मेरा प्रिय त्योहार’ विषय पर 80 से 100 शब्दों में निबंध लिखिए।
उत्तरः
मेरा प्रिय त्योहार हमारा भारत देश त्योहारों का देश है। भारत में दीपावली, होली, नवरात्रि, गणेशचतुर्थी आदि तरह-तरह के त्योहार मनाए जाते हैं। प्रत्येक त्योहार की अपनी सांस्कृतिक एवं आध्यात्मिक विशेषता होती है। इस प्रकार प्रत्येक त्योहार का अपना महत्त्व होता है। सभी को त्योहार अच्छे लगते हैं। मैं भी इसका अपवाद नहीं हूँ। मेरा प्रिय त्योहार दीपावली है। इसे दीवाली भी कहते हैं। दीपावली दीपों का त्योहार है।

यह त्योहार पाँच दिनों तक मनाया जाता है। धन त्रयोदशी, नरक चतुर्दशी, दीपावली, गोवर्धन पूजा और भैयादूज ये पाँच पर्व पाँच दिन मनाए जाते है। अमावस्या की अंधेरी रात जगमग दीपों से जममगाने लगती है। यह दृश्य बहुत ही मनोरम व अद्भुत होता है। इस दिन भगवान श्रीराम, माता सीता व भाई लक्ष्मण के साथ चौदह वर्ष का वनवास पूरा करके अयोध्या वापस पधारे थे। इसी कारण लोगों ने खुश होकर अपने घरों के द्वार पर भगवान के स्वागत हेतु दीप जलाए थे।

तब से यह शुभ दिन दीपावली के रूप में मनाया जाता है। यह त्योहार बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक है। दीपावली की शाम को लोग देवी लक्ष्मी और गणेश जी की पूजा करते हैं। बच्चे पटाखे छोड़ते हैं। इस दिन लोग अपने परिवार वालों के पास जाकर उनसे मिलते हैं और खुशियाँ बाँटते हैं, एकदूसरे को मिठाइयाँ बाँटते हैं। यह त्योहार शांति, भाईचारा व एकता का संदेश देता है। हमें एक-दूसरे के साथ प्रेम से रहना और एक-दूसरे के जीवन में खुशियाँ निर्माण करने का संदेश दीपावली से मिलता है। इसलिए हर्षित होकर मैं कहता हूँ –

“त्योहार है दीपावली का
सुख-समृद्धि और खुशहाली का।
बुराई के राक्षस को मन से भगाएँ
हृदय में शांति का दीपक जलाएँ।”

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Hindi Lokvani 10th Std Textbook Solutions Chapter 6 ऐसा भी होता है Additional Important Questions and Answers

(अ) निम्नलिखित पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति अ (1) आकलन कृति

प्रश्न 1.
उचित शब्द लिखिए।
i. थकी हारी
उत्तर :
i. सूरज की किरण

प्रश्न 2.
समझकर लिखिए।
i. कच्ची दीवार सहमी क्योंकि –
उत्तरः
मेघ गरजने लगे।

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ii. किरण ने धरती की गोद का सहारा लिया क्योंकि –
उत्तर:
सुबह से शाम तक प्रकाश देने की कार्य करने के बाद शाम को वह थक गई।

कृति अ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्दों के अर्थ पद्यांश में से ढूँढ़कर लिखिए।

  1. बादल
  2. सूर्य
  3. पवित्र
  4. धरती

उत्तर :

  1. मेघ
  2. रवि
  3. निर्मल
  4. धरा

प्रश्न 2.
विलोम शब्द लिखिए।
i. कच्ची × …….
ii. निर्मल × …….
उत्तर:
i. पक्की
i. मलिन

प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्द के अनेकार्थी शब्द लिखिए।
i. गोद
उत्तर:
i. पहलू, आँचल

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प्रश्न 4.
निम्नलिखित शब्द के वचन बदलिए।
i. दीवार
ii. किरण
उत्तर:
i. दीवारें
ii. किरणें

प्रश्न 5.
निम्नलिखित शब्द के श्रुतिसम भिन्नार्थक शब्द लिखिए।
i. काँपी
उत्तर:
i. कॉपी

कृति अ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
समाज के कमजोर वर्गों के उत्थान और उनकी प्रगति हेतु आप क्या कर सकते हैं? अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
समाज के कमजोर वर्गों के उत्थान और उनकी प्रगति हेतु हम विशिष्ट अभियान चला सकते हैं। उस अभियान के अंतर्गत हम दुर्बल घटकों में जागरूकता निर्माण करने का प्रयास करेंगे। ग्रामीण क्षेत्रों में इनकी संख्या अधिक होती है। अत: ग्रामीण क्षेत्रों का विकास करने हेतु हम अभियान चलाएंगे; ताकि सरकार ग्रामीण क्षेत्रों का विकास करने हेतु ठोस कदम उठाए। आज हमारे समाज में वंचित वर्गों को अच्छी शिक्षा नहीं मिल पा रही है। अत: उन्हें शिक्षा मिले इसके लिए हम प्रशासन का ध्यान उनकी ओर आकर्षित करने हेतु अभियान चलाएँगे। समाज में सामाजिक न्याय प्रस्थापित हो इसलिए व्यक्तिगत स्वार्थ से ऊपर उठकर हम आपसी प्रेम, भाईचारा, मानवता आदि नौतियों का पालन करेंगे।

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(आ) निम्नलिखित पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति आ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
सही विकल्प चुनकर लिखिए।
i. खुली आँखों ने जीवन भर देखे –
(अ) खुले सपने
(आ) बंद सपने
(इ) मनचाहे सपने
उत्तर:
(आ) बंद सपने

ii.बच्चों की जीवनरूपी पतंग माँ-बाप ने थाम ली इसलिए –
(अ) उन्होंने आसमान को छू लिया।
(आ) उन्होंने स्वर्ग को छू लिया।
(इ) उन्होंने अंतरिक्ष को छू लिया।
उत्तर:
(अ) उन्होंने आसमान को छू लिया।

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प्रश्न 2.
समझकर लिखिए।
i. वृक्षों के कटने का परिणाम –
उत्तर:
पंछियों का आशियाना उजड़ गया और वे रोने लगे।

प्रश्न 3.
उचित जोड़ियाँ लगाइए।

‘अ’ ‘ब’
1. तन (क) बंद
2. कद (ख) माटी
3. आशियाना (ग) काठी
4. सपने (घ) उजड़ा

उत्तर:

‘अ’ ‘ब’
1. तन (ख) माटी
2. कद (ग) काठी
3. आशियाना (घ) उजड़ा
4. सपने (क) बंद

प्रश्न 4.
कृति पूर्ण कीजिए।
उत्तर:
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प्रश्न 5.
उचित शब्द लिखिए।
i. स्वयं पर गुमान करने वाला –
उत्तर:
i. इंसान

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कृति आ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
निम्नलिखित शब्द के अनेकार्थी शब्द लिखिए।

  1. पतंग
  2. जीवन
  3. गुमान

उत्तर:

  1. फतिका, सूर्य
  2. पानी, जिंदगी
  3. अभिमान, अनुमान

प्रश्न 2.
निम्नलिखित तद्भव शब्द का तत्सम शब्द लिखिए।
i. माटी
ii. सपना
उत्तर:
i. मृदा
ii. स्वप्न

प्रश्न 3.
उपसर्ग व प्रत्यय लगाकर शब्द लिखिए।
i. जीवन
उत्तरः
उपसर्गयुक्त शब्द – आजीवन, प्रत्यय
युक्त शब्द – जीवनभर

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प्रश्न 4.
पर्यायवाची शब्द लिखिए।

  1. पखेरू
  2. तन
  3. आशियाना
  4. डोर

उत्तर:

  1. पक्षी
  2. शरीर
  3. घोंसला
  4. रस्सी

कृति आ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
वक्षों के कटने के दुष्परिणाम अपने शब्दों बताइए।
उत्तरः
आजकल शहरों को बसाने के लिए बड़े स्तर पर वृक्षों की कटाई हो रही है। इसके कई दुष्परिणाम सामने आ रहे हैं। अंधाधुंध पेड़ काटे जाने के कारण ऑक्सीजन की मात्रा कम हो रही है तथा हवा प्रदूषित होती जा रही है। शहरों में वायु-प्रदूषण की समस्या सबसे ज्यादा बढ़ गई है। लोगों को अस्थमा जैसी साँस लेने की समस्या, हृदय रोग आदि हो रहे हैं। पेड़ों की कटाई करने के कारण वन्यजीवों का अस्तित्व भी खतरे में पड़ गया है। कई प्रजातियाँ विलुप्त हो गई हैं और कुछ विलुप्त होने के कगार पर हैं।

पेड़ों की कटाई का प्राकृतिक जलवायु परिवर्तन पर प्रभाव पड़ रहा है। जिस कारण ग्लोबल वार्मिग जैसी समस्या उत्पन्न हो रही है। तापमान में वृद्धि हो रही है। पेड़ों की कटाई की वजह से भूमि का क्षरण हो रहा है। इंसान हरी-भरी जिंदगी से वंचित हो गया है। उसका जीवन परेशानी से भर रहा है।

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(इ) निम्नलिखित पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए।

कृति इ (1) : आकलन कृति

प्रश्न 1.
उचित शब्द लिखिए –
i. ठसा-सा रहने वाला –
ii. आसमान में उड़ने वाला –
उत्तर:
i.तरू
ii. पखेरू

प्रश्न 2.
समझकर लिखिए –
उत्तर:
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प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्द पढ़कर ऐसे दो प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर निम्न शब्द हों –
i. वृद्धाश्रम
ii. संस्कारों
उत्तर:
i. मैया कहाँ रहती है?
ii. तिजोरी किससे भरी थी?

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कृति इ (2) : शब्द संपदा

प्रश्न 1.
पद्यांश में से देशज शब्द ढूंढकर लिखिए।
उत्तर:
i. देशज शब्द : मैया, पखेरू, चिट्ठी
ii. तत्सम शब्द : तरू, वृद्ध

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प्रश्न 2.
निम्नलिखित तद्भव शब्द का तत्सम रूप लिखिए।
i. दुख
उत्तर:
i. दुःख

प्रश्न 3.
निम्नलिखित शब्दों के पर्यायवाची शब्द लिखिए।
i. चिट्ठी
i. झोला
उत्तर:
i. खत
ii. थैला

प्रश्न 4.
पद्यांश में से विलोम शब्द की जोड़ी ढूंढकर लिखिए।
उत्तर:
i. सुख × दुख

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कृति इ (3) : स्वमत अभिव्यक्ति

प्रश्न 1.
‘बढ़ती संस्कारहीनता’ विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तरः
समाज की सबसे छोटी इकाई परिवार होती है। परिवार में बच्चों को अच्छे संस्कार में डालकर सभ्य मनुष्य बनाया जाता है और इसी से सभ्य समाज का निर्माण होता है; परंतु संस्काररहित व्यक्तियों के कारण समाज में कई दुष्परिणाम देखने को मिल रहे हैं। संस्कारहीनता के प्रभाव से परिवार भी एक-दूसरे से अलग हो रहे है। एकाकी परिवार में बच्चे अपना समय कंप्यूटर या टी. वी. के साथ बिताते हैं।

टेलीविजन व वीडियो गेम ने पाश्चात्य संस्कृति को जन्म दिया है; जो सिर्फ उपभोक्तावाद को बढ़ावा दे रही है। इस कारण आज की पीढ़ी का जीवन मूल्यहीन हो गया है। आज की पीढ़ी धीरे-धीरे स्वार्थ के दलदल में फंसती जा रही है। कुछ लोग बुड़े माता-पिता को बोझ मानकर उन्हें वृद्धाश्रम भेज देते हैं। उन्हें उपेक्षित किया जाता हैं। आज व्यक्तिगत और सामाजिक सरोकार अलग-अलग हो गए है। समाज में चोरी, डकैती, लूटमार, दंगे-फसाद आदि कुरीतियों का बोलबाला है। संस्कारहीनता के कारण समाज की दुर्गति होती जा रही है। समाज में अनुशासनहीनता व अराजकता बढ़ रही है।’

ऐसा भी होता है Summary in Hindi

कवि-परिचय :

जीवन-परिचय : अभिषेक जैन जी आधुनिक साहित्यकार के रूप में हिंदी जगत में प्रसिद्ध हैं। कविता, कहानी, निबंध आदि विधाओं में इन्होंने लेखन किया है। जीवन के अनुभवों पर आधारित इनकी विविध रचनाएँ हिंदी पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित होती रहती हैं। इन्होंने हाइकु काव्य विधा में भी लेखन किया है। इनकी हाइकु रचनाएँ जीवन के समृद्ध अनुभवों का भंडार है।
प्रमुख कृतियाँ : अभिषेक जैन जी ने कविता, कहानी, निबंध आदि विविध विधाओं में लेखन किया है। अनुभवों पर आधारित इनकी रचनाएँ विविध पत्र-पत्रिकाओं में नियमित प्रकाशित होती हैं।

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पद्य-परिचय :

हाइकु काव्य : हाइकु एक जापानी काव्य विधा है। हाइकु यानी तीन पंक्तियों की कविता। यह विश्व की एक सबसे लघु कविता कही जाती है। हाइकु कविता 5 + 7 + 5 = 17 वर्ण के ढाँचे में लिखी जाती है। यह कविता आज भारत में सिर्फ हिंदी में ही नहीं, बल्कि मराठी, गुजराती, बंगाली, मलयालम आदि भाषाओं में भी लिखी जाती है।
प्रस्तावना : ‘ऐस भी होता है’ इस हाइकु में कवि अभिषेक जैन जी ने समाज में सबल घटकों द्वारा दुर्बलों पर होने वाले अत्याचार, गरीबी, थकान, वृक्षों के कटने के दुष्परिणाम, अनावश्यक अहं, वृद्धाश्रम के दर्द, संस्कारहीनता आदि विविध विषयों पर प्रकाश डाला है।

सारांश :

‘ऐसा भी होता है’ यह हाइकु काव्य है। कवि ने इस हाइकु के द्वारा विविध विषयों को अभिव्यक्त करने की कोशिश की है। समाज के सबल वर्ग दुर्बलों पर अपना रोब या अधिकार जमाते रहते हैं। उनके द्वारा किए गए अन्याय एवं शोषण से समाज के दुर्बल घटक सहम जाते हैं। सूरज प्रतिदिन अपने निर्मल किरणों से धरती को प्रकाशित करता रहता है। इसके बदले में वह धरती से किसी भी चीज की अपेक्षा नहीं करता।

ठीक उसी प्रकार सज्जन व्यक्ति दीन-दुखी लोगों के लिए अपना सर्वस्व अर्पण कर देते हैं। दिनभर सभी को रोशनी देने वाली किरण शाम होते ही थक जाती है और वह धरा की गोद में आकर विश्राम करती है। गरीब व्यक्ति की आशा-आकांक्षाएँ कभी भी पूर्ण नहीं होती। वह जीवनभर सपने देखते रहता है; फिर भी उसके सपने पूर्ण नहीं होते। वृक्षों को काटने से पंछियों का आशियाना यानी घोसला उजड़ जाता है। उनके आशियाने उजड़ने पर पक्षी रोने लगते हैं। माँ-बाप के अथक परिश्रम और सुसंस्कारों के कारण ही बच्चे आसमान को छूते हैं। व्यक्ति को अपने जीवन से अभिमान का त्याग कर अपने जीवन को सुंदर बनाना चाहिए।

संस्कारहीनता के कारण कई बच्चे बड़े हो जाने के बाद अपने माता-पिता को छोड़कर दूर जाकर अपने लिए अलग से बसेरा बना लेते हैं। डाकिए की तरह सभी को जीवन में आने वाली सुख-दुख की भावनाओं से प्रभावित न होकर अपना कार्य करते रहना चाहिए। अनेक तिरस्कारों के बावजूद माँ की ममता अपने बच्चों के लिए कम नहीं होती। संस्कारहीनता के कारण सामाजिक पतन हो रहा है। जिस कारण चारों ओर लूटमार और भगदड़ मची हुई है।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 ऐसा भी होता है

भावार्थ :

गरजे मेघ ………………………………………. कच्ची दीवार।
प्रस्तुत हाइकु में कवि ने बताया है कि आसमान में मेघों के गरजने पर एक कच्ची दीवार सहमकर काँपने लगी; वह बहुत डर गई। यहाँ गरजने वाले मेघ समाज के सबल वर्ग का प्रतिनिधित्व करते हैं और कच्ची दीवार समाज के दुर्बल वर्ग का प्रतिनिधित्व करती है। इसका अर्थ यह है कि समाज के सबल वर्ग दुर्बल वर्गों पर अपना रोब या अधिकार जमाते रहते हैं। उनके द्वारा किए गए अन्याय एवं शोषण से समाज के दुर्बल घटक सहम जाते हैं।

रवि चढ़ाए ………………………………………. धरा को अर्ध्व !
प्रस्तुत हाइकु में रवि यानी सूरज एक सज्जन व्यक्ति का प्रतीक है। सूरज प्रतिदिन अपने निर्मल किरणों से धरती को प्रकाशित करता है। बदले में वह धरती से किसी भी चीज की अपेक्षा नहीं करता। उसका कार्य निःस्वार्थ एवं मानवता के लिए होता है। ठीक उसी प्रकार सज्जन व्यक्ति दीन-दुखियों के लिए अपना सर्वस्व अर्पण कर देते हैं। इसके बदले में वे किसी भी प्रकार की चाह नहीं रखते हैं।

आ के पसरी ………………………………………. धरा की गोद।
प्रस्तुत हाइकु में बताया गया है कि दिनभर सभी को रोशनी देने वाली किरण शाम होते ही थक जाती है और वह धरा की गोद में आकर । विश्राम करती है। प्रकृति का यही नियम है। जो श्रम करता है; वह दिन ढलने के उपरांत थक जाता है। व्यक्ति दिनभर मेहनत करता है और फिर शाम होते ही वह थककर अपने घर आकर आराम करने लगता है।

खुली आँखो ने ………………………………………. बंद सपने।
प्रस्तुत हाइकु द्वारा समाज में व्याप्त गरीबों की स्थिति का चित्रण किया गया है। गरीब व्यक्ति की आशा-आकांक्षाएँ कभी भी पूर्ण नहीं । होती। वह जीवनभर सपने देखते रहता है; परंतु उसके सपने कभी भी पूर्ण नहीं होते।

कटते तरु ………………………………………. रोए पखेरू।
प्रस्तुत हाइकु में वृक्षों के कटने के दुष्परिणाम दिखाए गए हैं। वृक्षों को काटने से पंछियों का आशियाना यानी घोंसला उजड़ जाता है। वे । बेघर हो जाते हैं; जिस कारण वे दुखी होकर रोने लगते हैं।

बच्चे पतंग ………………………………………. छ्ते गगन।
बच्चों के जीवनरूपी पतंग की डोर माँ-बाप के हाथ में होती है। वे अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा और संस्कार देकर उनका जीवन संवारने की कोशिश करते हैं। माँ-बाप के अथक परिश्रम और सुसंस्कारों के कारण ही बच्चे आसमान को छूते हैं यानी जीवन में ऊँचा उठकर सफलता की मंजिल हासिल करते हैं।

तन माटी का ………………………………………. कद काठी का।
प्रस्तुत हाइकु में कवि अनावश्यक अहं पर अपने विचार व्यक्त करते हैं। व्यक्ति का शरीर मिट्टी से बना है; जो एक दिन नष्ट होने वाला है। फिर भी व्यक्ति को अपनी इस छोटी-सी जिंदगी पर बहुत बड़ा अभिमान होता है। मनुष्य को अपने जीवन से अभिमान का त्याग कर अपने जीवन को सुंदर बनाना चाहिए। उसे अनावश्यक अहं नहीं करना चाहिए।

उड़ा पखेरू ………………………………………. ठगा-सा तम्।
प्रस्तुत हाइकु मनुष्य की कृतघ्नता पर करारा व्यंग्य करती है। पक्षी का बच्चा जब तक छोटा होता है यानी उसके पंखों में जब तक उड़ने की शक्ति नहीं आती है, तब तक वह वृक्ष पर ही रहता है। लेकिन जब उसके पंखों में उड़ने की शक्ति आ जाती है; तब वह उस वृक्ष को छोड़कर अनंत आकाश में विचरण करने के लिए उड़ जाता है। उसे जाते देखकर पेड़ विस्मित, सा रह जाता है। उसी प्रकार संस्कारहीनता के कारण कई बच्चे बड़े हो जाने के बाद अपने माता-पिता को छोड़कर दूर जाकर अपने लिए अलग बसेरा बना लेते हैं। इससे माता-पिता किंकर्तव्यविमूढ हो जाते हैं।

हाकिया चला ………………………………………. भर के झोला।
प्रस्तुत हायक में लोगों के आने वाले खत बाँटने वाला डाकिया के बारे में है। कुछ पत्रों से खशी झलकती है तो कछ पत्र दुखद गहराई का अहसास दिलाते हैं। फिर भी किसी की भी भावना से सरोकार न रखते हुए डाकिया अपनी झोली भरकर पत्र बाँटने का काम करता रहता है। डाकिए की तरह हमें भी जीवन में आने वाले सुख-दुख की भावनाओं से प्रभावित न होकर अपना कार्य करते रहना चाहिए।

मैया की आई ………………………………………. कैसे हो बेटा।
माता-पिता अपनी संतान पर अपना सर्वस्व लुटाकर उसका लालन-पोषण करके उसे कामयाब इंसान बनाते हैं। वही संतान बाद में अपने माता-पिता को वृद्धाश्रम में भेज देते हैं। फिर भी उसकी इस निर्दयता को माँ भूल जाती है और वह उसे वृद्धाश्रम से खत लिखकर उसका हाल जानना चाहती है। माँ आखिर माँ ही होती है। वह अपने बेटे द्वारा किए गए अत्याचारों को भूलकर मन ही मन में याद करती रहती है।

हो गई चोरी ………………………………………. लुट गया मैं।
प्रस्तुत हाइकु में बताया गया है कि आज हमारे समाज में संस्कारों का अभाव है। समाज से जीवन-मूल्यों का पतन हो रहा है। संस्काररूपी तिजोरी का समाज से हनन हो गया है। आज समाज में संस्कारों का धीरे-धीरे लोप होता आ रहा है। इस कारण समाज में समस्याएँ उभरकर सामने आ रही हैं। संस्कारहीनता के कारण सामाजिक पतन हो रहा है। जिस कारण चारों ओर लूटमार और भगदड़ मची हुई है।

Maharashtra Board Class 10 Hindi Lokvani Solutions Chapter 6 ऐसा भी होता है

शब्दार्थ :

  1. डाकिया – चिट्ठी बाँटनेवाला
  2. तरू – वृक्ष, पेड़
  3. पखेरू – पंछी, पक्षी
  4. गुमान – अभिमान, गर्व, घमंड
  5. कद – काठी, शरीर की बनावट
  6. रवि – सूर्य
  7. निर्मल – पवित्र
  8. धरा – धरती
  9. तन – शरीर
  10. आशियाना – घोंसला
  11. डोर – रस्सी
  12. चिट्ठी – खत
  13. झोला – थैला

मुहावरे :

ठगा-सा रह जाना – किंकर्तव्यविमूढ़ हो जाना या विस्मित हो जाना।

ऐसा भी होता है Summary in Hindi

ऐसा भी होता है कवि-परिचय

जीवन-परिचय : अभिषेक जैन जी आधुनिक साहित्यकार के रूप में हिंदी जगत में प्रसिद्ध हैं। कविता, कहानी, निबंध आदि विधाओं में इन्होंने लेखन किया है। जीवन के अनुभवों पर आधारित इनकी विविध रचनाएँ हिंदी पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित होती रहती हैं। इन्होंने हाइकु काव्य विधा में भी लेखन किया है। इनकी हाइकु रचनाएँ जीवन के समृद्ध अनुभवों का भंडार है।

प्रमुख कृतियाँ : अभिषेक जैन जी ने कविता, कहानी, निबंध आदि विविध विधाओं में लेखन किया है। अनुभवों पर आधारित इनकी रचनाएँ विविध पत्र-पत्रिकाओं में नियमित प्रकाशित होती हैं।

ऐसा भी होता है पद्य-परिचय

हाइकु काव्य : हाइकु एक जापानी काव्य विधा है। हाइकु यानी तीन पंक्तियों की कविता। यह विश्व की एक सबसे लघु कविता कही जाती है। हाइकु कविता ५ + ७ + ५ = १७ वर्ण के ढाँचे में लिखी जाती है। यह कविता आज भारत में सिर्फ हिंदी में ही नहीं, बल्कि मराठी, गुजराती, बंगाली, मलयालम आदि भाषाओं में भी लिखी जाती है।

प्रस्तावना : ‘ऐस भी होता है’ इस हाइकु में कवि अभिषेक जैन जी ने समाज में सबल घटकों द्वारा दुर्बलों पर होने वाले अत्याचार, गरीबी, थकान, वृक्षों के कटने के दुष्परिणाम, अनावश्यक अहं, वृद्धाश्रम के दर्द, संस्कारहीनता आदि विविध विषयों पर प्रकाश डाला है।

ऐसा भी होता है सारांश

‘ऐसा भी होता है’ यह हाइकु काव्य है। कवि ने इस हाइकु के द्वारा विविध विषयों को अभिव्यक्त करने की कोशिश की है। समाज के सबल वर्ग दुर्बलों पर अपना रोब या अधिकार जमाते रहते हैं। उनके द्वारा किए गए अन्याय एवं शोषण से समाज के दुर्बल घटक सहम जाते हैं। सूरज प्रतिदिन अपने निर्मल किरणों से धरती को प्रकाशित करता रहता है। इसके बदले में वह धरती से किसी भी चीज की अपेक्षा नहीं करता।

ठीक उसी प्रकार सज्जन व्यक्ति दीन-दुखी लोगों के लिए अपना सर्वस्व अर्पण कर देते हैं। दिनभर सभी को रोशनी देने वाली किरण शाम होते ही थक जाती है और वह धरा की गोद में आकर विश्राम करती है। गरीब व्यक्ति की आशा-आकांक्षाएँ कभी भी पूर्ण नहीं होती। वह जीवनभर सपने देखते रहता है; फिर भी उसके सपने पूर्ण नहीं होते। वृक्षों को काटने से पंछियों का आशियाना यानी घोसला उजड़ जाता है।

उनके आशियाने उजड़ने पर पक्षी रोने लगते हैं। माँ-बाप के अथक परिश्रम और सुसंस्कारों के कारण ही बच्चे आसमान को छूते हैं। व्यक्ति को अपने जीवन से अभिमान का त्याग कर अपने जीवन को सुंदर बनाना चाहिए। संस्कारहीनता के कारण कई बच्चे बड़े हो जाने के बाद अपने माता-पिता को छोड़कर दूर जाकर अपने लिए अलग से बसेरा बना लेते हैं।

डाकिए की तरह सभी को जीवन में आने वाली सुख-दुख की भावनाओं से प्रभावित न होकर अपना कार्य करते रहना चाहिए। अनेक तिरस्कारों के बावजूद माँ की ममता अपने बच्चों के लिए कम नहीं होती। संस्कारहीनता के कारण सामाजिक पतन हो रहा है। जिस कारण चारों ओर लूटमार और भगदड़ मची हुई है।

ऐसा भी होता है शब्दार्थ

  • डाकिया – चिट्ठी बाँटनेवाला
  • तरू – वृक्ष, पेड़
  • पखेरू – पंछी, पक्षी
  • गुमान – अभिमान, गर्व, घमंड
  • कद – काठी, शरीर की बनावट
  • निर्मल – पवित्र
  • धरा – धरती
  • तन – शरीर
  • आशियाना – घोंसला
  • डोर – रस्सी
  • चिट्ठी – खत
  • झोला – थैला

ऐसा भी होता है मुहावरे

  • ठगा-सा रह जाना – किंकर्तव्यविमूढ़ हो जाना या विस्मित हो जाना।

ऐसा भी होता है भावार्थ

गरजे मेघ ……………………. कच्ची दीवार।

प्रस्तुत हाइकु में कवि ने बताया है कि आसमान में मेघों के गरजने पर एक कच्ची दीवार सहमकर काँपने लगीं; वह बहुत डर गई। यहाँ । गरजने वाले मेघ समाज के सबल वर्ग का प्रतिनिधित्व करते हैं और कच्ची दीवार समाज के दुर्बल वर्ग का प्रतिनिधित्व करती है। इसका अर्थ यह है कि समाज के सबल वर्ग दुर्बल वर्गों पर अपना रोब या अधिकार जमाते रहते हैं। उनके द्वारा किए गए अन्याय एवं शोषण से समाज के दुर्बल घटक सहम जाते हैं।

रवि चढ़ाए ……………………. धरा को अर्य।

प्रस्तुत हाइकु में रवि यानी सूरज एक सज्जन व्यक्ति का प्रतीक है। सूरज प्रतिदिन अपने निर्मल किरणों से धरती को प्रकाशित करता है। बदले में वह धरती से किसी भी चीज की अपेक्षा नहीं करता। उसका कार्य निःस्वार्थ एवं मानवता के लिए होता है। ठीक उसी प्रकार सज्जन। व्यक्ति दीन-दुखियों के लिए अपना सर्वस्व अर्पण कर देते हैं। इसके बदले में वे किसी भी प्रकार की चाह नहीं रखते हैं।

आ के पसरी ……………………. धरा की गोद।

प्रस्तुत हाइकु में बताया गया है कि दिनभर सभी को रोशनी देने वाली किरण शाम होते ही थक जाती है और वह धरा की गोद में आकर। विश्राम करती है। प्रकृति का यही नियम है। जो श्रम करता है; वह दिन ढलने के उपरांत थक जाता है। व्यक्ति दिनभर मेहनत करता है और फिर शाम होते ही वह थककर अपने घर आकर आराम करने लगता है।

खुली आँखो ने ……………………. बंद सपने।

प्रस्तुत हाइकु द्वारा समाज में व्याप्त गरीबों की स्थिति का चित्रण किया गया है। गरीब व्यक्ति की आशा-आकांक्षाएँ कभी भी पूर्ण नहीं। होती। वह जीवनभर सपने देखते रहता है; परंतु उसके सपने कभी भी पूर्ण नहीं होते।

कटते तरु ……………………. रोए पखेरू।

प्रस्तुत हाइकु में वृक्षों के कटने के दुष्परिणाम दिखाए गए हैं। वृक्षों को काटने से पंछियों का आशियाना यानी घोंसला उजड़ जाता है। वे बेघर हो जाते हैं; जिस कारण वे दुखी होकर रोने लगते हैं।

बच्चे पतंग ……………………. छूते गगन।

बच्चों के जीवनरूपी पतंग की डोर माँ-बाप के हाथ में होती है। वे अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा और संस्कार देकर उनका जीवन सँवारने की कोशिश करते हैं। माँ-बाप के अथक परिश्रम और सुसंस्कारों के कारण ही बच्चे आसमान को छूते हैं यानी जीवन में ऊँचा उठकर सफलता की मंजिल हासिल करते हैं।

तन माटी का ……………………. कद काठी का।

प्रस्तुत हाइकु में कवि अनावश्यक अहं पर अपने विचार व्यक्त करते हैं। व्यक्ति का शरीर मिट्टी से बना है; जो एक दिन नष्ट होने । वाला है। फिर भी व्यक्ति को अपनी इस छोटी-सी जिंदगी पर बहुत बड़ा अभिमान होता है। मनुष्य को अपने जीवन से अभिमान का त्याग कर अपने जीवन को सुंदर बनाना चाहिए। उसे अनावश्यक अहं नहीं करना चाहिए।

उड़ा पखेरू ……………………. ठगा – सा तरू

प्रस्तुत हाइकु मनुष्य की कृतघ्नता पर करारा व्यंग्य करती है। पक्षी का बच्चा जब तक छोटा होता है यानी उसके पंखों में जब तक उड़ने की शक्ति नहीं आती है, तब तक वह वृक्ष पर ही रहता है। लेकिन जब उसके पंखों में उड़ने की शक्ति आ जाती है; तब वह उस वृक्ष को छोड़कर अनंत आकाश में विचरण करने के लिए उड़ जाता है। उसे जाते देखकर पेड़ विस्मित, सा रह जाता है। उसी प्रकार संस्कारहीनता के कारण कई बच्चे बड़े हो जाने के बाद अपने माता-पिता को छोड़कर दूर जाकर अपने लिए अलग बसेरा बना लेते हैं। इससे माता-पिता किंकर्तव्यविमूढ हो जाते हैं।

डाकिया चला ……………………. भर के झोला।

प्रस्तुत हायकु में लोगों के आने वाले खत बाँटने वाला डाकिया के बारे में है। कुछ पत्रों से खुशी झलकती है तो कुछ पत्र दुखद गहराई । का अहसास दिलाते हैं। फिर भी किसी की भी भावना से सरोकार न रखते हुए डाकिया अपनी झोली भरकर पत्र बॉटने का काम करता रहता है। डाकिए की तरह हमें भी जीवन में आने वाले सुख-दुख की भावनाओं से प्रभावित न होकर अपना कार्य करते रहना चाहिए।

मैया की आई ……………………. कैसे हो बेटा।

माता-पिता अपनी संतान पर अपना सर्वस्व लुटाकर उसका लालन-पोषण करके उसे कामयाब इंसान बनाते हैं; वही संतान बाद में अपने माता-पिता को वृद्धाश्रम में भेज देते हैं। फिर भी उसकी इस निर्दयता को माँ भूल जाती है और वह उसे वृद्धाश्रम से खत लिखकर उसका हाल जानना चाहती है। माँ आखिर माँ ही होती है। वह अपने बेटे द्वारा किए गए अत्याचारों को भूलकर मन ही मन में याद करती रहती है।

हो गई चोरी ……………………. लुट गया मैं।

प्रस्तुत हाइकु में बताया गया है कि आज हमारे समाज में संस्कारों का अभाव है। समाज से जीवन-मूल्यों का पतन हो रहा है। संस्काररूपी तिजोरी का समाज से हनन हो गया है। आज समाज में संस्कारों का धीरे-धीरे लोप होता जा रहा है। इस कारण समाज में समस्याएँ उभरकर सामने आ रही हैं। संस्कारहीनता के कारण सामाजिक पतन हो रहा है; जिस कारण चारों ओर लूटमार और भगदड़ मची हुई है।